दुर्ग: सरकार ने लॉकडाउन की स्थिति में 2 महीने का राशन एकमुश्त देने की घोषणा की थी. इसके बाद से 1 अप्रैल से सोसाइटी के राशन दुकानों में राशन का वितरण शुरू हो गया था. 2 महीने का राशन एक साथ देने की वजह से जिले के कई राशन दुकानों में स्टॉक खत्म होने की समस्याएं आने लगी. इसके साथ ही सोशल डिस्टेंसिंग के नियम का उल्लंघन करने के साथ ही कम राशन वितरित किए जाने की शिकायतें भी जिले में बढ़ गई. इन सब पर कार्रवाई करते हुए जिला प्रशासन ने खाद्य विभाग की जांच टीम गठित कर मामले की जांच शुरू कर दी है.
लगातार मिल रही शिकायतों को देखते हुए जिला कलेक्टर अंकित आनंद ने बताया कि जिले में स्टोरेज की कमी है. एक साथ 2 महीने का राशन जमा करने से स्टोर भर जा रहे हैं. इस वजह से ऐसी समस्याएं आ रही हैं. बता दें जिले में लगभग एक हजार 500 राशन दुकानों में 3 लाख बीपीएल राशन कार्डधारी हैं. ग्रामीण इलाकों के दुकानों में स्टॉक खत्म हो चुका है, ग्रामीण राशन के लिए दुकान के चक्कर लगा रहे हैं.
स्टॉक में हो रहा घोटाला
सरकार की घोषणा के बाद से ही सभी दुकानों में लोगों की भीड़ लगनी शुरू हो गई. वहीं जिले के राशन दुकानो में हितग्राहियों को कम राशन देकर स्टॉक में घोटाला करने की शिकायत भी मिल रही है. इस देखते हुए कलेक्टर ने राशन घोटाला करने वालों पर कार्रवाई के निर्देश जारी किए हैं. कलेक्टर ने बताया कि जिला खाद्य विभाग की उड़नदस्ता टीम गठित की है, टीम उचित मूल्य के दुकानों पर निगरानी रखेगी और गड़बड़ी करने वालो के खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगी.