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आजादी से ज्यादा इंसान की दोस्ती है इस कबूतर को प्यारी, ऐसे शुरू हुई इनकी यारी

तस्वीरों में दिख रहा यह युवक और उसका प्यारा दोस्त इन दिनों महासमुंद की गलियों में चर्चा का विषय है. हो भी क्यों न, ये दोस्ती बेहद ही खास है.

मनहरण और कबूतर की दोस्ती
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Published : Aug 25, 2019, 12:11 PM IST

Updated : Aug 25, 2019, 12:53 PM IST

महासमुंद : फिल्म कुली में आपने अमिताभ बच्चन और बाज की वो अटूट दोस्ती देखी होगी जो रियल नहीं रील थी, लेकिन हम आपको एक ऐसे छत्तीसगढ़िया से मिलाएंगे जो रियल लाइफ में कबूतर की जान बचाकर आम लोगों के बीच हीरो बन गया है. आज वो कबूतर मनहरण का सच्चा साथी बनकर उसके कंधे पर बैठा रहता है और उसका साथ कभी नहीं छोड़ता है.

मनहरण और कबूतर की दोस्ती

छत्तीसगढ़ का ये हीरो महासमुंद के कोमाखान का रहना वाला है. मनहरण ने कबूतर और अपना दोस्ती की कहानी बताते हुए कहा कि, 'कुछ दिन पहले मैं अपने काम से रायपुर जा रहा था तभी मुझे रास्ते में एक कबूतर का बच्चा दिखा जो उड़ नहीं पा रहा था. इसका शिकार किए बच्चों से मैंने पूछा कि इस कबूतर का तुम लोग क्या करोगे ? जवाब में बच्चों ने कहा इसे वे पकाकर खाएंगे. फिर मैंने कहा कि तुम लोग ये कबूतर मुझे दे दो, बदले में मुझसे पैसे ले लो.
'कबूतर मेरे साथ ही रहना चाहता है'

पढ़ें : प्रदेशभर में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी की धूम, कान्हा की एक झलक पाने उमड़ी भक्तों की भीड़

फिर मैंने उस कबूतर को उनसे ले लिया. कुछ दिनों तक मैंने कबूतर की देख-रेख की. जब वो ठीक हो गया और उड़ने लायक हो गया, तो मैं उसे जंगल में छोड़ने गया, लेकिन वो फिर उड़कर मेरे कंधे में आकर बैठ गया. मैंने कई बार कोशिश की कि उसे उड़ा दूं, लेकिन वो बार-बार मेरे कंधे पर आकर बैठ जाता. इससे मुझे ये समझ आ गया कि कबूतर मेरे साथ ही रहना चाहता है.

'नींद आती है, तो मारता है चोंच'
समय बीतता गया मैं और वो एक दूसरे के दोस्त बन गए. हम एक दूसरे की जरूरत को समझने लगे. कबूतर को जब भूख लगती वो नीचे उतर जाता. उसे जब नींद आती है तो वो चोंच से कंधे पर मारने लगता है. मनहरण बताते हैं कि जब वे काम पर जाते हैं तो कबूतर को भी साथ ले जाते हैं. मनहरण इस पक्षी को लेकर कई देवी दर्शन के लिए भी जा चुके हैं. उनका कहना है कि, 'पक्षी भी हमारी ही तरह एक जीव है, जिसे मारना नहीं चाहिए'.

'बिना जानकारी के रखना दंडनीय अपराध'
मनहरण के पक्षी प्रेम को देखकर वन विभाग के आला अधिकारी ने भी इसकी सराहना करते हुए कहा कि, 'जीव की जान बचाना एक अच्छी पहल है. सभी को ऐसा करना चाहिए, लेकिन वन विभाग को सूचित करके. यदि कोई भी व्यक्ति बिना जानकारी के पक्षी को रख रहा है, तो ये दंडनीय अपराध है'.

महासमुंद : फिल्म कुली में आपने अमिताभ बच्चन और बाज की वो अटूट दोस्ती देखी होगी जो रियल नहीं रील थी, लेकिन हम आपको एक ऐसे छत्तीसगढ़िया से मिलाएंगे जो रियल लाइफ में कबूतर की जान बचाकर आम लोगों के बीच हीरो बन गया है. आज वो कबूतर मनहरण का सच्चा साथी बनकर उसके कंधे पर बैठा रहता है और उसका साथ कभी नहीं छोड़ता है.

मनहरण और कबूतर की दोस्ती

छत्तीसगढ़ का ये हीरो महासमुंद के कोमाखान का रहना वाला है. मनहरण ने कबूतर और अपना दोस्ती की कहानी बताते हुए कहा कि, 'कुछ दिन पहले मैं अपने काम से रायपुर जा रहा था तभी मुझे रास्ते में एक कबूतर का बच्चा दिखा जो उड़ नहीं पा रहा था. इसका शिकार किए बच्चों से मैंने पूछा कि इस कबूतर का तुम लोग क्या करोगे ? जवाब में बच्चों ने कहा इसे वे पकाकर खाएंगे. फिर मैंने कहा कि तुम लोग ये कबूतर मुझे दे दो, बदले में मुझसे पैसे ले लो.
'कबूतर मेरे साथ ही रहना चाहता है'

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फिर मैंने उस कबूतर को उनसे ले लिया. कुछ दिनों तक मैंने कबूतर की देख-रेख की. जब वो ठीक हो गया और उड़ने लायक हो गया, तो मैं उसे जंगल में छोड़ने गया, लेकिन वो फिर उड़कर मेरे कंधे में आकर बैठ गया. मैंने कई बार कोशिश की कि उसे उड़ा दूं, लेकिन वो बार-बार मेरे कंधे पर आकर बैठ जाता. इससे मुझे ये समझ आ गया कि कबूतर मेरे साथ ही रहना चाहता है.

