दुर्ग : मोहन नगर थाने के पुलिस ने उठाई गिरी के आरोप में तीन बदमाशों सहित दो महिलाओं को गिरफ्तार किया है. कुछ दिन पहले थाने इलाके के अंतर्गत लॉकडाउन के दौरान एक मेडिकल के सामने से गाड़ी की डिक्की से 1 लाख 30 हजार रुपए की उठाई गिरी का मामला सामने आया था. जिस पर पुलिस ने CCTV फुटेज को खंगाला था, जिसमें कुछ संदिग्ध लोगों की पहचान की गई थी. इसके बाद दुर्ग पुलिस ने इस गिरोह को पकड़ने के लिए 30 से ज्यादा पुलिसकर्मियों की टीम बनाई थी.
पुलिसकर्मियों ने मेडिकल स्टॉफ बनकर टीम ने आदित्य नगर, आशा नगर और हरिनगर में बदमाशों की जानकारी जुटाई थी. संदेह होने पर तीन बदमाशों को हिरासत में लेकर सख्ती से पूछताछ की गई. इ समें आरोपियों ने घटना को अंजाम देने की बात को कबूल किया है.आरोपी गुजरात,महाराष्ट्र, गुजरात, तेलंगाना और छत्तीसगढ़ में दर्जन भर से ज्यादा वारदात को अंजाम दे चुके हैं. इस गिरोह ने छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव के बसंतपुर में डेढ़ लाख की चोरी करना भी कबूल किया है.
आरोपियों के पास से नकद समेत बाइक बरामद
पुलिस ने बड़ी मुस्तैदी से गिरोह के सभी सदस्यों को गिरफ्तार करने में सफलता पाई है. पकड़े गए आरोपियों में पिटला शिवाजी, पी प्रदीप, जी जबराज और दो महिलाएं दनम्मा, बोडमा हैं. सभी आरोपी आंध्रप्रदेश के नेल्लूर जिसे के रहने वाले हैं. टेक्निकल सर्विलांस के जरिए पुलिस को बदमाश की बाइक का नंबर और फुटेज मिल गया था. इसके आधार पर पुलिस आरोपियों तक पहुंची. पुलिस ने आरोपियों के पास से 72 हजार नकद समेत घटना के इस्तेमाल करने वाले 3 मोटर साइकिल भी बरामद किए हैॆ.
लॉकडाउन की वजह से पकड़े गए आरोपी
एएसपी रोहित झा ने बताया कि आरोपी वारदात करने के पहले किराए का मकान लेते थे. इसके बाद वारदात करने के लिए OLX से बाइक खरीदते थे, जिसके बाद पहले दो लोग मोटर साइकिल से बैंक और ऐसी संस्थानों के आसपास रेकी करते थे, जहां रुपयों का लेनदेन होता है और दोनों बदमाश बाकी साथियों को घटना को अंजाम देने का इशारा करते थे. बाकी अन्य सदस्यों के साथ मिलकर उठाई गिरी की वारदात को अंजाम देते थे. वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी शहर से फरार हो जाते थे, लेकिन लॉकडाउन के कारण आरोपी शहर छोड़कर भाग नहीं पाए और पकड़े गए.