कांकेर: कोरोना के कहर के बीच केंद्र और राज्य सरकार के बीच तनातनी जारी है, जिला कांग्रेस कमेटी ने प्रेस वार्ता कर केंद्र की बीजेपी सरकार पर जमकर निशाना साधा. कांकेर से कांग्रेस विधायक शिशुपाल शोरी ने केंद्र की बीजेपी सरकार को हर मोर्चे पर विफल बताते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को नैतिकता के आधार पर इस्तीफा देने की नसीहत दे डाली.
'बिना सोचे-समझे लगाया लॉकडाउन'
कांग्रेस ने आरोप लगाया कि कोरोना के बरसते कहर के बीच केंद्र की बीजेपी सरकार ने एकाएक लॉकडाउन की घोषणा कर दी, जिससे मजदूर वर्ग के लोग अपने घरों तक नहीं पहुंच पाएं. ट्रेन, बस सब बंद कर दिए गए जिससे जहां-तहां मजदूर फंस गए और उन्हें किसी भी तरह की पर्याप्त सुविधा नहीं मिल सकी, और इसी वजह से कई मजदूर पैदल ही अपने घरों को रवाना होने के लिए मजबूर हो गए. कांग्रेस ने आरोप लगाते हुए कहा कि केंद्र सरकार को पहले मजदूरों को उनके घरों तक पहुंचाना चाहिए था उसके बाद लॉकडाउन की घोषणा करनी थी लेकिन उन्होंने गरीब तबके के लोगों की चिंता नहीं की और अपने कर्तव्यों से भागते नजर आए.
'20 लाख करोड़ का पैकेज सिर्फ जुमला '
विधायक शिशुपाल शोरी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तरफ से दिए गए 20 लाख करोड़ रुपए की पैकेज की घोषणा सिर्फ जुमला है, विधायक ने आरोप लगाया कि यह सब सिर्फ उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए किया गया है.
'प्रदेश सरकार से सीख ले केंद सरकार'
कांग्रेस ने कहा कि केंद्र की भाजपा सरकार को छतीसगढ़ की प्रदेश सरकार से सीख लेना चाहिए. विधायक ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की तारीफ करते हुए कहा कि सीएम ने लॉकडाउन के बाद बिना देरी किए ना सिर्फ कोटा में फंसे छात्रों को वापस लाने के लिए बसें रवाना की, बल्कि दूसरे राज्यों से श्रमिकों को वापस लाने केंद्र से ट्रेन चलाने की भी लगातार मांग करते रहे. विधायक ने कहा कि इस संकट की घड़ी में भी प्रदेश सरकार ने किसान न्याय योजना के तहत किसानों के खाते में पैसे डाले. लेकिन केंद्र की सरकार धान के समर्थन मूल्य में 53 रुपये बढ़ाकर किसानों का मजाक उड़ा रही है.