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चक्काजाम होते ही SECL ने आनन-फानन में जारी किया सड़क मरम्मत का टेंडर

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Published : Feb 10, 2021, 4:00 AM IST

बांकीमोंगरा में सड़क मरम्मत के लिए टेंडर जारी कर दिया गया है. सड़क जाम करने के बाद एसईसीएल प्रबंधन हरकत में आया. आनन-फानन में प्रबंधन ने सड़क मरम्मत का टेंडर जारी कर दिया. जिसके बाद स्थानीय लोगों ने आंदोलन खत्म किया.

SECL issued tender for repairing  bankimongra road
चक्काजाम पर बैठे स्थानीय लोग

कोरबा: बांकीमोंगरा में सड़क जाम करने के बाद एसईसीएल प्रबंधन हरकत में आया. प्रबंधन ने आनन-फानन में सड़क मरम्मत का टेंडर जारी कर दिया. इससे ऐसा प्रतीत होता है कि प्रबंधन को किसी बड़े आंदोलन का इंतजार था. जिसके बाद 34 लाख रुपये का टेंडर जारी किया गया है. यह पहली दफा है, जब बांकीमोंगरा क्षेत्र के जनप्रतिनिधि एक मंच पर आए और स्थानीय निवासियों के साथ ही व्यापारियों ने भी अपनी दुकानें बंद रखकर इस बंद का समर्थन किया.

जनप्रतिनिधियों को सौंपा टेंडर जारी होने का नोटिस

प्रबंधन के अधिकारी मौके पर पहुंचे और जाम के बीच सड़क पर बैठकर जनप्रतिनिधि और स्थानीय लोगों से बातचीत हुई. जिसके बाद अधिकारियों ने टेंडर जारी हो जाने का लेटर जनप्रतिनिधियों को सौंपा.

मेन माइंस से मार्केट तक रहा जाम का असर

बांकीमोंगरा की मेन माइंस से मेन मार्केट तक जर्जर सड़क और डस्ट उड़ने से जनता लंबे समय से परेशान है. लोगों ने मांगों के समर्थन में चक्काजाम और अपनी दुकानें बंद रखी थी. इस बीच एसईसीएल के अधिकारी बातचीत के लिए दो बार आंदोलनकारियों के पास पहुंचे. लेकिन उन्हें बैरंग लौटना पड़ा.

जगदलपुर : 28 सूत्रीय मांगों लेकर धरने पर सीपीआई और आदिवासी महासभा

कार्रवाई के बाद खत्म हुआ आंदोलन

आंदोलन कर रहे लोगों ने सड़क बनाने के लिए टेंडर देखे बिना और जर्जर सड़क पर पानी छिड़काव शुरू किए बिना चक्काजाम खत्म करने से मना कर दिया था. इसके बाद एसईसीएल प्रबंधन ने सड़क निर्माण के लिए मंगलवार को ही 34 लाख रुपये का टेंडर जारी करने को बाध्य हुआ. जिसकी एक प्रति अधिकारियों ने आंदोलन स्थल पहुंच कर सर्वदलीय मंच को सौंपी और तत्काल सड़क पर पानी का छिड़काव शुरू कराया. एसईसीएल प्रबंधन की इस कार्रवाई के बाद ही सर्वदलीय मंच ने चक्काजाम आंदोलन खत्म किया.

एक मंच पर दिखे जनप्रतिनिधि

सड़क और धूल की समस्या को लेकर यहां आम जनता में जबरदस्त आक्रोश है. माकपा ने बांकीमोंगरा की सड़क और धूल की समस्या को लेकर चरणबद्ध आंदोलन करने की घोषणा की थी. इससे पहले 28 जनवरी को ढोल-नगाड़ा बजाकर प्रशासन से छेरछेरा में सड़क निर्माण की मांग की थी. 9 फरवरी को चक्काजाम करने की घोषणा की थी. चक्काजाम से पहले सर्वदलीय मंच बनाकर इस मुद्दे पर माकपा, कांग्रेस, भाजपा, व्यापारी वर्ग, सामाजिक कार्यकर्ता सभी एक मंच पर आ गए थे. इस मुद्दे पर समर्थन देते हुए व्यापारियों ने भी बाजार बंद की घोषणा कर दी थी.

