जशपुर : जिला अस्पताल में कर्मचारियों की लापरवाही का मामला सामने आया है. जिसमें आंख का इलाज कराने आया मरीज ओपीडी के कमरे में ही कैद हो गया. मरीज को 24 घंटे तक भूखे प्यासे ओपीडी के कमरे में कैद रहना पड़ा. मीडिया में मामला आने के बाद स्वास्थ्य विभाग की नींद टूटी.
क्या था पूरा मामला : जशपुर जिला मुख्यालय में एक मरीज बुधवार शाम आंख का इलाज कराने आया हुआ था. सीएमएचओ कार्यालय परिसर के नेत्र विभाग में उसने अपनी आंखों की जांच कराई .इसके बाद आंखों में दवा डलवाने के बाद वो नेत्र विभाग के कमरे में चला गया.जहां मरीज को नींद आ गई. मरीज दवा के असर के कारण गहरी नींद में चला गया.जिसके बाद कर्मचारियों ने बिना कमरा चेक किए मरीज को कमरे में बंद कर दिया.
मरीज कमरे में हुआ बंद : इस दौरान जब मरीज की नींद टूटी तो उसने खुद को कमरे में बंद पाया.मरीज ने लोगों को आवाज लगाई लेकिन अस्पताल के चैनल गेट में भी ताला लग चुका था. दूसरे दिन सुबह जब सफाई कर्मी आए तब भी मरीज के अंदर होने की भनक किसी को नहीं लगी.लिहाजा सफाई कर्मी भी हॉस्पिटल को साफ करके चले गए. 24 घंटे बाद मामले की जानकारी मीडिया तक पहुंची तब सीएमएचओ डॉक्टर रंजीत टोप्पो मौके पर पहुंचे और जिम्मेदारों से सवाल जवाब किया.इस दौरान वो फोन पर समझने का प्रयास कर रहे थे कि आखिर मरीज अंदर कैसे गया.
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24 घंटे बाद कमरे से निकला मरीज : सीएमएचओ की मदद से मरीज को 24 घंटे बाद बाहर निकला गया.लेकिन इस घटना के लिए जिम्मेदार लोगों पर किसी भी तरह की कोई कार्रवाई नहीं हुई है.जरा सोचिए यदि मरीज ज्यादा बीमार होता और उसे दवाओं की जरुरत होती तो अस्पताल में कैद होने के कारण उसके साथ किसी भी तरह की अनहोनी हो सकती थी. अब देखना ये होगा कि इस तरह की लापरवाही को जिला प्रशासन कितनी गंभीरता से लेता है.