'नींद आती है, तो मारता है चोंच'
समय बीतता गया मैं और वो एक दूसरे के दोस्त बन गए. हम एक दूसरे की जरूरत को समझने लगे. कबूतर को जब भूख लगती वो नीचे उतर जाता. उसे जब नींद आती है तो वो चोंच से कंधे पर मारने लगता है. मनहरण बताते हैं कि जब वे काम पर जाते हैं तो कबूतर को भी साथ ले जाते हैं. मनहरण इस पक्षी को लेकर कई देवी दर्शन के लिए भी जा चुके हैं. उनका कहना है कि, 'पक्षी भी हमारी ही तरह एक जीव है, जिसे मारना नहीं चाहिए'.

'बिना जानकारी के रखना दंडनीय अपराध'
मनहरण के पक्षी प्रेम को देखकर वन विभाग के आला अधिकारी ने भी इसकी सराहना करते हुए कहा कि, 'जीव की जान बचाना एक अच्छी पहल है. सभी को ऐसा करना चाहिए, लेकिन वन विभाग को सूचित करके. यदि कोई भी व्यक्ति बिना जानकारी के पक्षी को रख रहा है, तो ये दंडनीय अपराध है'.

Intro:एंकर - कौन कहता है कि बेजुबान पक्षी वफादार नहीं होते अगर किसी व्यक्ति का पक्षी प्रेम व बेजुबान पक्षी की वफादारी देखनी है तो महासमुंद एक बार अवश्य आएं और देखें कि एक व्यक्ति व पक्षी कैसे 24 घंटे एक साथ रहते हैं जी हां मनहरण ने जिस पक्षी की जान बचाई हुआ पक्षी पिछले 3 माह से मनहरण के साथ ही रहने लगा और मनहरण भी उस पक्षी को सोते जाते अपने साथ रखते हैं धीरे-धीरे वह पक्षी अब मनहरण के घर का एक सदस्य बन गया है देखिए यह रिपोर्ट.....




Body:वीओ 1 - आप जो अपने टीवी स्क्रीन पर एक व्यक्ति को अपने कंधे पर एक पक्षी बिठा कर आते जाते देख रहे हैं यह कोई फिल्म के अमिताभ बच्चन की तरह अपने कांधे पर एक पक्षी बैठे फीचर फिल्म कुली की सीन नहीं है बल्कि हकीकत में यह व्यक्ति अपने कांधे पर एक पक्षी बिठाए हर जगह आता जाता है जिसका नाम है मनहरण साहू उम्र 22 वर्ष कोमाखान निवासी मनहरण पैसे से चौकीदार व सुपरवाइजर हैं वर्षों पहले काम की तलाश में रायपुर जाकर नौकरी करते हैं 1 दिन मनहरण कहीं जा रहे थे तभी एक कबूतर घायल अवस्था में उड़कर उनके पास आया और कुछ देर बाद कुछ लड़के भी हाथ में गुलेलवा पत्थर लेकर आए जो कबूतर का शिकार करना चाहते थे मनहरण ने लड़कों से पूछा कि क्यों इसे मार रहे हो तब लड़कों ने कहा कि हम लोग इसका शिकार कर रहे हैं मनहरण ने कहा इसका शिकार मत करो बल्कि तुम इसके बदले पैसा ले लो लड़के मान गए उसके बाद मनहरण ने कबूतर को दाना व पानी दिया मनहरण इस कबूतर को उड़ाने का प्रयास भी किया पर कबूतर नहीं उड़ा उसके बाद मनहरण ने कबूतर को अपने पास रखा और जहां जाते उसे अपने कांधे पर बिठा ले जाते साथ ही उसके लिए दाना भी साथ रखते मनहरण अब कबूतर की आवश्यकता ओं को समझने लगे हैं कबूतर को जब भूख लगती है तो कबूतर मनहरण के कांधे से उड़कर नीचे आ जाता है तब मनहरण को समझ में आ जाता है कि कबूतर को भूख लगी है जब कबूतर को नींद आती है तो कबूतर मनहरण के कांधे पर चोट मारने लगता है जिससे मनहरण को समझ में आ जाता है कि इसे नींद आ रही है मनहरण जब काम पर जाते हैं तो इस पक्षी को भी साथ ले जाते हैं मनहरण इस पक्षी को लेकर कई देवी स्थानों पर भी जा चुके हैं मनहरण का कहना है कि पक्षी भी हमारी ही तरह एक जीव है जिसे मारना नहीं चाहिए।


Conclusion:वीओ 2 - मनहरण के पक्षी प्रेम को देखकर वन विभाग के आला अधिकारी भी सराहना करते हुए वन विभाग को सूचित करने की बात कह रहे हैं गौरतलब है कि मनहरण का यह पक्षी प्रेम निश्चय ही काबिले तारीफ है अगर हर व्यक्ति इसी प्रकार से पक्षी से प्रेम करे तो मनहरण का संतुलन हमेशा बना रहेगा।

one2one - मनहरण साहू पक्षी प्रेमी

बाइट 1 - अतुल श्रीवास्तव एसडीओ वन विभाग महासमुंद

हकीमुद्दीन नासिर रिपोर्टर ईटीवी भारत महासमुंद छत्तीसगढ़ मो. 9826555052
Last Updated : Aug 25, 2019, 12:53 PM IST
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