कोरिया: बैकुंठपुर में संचालित शासकीय हेचरी कुक्कुट पालन फॉर्म कुछ दिनों पहले बंद कर दिया गया था. बताया जा रहा है कुक्कुट पालन फॉर्म एवियन इन्फ्लूएंजा की चपेट में आया गया था, जिसे बीते दिसंबर 2019 में बंद कर दिया गया था. अब केंद्र सरकार से अनुमति मिलने के बाद राज्य सरकार के निर्देश पर खोलने की तैयारी की जा रही है, जिससे अब हेचरी मुर्गी पालन केंद्र में बटेर मुर्गी के चूजों का पालन किया जाएगा.
दरअसल, शासकीय हेचरी फार्म में बटेर मुर्गी के चूजों का पालन किया जाता है, जिसे सरकारी योजनाओं के तहत लोगों को वितरित किया जाता है. इस फार्म को बीते 24 दिसंबर 2019 को एवियन इन्फ्लूएंजा वायरस की पुष्टि होने पर बंद कर दिया गया था, जिसकी पुष्टि भोपाल स्थित लैबोरेट्री में हुई थी, जिसके बाद जिला प्रशासन ने क्षेत्रहित में निर्णय लेते हुए बैकुंठपुर के आसपास सभी पोल्ट्री फार्म, मटन मार्केट को पूरी तरह बंद कर दिया था. लगभग 2 माह तक चिकन खाने और खरीदने पर प्रतिबंध लगा था.
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3500 मुर्गियां को किया गया था नष्ट
साथ ही बैकुंठपुर शहर के सभी मुर्गी बिक्री केंद्रों को मुर्गियों के उचित मुआवजा राशि देकर सभी को नष्ट कर दिया गया, ताकि वायरस का प्रभाव पक्षियों और मनुष्यों में न फैले. साथ ही बैकुंठपुर के हृदय स्थल बस स्टैंड से लगे शासकीय हेचरी के भी लगभग 3500 मुर्गियां, 12000 चूजे, 30, 000 अंडे नष्ट कर दिए गए थे. हेचरी को पूरी तरह साफ सफाई कर खाली करवा दिया गया था. दिसंबर 2019 में वायरस के खतरे को देखते हुए शहर के बीचों-बीच शासकीय हेचरी को शहर से बाहर स्थापित करने की मांग की थी, लेकिन जल्दी से इतना बड़ा सेटअप जमाना आसान नहीं है.
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चूजा पालन शुरु
हेचरी को उसी जगह चालू किए जाने से शहरवासियों में भय कायम है. लोगों का कहना है कि कहीं दोबारा इसका असर न देखने को मिले, क्योंकि यह वायरस पक्षियों के बाद आम इंसान को भी संक्रमित करता है. देखना है जिला प्रशासन क्या निर्णय लेता है, लेकिन राज्य सरकार ने बाकायदा केंद्र सरकार की अनुमति के आधार पर दोबारा खोलने के आदेश दिए हैं, जिसके बाद चूजे पालन की शुरुआत कर दी गई है.