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धर्मांतरण बन रहा आदिवासी संस्कृति पर खतरा: कमलचंद भंजदेव - बस्तर में धर्मांतरण के मामले

बस्तर के अंदरूनी ग्रामीण अंचलों में लगातार धर्मांतरण के मामले बढ़ते जा रहे हैं. इस पर अब बस्तर राजपरिवार के सदस्य कमलचंद भंजदेव का बयान आया है. उन्होंने शासन प्रशासन को इस धर्मांतरण को रोकने के लिए बनाए गए कानूनों पर कड़ाई से पालन करने की मांग की है.

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कमलचंद भंजदेव
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Published : Feb 27, 2021, 10:56 PM IST

Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST

जगदलपुर: बस्तर में तेजी से बढ़ते धर्मांतरण को रोकने के लिए बस्तर राजपरिवार सदस्य कमलचंद भंजदेव ने कड़े कानून बनाने की बात कहते हुए, ऐसे लोगों को आरक्षण के लाभ से हटाने की मांग की है. उन्होंने बस्तर में धर्मांतरण की समस्या को सबसे बड़ी समस्या बताया है. इस धर्मांतरण को रोकने के लिए बनाए गए कानून पर जल्द से जल्द अमल करने की मांग की है. कमलचंद भंजदेव का कहना है कि अगर इस धर्मांतरण को रोका नहीं गया तो आने वाले समय में बस्तर के आदिवासी जनजातियों के लिए खतरा बन सकता है. आदिवासियों की परंपरा और संस्कृति भी खतरे में पड़ सकती है.

धर्मांतरण को लेकर कमलचंद भंजदेव का बयान

बस्तर के अंदरूनी ग्रामीण अंचलों में लगातार धर्मांतरण के मामले बढ़ते जा रहे हैं. इस पर अब बस्तर राजपरिवार के सदस्य कमलचंद भंजदेव का बयान आया है. उन्होंने कहा कि बस्तर के महाराजा रहे प्रवीर चंद्र भंजदेव के शासनकाल में बस्तर में कभी धर्मांतरण जैसे मामले सामने नहीं आए. लेकिन बीते करीब 70 सालों से बस्तर में लगातार धर्मांतरण के मामले बढ़ते ही जा रहे हैं. जिसे देखते हुए कड़े कानून बनाने की जरूरत तो है ही, साथ ही उस कानून का पालन भी सही तरीके से होना चाहिए. उन्होंने कहा कि ऐसे लोग जिन्होंने धर्मांतरण किया है उन्हें आरक्षण के लाभ से हटाना चाहिए. जिससे धर्मांतरण को रोका जा सके और आदिवासी समाज को बचाया जा सके.

जगदलपुर: भगवान बालाजी मंदिर का 20 वां वार्षिकोत्सव संपन्न

आदिवासी समाज के लिए धर्मांतरण बड़ा खतरा

कमलचंद भंजदेव ने यह भी कहा कि बस्तर एक आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र है. यहां की परंपरा और संस्कृति देश दुनिया से अलग है. लेकिन अब देखा जा रहा है कि बस्तर में रहने वाले गोंड, माड़िया, मुरिया और अनेक जाति के आदिवासियों का एक बड़ा समुदाय धर्मांतरण की चपेट में आ रहा है. धीरे-धीरे आदिवासी संस्कृति और आदिवासियों की परंपरा बस्तर में खतरे में पड़ गई है.

कानून का पालन करने की मांग

उन्होंने कहा कि आने वाले समय में यह एक गंभीर समस्या बन जाएगी. ऐसे में कमलचंद भंजदेव ने आदिवासी समुदाय के लोगो से वापस अपने धर्म में आने की अपील करने के साथ ही शासन प्रशासन को इस धर्मांतरण को रोकने के लिए बनाए गए कानूनों पर कड़ाई से पालन करने की मांग की है.

जगदलपुर: बस्तर में तेजी से बढ़ते धर्मांतरण को रोकने के लिए बस्तर राजपरिवार सदस्य कमलचंद भंजदेव ने कड़े कानून बनाने की बात कहते हुए, ऐसे लोगों को आरक्षण के लाभ से हटाने की मांग की है. उन्होंने बस्तर में धर्मांतरण की समस्या को सबसे बड़ी समस्या बताया है. इस धर्मांतरण को रोकने के लिए बनाए गए कानून पर जल्द से जल्द अमल करने की मांग की है. कमलचंद भंजदेव का कहना है कि अगर इस धर्मांतरण को रोका नहीं गया तो आने वाले समय में बस्तर के आदिवासी जनजातियों के लिए खतरा बन सकता है. आदिवासियों की परंपरा और संस्कृति भी खतरे में पड़ सकती है.

धर्मांतरण को लेकर कमलचंद भंजदेव का बयान

बस्तर के अंदरूनी ग्रामीण अंचलों में लगातार धर्मांतरण के मामले बढ़ते जा रहे हैं. इस पर अब बस्तर राजपरिवार के सदस्य कमलचंद भंजदेव का बयान आया है. उन्होंने कहा कि बस्तर के महाराजा रहे प्रवीर चंद्र भंजदेव के शासनकाल में बस्तर में कभी धर्मांतरण जैसे मामले सामने नहीं आए. लेकिन बीते करीब 70 सालों से बस्तर में लगातार धर्मांतरण के मामले बढ़ते ही जा रहे हैं. जिसे देखते हुए कड़े कानून बनाने की जरूरत तो है ही, साथ ही उस कानून का पालन भी सही तरीके से होना चाहिए. उन्होंने कहा कि ऐसे लोग जिन्होंने धर्मांतरण किया है उन्हें आरक्षण के लाभ से हटाना चाहिए. जिससे धर्मांतरण को रोका जा सके और आदिवासी समाज को बचाया जा सके.

जगदलपुर: भगवान बालाजी मंदिर का 20 वां वार्षिकोत्सव संपन्न

आदिवासी समाज के लिए धर्मांतरण बड़ा खतरा

कमलचंद भंजदेव ने यह भी कहा कि बस्तर एक आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र है. यहां की परंपरा और संस्कृति देश दुनिया से अलग है. लेकिन अब देखा जा रहा है कि बस्तर में रहने वाले गोंड, माड़िया, मुरिया और अनेक जाति के आदिवासियों का एक बड़ा समुदाय धर्मांतरण की चपेट में आ रहा है. धीरे-धीरे आदिवासी संस्कृति और आदिवासियों की परंपरा बस्तर में खतरे में पड़ गई है.

कानून का पालन करने की मांग

उन्होंने कहा कि आने वाले समय में यह एक गंभीर समस्या बन जाएगी. ऐसे में कमलचंद भंजदेव ने आदिवासी समुदाय के लोगो से वापस अपने धर्म में आने की अपील करने के साथ ही शासन प्रशासन को इस धर्मांतरण को रोकने के लिए बनाए गए कानूनों पर कड़ाई से पालन करने की मांग की है.

Last Updated : Jul 25, 2023, 7:57 AM IST
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