रायपुर: मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मंगलवार को अपने निवास कार्यालय में राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग के कामकाज की समीक्षा ली. इस दौरान उन्होंने आगामी खरीफ सीजन के मद्देनजर शत-प्रतिशत और सटीक गिरदावरी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं. सीएम ने कहा है कि गिरदावरी में कोताही और रिपोर्ट में गड़बड़ी हरगिज बर्दाश्त नहीं की जाएगी. उन्होंने अधिकारियों को किसानों की धारित भूमि और बोई गई फसलों की वास्तविक रिपोर्ट तैयार को कहा है. साथ ही इसके लिए मैदानी अमले को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी करने को कहा है.
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भूमि के नक्शे के जियो रिफ्रेशिंग के संबंध में भी अधिकारियों को तत्परता से कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा कि इससे राजस्व विभाग को कई मामलों में सहूलियत होगी. जियो रिफ्रेशिंग के माध्यम से अतिक्रमण की गई भूमि का चिन्हांकन, भू-अर्जन की वास्तविक जानकारी, सीमांकन और सभी भूखंडों के जियो को-ऑर्डिनेट आसानी से उपलब्ध हो सकेंगे.
सीएम ने अधिकारियों को दिए आवश्यक दिशा-निर्देश
बैठक में नामांतरण की प्रक्रिया को सरलीकृत किए जाने के संबंध में मुख्यमंत्री ने विभागीय अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा है कि नामांतरण पंजी को ऑनलाइन करने के साथ ही इसके लिए ऑनलाइन आवेदन की सुविधा भी लोगों को मिलनी चाहिए. बैठक में प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि, ई-कोर्ट, राजस्व प्रकरणों के निराकरण, रियायती और गैर रियायती पट्टों के वितरण की स्थिति, पर्यावरण उपकर और अधोसंरचना विकास उपकर के उपयोग की भी समीक्षा की गई.
49.23 करोड़ का राजस्व अर्जित
बैठक में राजस्व एवं आपदा प्रबंधन मंत्री जय सिंह अग्रवाल ने बताया कि राज्य के 20 हजार 529 गांव में से 20 हजार 86 के खसरे को और 19 हजार 739 गांवों के नक्शे को ऑनलाइन किया जा चुका है. उन्होंने आगे बताया कि भूमि आवंटन, व्यवस्थापन, फ्री होल्ड किए जाने के लिए राज्य में संचालित अभियान के अंतर्गत अब तक 1,319 करोड़ रुपए के लक्ष्य के विपरीत 49.23 करोड़ का राजस्व अर्जित किया गया है.
मुख्यमंत्री ने जताई सहमति
मुख्यमंत्री ने बैठक में उपस्थित मुख्य सचिव आर.पी. मंडल को सभी जिला कलेक्टरों को इस संबंध में आवश्यक निर्देश जारी करने को कहा है. राजस्व मंत्री ने बताया कि इस अभियान के तहत भूमिबंटन के 4,015 मामले, व्यवस्थापन के 3,037, फ्री होल्ड के 1,318 इस तरह कुल 8 हजार 370 केस लंबित हैं. इनके निराकरण से लगभग 400 करोड़ रुपए का राजस्व संभावित है. गृह निर्माण समिति को आवंटित भूमि, आबादी पट्टा भूमि सहित अन्य आवंटित पट्टे को गैर रियायती में शामिल किए जाने का प्रस्ताव मंत्री अग्रवाल ने दिया है. इसके साथ ही मंत्री अग्रवाल के व्यवस्थापन और फ्री होल्ड के मामले में स्टाम्प ड्यूटी और रजिस्ट्रेशन फीस में नियमानुसार छूट देने के प्रस्ताव पर मुख्यमंत्री ने सहमति जताई है.
पढ़ें: CM भूपेश बघेल ने ली दो विभागों की समीक्षा बैठक, इन विषयों पर हुई चर्चा
क्या है गिरदावरी
किसान ने अपने खेत के कितने रकबे में कौन सी फसल की बुआई की है, यह जानकारी पटवारी और शासन के दस्तावेज में दर्ज कराने को ही गिरदावरी कहते हैं. अब तक यह काम हाथ से कागजों पर किया जाता है, लेकिन अब इसे एप के माध्यम से ऑनलाइन किया जाएगा, जिससे पटवारियों की मनमानी रुकेगी और किसानों को लाभ मिलेगा.