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ब्रिटेन में बिकेगा कोरबा का महुआ: अब फूड ग्रेडेड महुआ से मिलेगी छत्तीसगढ़ को नई पहचान - Demand for Graded Mahua of Korba in United Kingdom

अब कोरबा का महुआ विदेश में बिकेगा. दरअसल, यूके की कंपनी से महुआ एक्सपोर्ट करने का अनुबंध (Korba Mahua sold in Britain) किया गया है. जिसके संग्रहण की (Graded Mahua of Korba in United Kingdom) तैयारी शुरू हो गई है.

Korba Mahua will be sold in UK
यूके में बिकेगा कोरबा का महुआ
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Published : Apr 21, 2022, 9:25 PM IST

Updated : Apr 21, 2022, 10:33 PM IST

कोरबा: महुआ जिसका उपयोग खासतौर पर शराब निर्माण के लिए होता है. अब उसी महुआ को नई (Mahua of Chhattisgarh exported abroad) पहचान मिलने जा रही है. छत्तीसगढ़ में खास किस्म के फूड ग्रेडेड महुआ की महक राज्य और देश की सीमाओं से होते हुए अब विदेश तक (Korba Mahua will be sold in UK) पहुंचेगी. दरअसल, छत्तीसगढ़ लघु वन उपज समिति, रायपुर ने यूनाइटेड किंगडम(UK) की कंपनी से महुआ एक्सपोर्ट करने का अनुबंध किया है. जिसके लिए कोरबा जिले के कोरबा वनमंडल अंतर्गत आने वाले गांव बड़मार और कटघोरा वन मंडल के गांव जटगा वनोपज समिति में महुआ संग्रहण का कार्य शुरू कर दिया गया है. जल्द ही इसका संग्रहण कर इसे सुखाकर यूके एक्सपोर्ट किया जाएगा.

ब्रिटेन में बिकेगा कोरबा का महुआ


इसलिए खास है छत्तीसगढ़ का महुआ : कोरबा और कटघोरा वनमंडल के साथ ही प्रदेश के कुल 9 वनमंडल से यूके की कंपनी ने food-grade महुआ के लिए अनुबंध किया है. कोरबा वन मंडल के गांव बड़मार में 550 वृक्ष के नीचे जाल लगाकर महुआ का संग्रहण किया जा रहा है. यह महुआ साधारण महुआ से काफी बेहतर क्वालिटी का होता है. चूंकि यह जमीन पर गिरने के बजाय जाल पर ही गिरता है. जिसके कारण यह महुआ जमीन पर गिरकर बिखरता या टूटता नहीं है और ना ही इनमें कीड़े लगते हैं. इसलिए फूड ग्रेड महुआ की मांग विदेशों में बढ़ गई है. आने वाले समय में फूड ग्रेड महुआ का व्यापार छत्तीसगढ़ में एक फायदे का सौदा होगा.

4 गुना अधिक दर पर बिक रहा महुआ: यूके की कंपनी ने राज्य वनोपज सहकारी समिति से 10 हजार क्विंटल महुआ कि डिमांड की है. हालांकि सामान्य महुआ की दर 3600 रुपये प्रति क्विंटल निर्धारित है, लेकिन यूके की कंपनी इसके लिए 15 हजार रुपये प्रति क्विंटल राज्य वन उपज सहकारी समिति को दे रही है. कोरबा जिले के साथ ही प्रदेश भर में 5 लाख क्विंटल से भी अधिक महुआ फूल का संग्रहण होता है. वनांचल क्षेत्र के लोगों को अधिक लाभ मिले, इसी वजह से food-grade महुआ का संग्रहण शुरू किया गया है.

यह भी पढ़ें: लेमन टी, ग्रीन टी के बाद अब महुआ-टी, स्वाद चखना चाहेंगे आप !

महुआ से बनता है बिस्किट और लड्डू: महुआ का नाम अब तक कच्ची शराब के लिए ही सामने आता रहा है. महुआ को शराब के लिए ही पहचाना जाता था, लेकिन अब इसमें से बेहद पौष्टिक पदार्थ जैसे लड्डू, जूस, बिस्किट, चॉकलेट, आचार और जैम भी बनाए जा रहे हैं. इन सभी उत्पादों के लिए महुआ बेहद उपयुक्त और गुणवत्ता युक्त खाद्य पदार्थ है. अब से लगभग 1 साल पहले भी ग्राम कोई की महिला समूह ने महुआ लड्डू बनाकर रायपुर, बेंगलुरु और दिल्ली भेजा था.

सूखे हुए महुए की डिमांड बढ़ी : इस विषय में कोरबा वनमंडल डीएफओ प्रियंका पांडे कहती हैं कि जब महुआ गीला और ताजा होता है तब इसे 10 रुपये प्रति किलो की दर से खरीदा जाता है. 4 से 5 किलो गीला महुआ सूखने के बाद 1 किलो ही रह जाता है. इस सूखे हुए महुआ को प्रति किलो 33 रुपये के समर्थन मूल्य में खरीदा जा रहा है. फूड ग्रेड महुआ को सुखाने के लिए ड्रायर का उपयोग लिया जाता है. उसे बेहतर तरीके से सुखाया जाता है, ताकि ये खराब ना हो और इसकी पौष्टिकता और गुणवत्ता बरकरार रहे. इस वजह से भी इसकी मांग विदेशों तक बढ़ी है. यानी कि कोरबा का महुआ आने वाले समय में व्यापार का अच्छा जरिया बनेगा. फूड ग्रेड महुआ का खास तरह से संग्रहण किया जा रहा है. यही कारण है कि इसकी गुणवत्ता आम महुआ से काफी बेहतर होती है.

