ETV Bharat / state

कोरोना की वजह से स्टील पीतल के बर्तन का कारोबार प्रभावित, 50 करोड़ का बिजनेस चौपट - बर्तन का कारोबार प्रभावित

शादियों के दौरान स्टील, पीतल के बर्तनों (steel brass utensils) का रायपुर में 50 करोड़ रुपये का कारोबार होता है. लेकिन इस बार भी कोरोना की वजह (utensils business affected due to corona) से धंधा चौपट हो गया है. वहीं पिछले 2 वर्षों में स्टील पीतल के बर्तनों के रेट बढ़ गए हैं.

brass and steel utensils
बर्तन कारोबार प्रभावित
author img

By

Published : Dec 8, 2021, 4:15 PM IST

Updated : Dec 8, 2021, 6:10 PM IST

रायपुर: शादियों का सीजन (Wedding season 2021) चल रहा है. पिछले साल कोविड की वजह से मुहूर्त के समय बहुत कम शादियां ही हो पाई थी. लेकिन इस साल 13 दिसंबर तक मुहूर्त है. जिसके बाद 1 महीने कोई मुहूर्त नहीं है. सारे लोग दिसंबर में शादी कर रहे हैं. शादियों में कई तरह के नियम होते हैं. शादी में लड़कियों को स्टील और पीतल के बर्तन देने की प्रथा है. इस साल भी स्टील पीतल के बर्तनों (Steel Brass Utensils) का रायपुर में 50 करोड़ रुपये का कारोबार होता है. कोरोना की वजह से धंधा चौपट हो गया है. बर्तन व्यापारी (Pot Merchant) मायूस हैं.

स्टील पीतल के बर्तन का कारोबार प्रभावित

यह भी पढ़ें: Bhupesh Cabinet Meeting: सहायक शिक्षक पद भर्ती में छूट, राइस मिलर्स को राहत, जानिए अहम फैसले

कोरोना की वजह से बर्तन कारोबार प्रभावित

शादियों के दौरान स्टील, पीतल, कांसा, तांबा के कारोबार की बात की जाए तो रायपुर में 50 स्टील के बर्तनों की दुकानें हैं. वहीं 10 कांसा , तांबा की दुकानें होंगी. शादियों के सीजन में रायपुर में दुकानदार 50 करोड़ का कारोबार कर लेते हैं. लेकिन पिछले 2 सालों से कोविड की वजह से कारोबार काफी प्रभावित हुआ. उम्मीद है कि अगले साल कारोबार में थोड़ी तेजी आएगी.


छत्तीसगढ़ की शादियों में 5 बर्तन देने की है परंपरा

बर्तन विक्रेता अनिल अग्रवाल ने बताया कि पुरानी परंपरा के अनुसार हर शादियों में 5 बर्तन कम से कम दिए जाते हैं. जिसमें पीतल की गुंडी , पीतल की परात, कांसे की थाली, लोटा और ग्लास है. छत्तीसगढ़ में हर समाज में शादी के दौरान यह दुल्हन को दिया जाता है. यह परंपरा शुरू से चली आ रही है. घर गृहस्थी से संबंधित जो सामान है वह महिलाओं को जरूरत के हिसाब से शादी में दिए ही जाते हैं. जिसे अपने यहां प्रचलन में प्रचार दहेज कहा जाता है.

यह भी पढ़ें: कोरबा में ऑटो ड्राइवर्स के लिए ड्रेस कोड लागू, ऑटो और चालकों को पहचानने में होगी सहूलियत

इसके अलावा हर मां-बाप अपनी शक्ति के अनुसार अपनी बेटी को अधिक से अधिक समान ही देते हैं लेकिन यह पांच बर्तन किसी भी दुल्हन के लिए सबसे जरूरी माना जाता है. इसके अलावा कुकर, गैस, चूल्हा, स्टील का डिनर सेट यह भी चीजें दी जाती है. 2 सालों में डेढ़ से 2 गुना बड़े बर्तनों के दाम पिछले 2 साल में 2 गुना बढ़ गए हैं. हर चीजों के रेट बढ़े हैं. इस वजह से सभी का बजट थोड़ा गड़बड़ा गया है. इसके बाद भी जो पांच बर्तनों की परंपरा है. शादियों में वह नियमित रूप से चली आ रही है और अभी भी लोग बर्तन दे रहे हैं.

