जांजगीर चांपा: जिला के पीथमपुर में हर साल की तरह रंग पंचमी के दिन शिव जी की शाही बारात निकाली गई. शाम को कलेश्वर नाथ मंदिर से चांदी की पालकी में सवार होकर शिव जी की पंचमुखी स्वरूप को निकाली गई. बारात पीथमपुर गांव भ्रमण करते हुए नागा साधुओं की अगुवाई में गाजा बाजा के साथ हसदेव नदी पहुंची. यहां नागा साधुओं ने शाही स्नान कर शिव जी को फिर मंदिर में स्थापित किया. बारात में स्थानीय युवा भी भक्ति भाव के साथ शामिल हुए और रास्ते भर झूमते नाचते रहे.
कलेश्वर नाथ की पूजा से होती है संतान प्राप्ति: पूर्व विधायक मोती लाल देवांगन ने बताया कि "वे खुद 60 साल से मंदिर दर्शन करने आ रहे हैं और अपनी बेटी की विवाह के लिए भी बाबा कलेश्वर नाथ की पूजा की थी." पीथमपुर के कलेश्वर नाथ बाबा के इस सवारी की ऐसा मान्यता है कि भोलेनाथ खुद अपने भक्तो को दर्शन देने निकलते हैं. भक्तों की मनोकामना पूरी करते हैं. महिलाए भी संतान प्राप्ति और अपनी बेटी के विवाह की मनोकामना लेकर कलेश्वर नाथ बाबा के दर्शन करने पहुंचीं.
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बारात निकलने के साथ हुई मेले की शुरुआत: धूल पंचमी के दिन बाबा कलेश्वर नाथ की बारात निकलने के साथ ही मेले की भी शुरुआत हो गई है. मेले में आए लोग शिव जी की बारात को देख कर विभोर हुए. शिव बारात के लिए देश के अलग अलग अखाड़े से आए नागा साधुओं को शाही स्नान के बाद मंदिर में गोला पूजा के साथ ही अष्टमी को विदाई दी जाएगी.