कोरबा: महुआ जिसका उपयोग खासतौर पर शराब निर्माण के लिए होता है. अब उसी महुआ को नई (Mahua of Chhattisgarh exported abroad) पहचान मिलने जा रही है. छत्तीसगढ़ में खास किस्म के फूड ग्रेडेड महुआ की महक राज्य और देश की सीमाओं से होते हुए अब विदेश तक (Korba Mahua will be sold in UK) पहुंचेगी. दरअसल, छत्तीसगढ़ लघु वन उपज समिति, रायपुर ने यूनाइटेड किंगडम(UK) की कंपनी से महुआ एक्सपोर्ट करने का अनुबंध किया है. जिसके लिए कोरबा जिले के कोरबा वनमंडल अंतर्गत आने वाले गांव बड़मार और कटघोरा वन मंडल के गांव जटगा वनोपज समिति में महुआ संग्रहण का कार्य शुरू कर दिया गया है. जल्द ही इसका संग्रहण कर इसे सुखाकर यूके एक्सपोर्ट किया जाएगा.

ब्रिटेन में बिकेगा कोरबा का महुआ


इसलिए खास है छत्तीसगढ़ का महुआ : कोरबा और कटघोरा वनमंडल के साथ ही प्रदेश के कुल 9 वनमंडल से यूके की कंपनी ने food-grade महुआ के लिए अनुबंध किया है. कोरबा वन मंडल के गांव बड़मार में 550 वृक्ष के नीचे जाल लगाकर महुआ का संग्रहण किया जा रहा है. यह महुआ साधारण महुआ से काफी बेहतर क्वालिटी का होता है. चूंकि यह जमीन पर गिरने के बजाय जाल पर ही गिरता है. जिसके कारण यह महुआ जमीन पर गिरकर बिखरता या टूटता नहीं है और ना ही इनमें कीड़े लगते हैं. इसलिए फूड ग्रेड महुआ की मांग विदेशों में बढ़ गई है. आने वाले समय में फूड ग्रेड महुआ का व्यापार छत्तीसगढ़ में एक फायदे का सौदा होगा.

4 गुना अधिक दर पर बिक रहा महुआ: यूके की कंपनी ने राज्य वनोपज सहकारी समिति से 10 हजार क्विंटल महुआ कि डिमांड की है. हालांकि सामान्य महुआ की दर 3600 रुपये प्रति क्विंटल निर्धारित है, लेकिन यूके की कंपनी इसके लिए 15 हजार रुपये प्रति क्विंटल राज्य वन उपज सहकारी समिति को दे रही है. कोरबा जिले के साथ ही प्रदेश भर में 5 लाख क्विंटल से भी अधिक महुआ फूल का संग्रहण होता है. वनांचल क्षेत्र के लोगों को अधिक लाभ मिले, इसी वजह से food-grade महुआ का संग्रहण शुरू किया गया है.

यह भी पढ़ें: लेमन टी, ग्रीन टी के बाद अब महुआ-टी, स्वाद चखना चाहेंगे आप !

महुआ से बनता है बिस्किट और लड्डू: महुआ का नाम अब तक कच्ची शराब के लिए ही सामने आता रहा है. महुआ को शराब के लिए ही पहचाना जाता था, लेकिन अब इसमें से बेहद पौष्टिक पदार्थ जैसे लड्डू, जूस, बिस्किट, चॉकलेट, आचार और जैम भी बनाए जा रहे हैं. इन सभी उत्पादों के लिए महुआ बेहद उपयुक्त और गुणवत्ता युक्त खाद्य पदार्थ है. अब से लगभग 1 साल पहले भी ग्राम कोई की महिला समूह ने महुआ लड्डू बनाकर रायपुर, बेंगलुरु और दिल्ली भेजा था.

सूखे हुए महुए की डिमांड बढ़ी : इस विषय में कोरबा वनमंडल डीएफओ प्रियंका पांडे कहती हैं कि जब महुआ गीला और ताजा होता है तब इसे 10 रुपये प्रति किलो की दर से खरीदा जाता है. 4 से 5 किलो गीला महुआ सूखने के बाद 1 किलो ही रह जाता है. इस सूखे हुए महुआ को प्रति किलो 33 रुपये के समर्थन मूल्य में खरीदा जा रहा है. फूड ग्रेड महुआ को सुखाने के लिए ड्रायर का उपयोग लिया जाता है. उसे बेहतर तरीके से सुखाया जाता है, ताकि ये खराब ना हो और इसकी पौष्टिकता और गुणवत्ता बरकरार रहे. इस वजह से भी इसकी मांग विदेशों तक बढ़ी है. यानी कि कोरबा का महुआ आने वाले समय में व्यापार का अच्छा जरिया बनेगा. फूड ग्रेड महुआ का खास तरह से संग्रहण किया जा रहा है. यही कारण है कि इसकी गुणवत्ता आम महुआ से काफी बेहतर होती है.

Last Updated : Apr 21, 2022, 10:33 PM IST
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