रायपुर: शादियों का सीजन (Wedding season 2021) चल रहा है. पिछले साल कोविड की वजह से मुहूर्त के समय बहुत कम शादियां ही हो पाई थी. लेकिन इस साल 13 दिसंबर तक मुहूर्त है. जिसके बाद 1 महीने कोई मुहूर्त नहीं है. सारे लोग दिसंबर में शादी कर रहे हैं. शादियों में कई तरह के नियम होते हैं. शादी में लड़कियों को स्टील और पीतल के बर्तन देने की प्रथा है. इस साल भी स्टील पीतल के बर्तनों (Steel Brass Utensils) का रायपुर में 50 करोड़ रुपये का कारोबार होता है. कोरोना की वजह से धंधा चौपट हो गया है. बर्तन व्यापारी (Pot Merchant) मायूस हैं.

स्टील पीतल के बर्तन का कारोबार प्रभावित

यह भी पढ़ें: Bhupesh Cabinet Meeting: सहायक शिक्षक पद भर्ती में छूट, राइस मिलर्स को राहत, जानिए अहम फैसले

कोरोना की वजह से बर्तन कारोबार प्रभावित

शादियों के दौरान स्टील, पीतल, कांसा, तांबा के कारोबार की बात की जाए तो रायपुर में 50 स्टील के बर्तनों की दुकानें हैं. वहीं 10 कांसा , तांबा की दुकानें होंगी. शादियों के सीजन में रायपुर में दुकानदार 50 करोड़ का कारोबार कर लेते हैं. लेकिन पिछले 2 सालों से कोविड की वजह से कारोबार काफी प्रभावित हुआ. उम्मीद है कि अगले साल कारोबार में थोड़ी तेजी आएगी.


छत्तीसगढ़ की शादियों में 5 बर्तन देने की है परंपरा

बर्तन विक्रेता अनिल अग्रवाल ने बताया कि पुरानी परंपरा के अनुसार हर शादियों में 5 बर्तन कम से कम दिए जाते हैं. जिसमें पीतल की गुंडी , पीतल की परात, कांसे की थाली, लोटा और ग्लास है. छत्तीसगढ़ में हर समाज में शादी के दौरान यह दुल्हन को दिया जाता है. यह परंपरा शुरू से चली आ रही है. घर गृहस्थी से संबंधित जो सामान है वह महिलाओं को जरूरत के हिसाब से शादी में दिए ही जाते हैं. जिसे अपने यहां प्रचलन में प्रचार दहेज कहा जाता है.

यह भी पढ़ें: कोरबा में ऑटो ड्राइवर्स के लिए ड्रेस कोड लागू, ऑटो और चालकों को पहचानने में होगी सहूलियत

इसके अलावा हर मां-बाप अपनी शक्ति के अनुसार अपनी बेटी को अधिक से अधिक समान ही देते हैं लेकिन यह पांच बर्तन किसी भी दुल्हन के लिए सबसे जरूरी माना जाता है. इसके अलावा कुकर, गैस, चूल्हा, स्टील का डिनर सेट यह भी चीजें दी जाती है. 2 सालों में डेढ़ से 2 गुना बड़े बर्तनों के दाम पिछले 2 साल में 2 गुना बढ़ गए हैं. हर चीजों के रेट बढ़े हैं. इस वजह से सभी का बजट थोड़ा गड़बड़ा गया है. इसके बाद भी जो पांच बर्तनों की परंपरा है. शादियों में वह नियमित रूप से चली आ रही है और अभी भी लोग बर्तन दे रहे हैं.

Last Updated : Dec 8, 2021, 6:10 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.