कोरबा: बांकीमोंगरा में सड़क जाम करने के बाद एसईसीएल प्रबंधन हरकत में आया. प्रबंधन ने आनन-फानन में सड़क मरम्मत का टेंडर जारी कर दिया. इससे ऐसा प्रतीत होता है कि प्रबंधन को किसी बड़े आंदोलन का इंतजार था. जिसके बाद 34 लाख रुपये का टेंडर जारी किया गया है. यह पहली दफा है, जब बांकीमोंगरा क्षेत्र के जनप्रतिनिधि एक मंच पर आए और स्थानीय निवासियों के साथ ही व्यापारियों ने भी अपनी दुकानें बंद रखकर इस बंद का समर्थन किया.

जनप्रतिनिधियों को सौंपा टेंडर जारी होने का नोटिस

प्रबंधन के अधिकारी मौके पर पहुंचे और जाम के बीच सड़क पर बैठकर जनप्रतिनिधि और स्थानीय लोगों से बातचीत हुई. जिसके बाद अधिकारियों ने टेंडर जारी हो जाने का लेटर जनप्रतिनिधियों को सौंपा.

मेन माइंस से मार्केट तक रहा जाम का असर

बांकीमोंगरा की मेन माइंस से मेन मार्केट तक जर्जर सड़क और डस्ट उड़ने से जनता लंबे समय से परेशान है. लोगों ने मांगों के समर्थन में चक्काजाम और अपनी दुकानें बंद रखी थी. इस बीच एसईसीएल के अधिकारी बातचीत के लिए दो बार आंदोलनकारियों के पास पहुंचे. लेकिन उन्हें बैरंग लौटना पड़ा.

जगदलपुर : 28 सूत्रीय मांगों लेकर धरने पर सीपीआई और आदिवासी महासभा

कार्रवाई के बाद खत्म हुआ आंदोलन

आंदोलन कर रहे लोगों ने सड़क बनाने के लिए टेंडर देखे बिना और जर्जर सड़क पर पानी छिड़काव शुरू किए बिना चक्काजाम खत्म करने से मना कर दिया था. इसके बाद एसईसीएल प्रबंधन ने सड़क निर्माण के लिए मंगलवार को ही 34 लाख रुपये का टेंडर जारी करने को बाध्य हुआ. जिसकी एक प्रति अधिकारियों ने आंदोलन स्थल पहुंच कर सर्वदलीय मंच को सौंपी और तत्काल सड़क पर पानी का छिड़काव शुरू कराया. एसईसीएल प्रबंधन की इस कार्रवाई के बाद ही सर्वदलीय मंच ने चक्काजाम आंदोलन खत्म किया.

एक मंच पर दिखे जनप्रतिनिधि

सड़क और धूल की समस्या को लेकर यहां आम जनता में जबरदस्त आक्रोश है. माकपा ने बांकीमोंगरा की सड़क और धूल की समस्या को लेकर चरणबद्ध आंदोलन करने की घोषणा की थी. इससे पहले 28 जनवरी को ढोल-नगाड़ा बजाकर प्रशासन से छेरछेरा में सड़क निर्माण की मांग की थी. 9 फरवरी को चक्काजाम करने की घोषणा की थी. चक्काजाम से पहले सर्वदलीय मंच बनाकर इस मुद्दे पर माकपा, कांग्रेस, भाजपा, व्यापारी वर्ग, सामाजिक कार्यकर्ता सभी एक मंच पर आ गए थे. इस मुद्दे पर समर्थन देते हुए व्यापारियों ने भी बाजार बंद की घोषणा कर दी थी.

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