बिलासपुर: चकरभाटा में सरकारी अस्पताल तो है, लेकिन डॉक्टर नहीं है. पिछले दो-तीन साल से यही हालात है. पुलिस भी इस वजह से परेशान है. थाने में रोजाना ऐसे कई केस आते हैं, जिसमें पीड़ितों को इलाज की जरुरत होती है. पुलिस का कहना है कि इन प्रकरणों में उपचार के लिए पीड़ितों को लेकर भटकना पड़ता है. पोस्टमार्टम के लिए भी पुलिस को बिल्हा अस्पताल या फिर सिम्स के चक्कर लगाने पड़ते हैं. जिससे पुलिस की कार्रवाई प्रभावित होती है.
चकरभाटा क्षेत्र में ही हाईकोर्ट और एयरपोर्ट स्थित है. इस महत्वपूर्ण स्थान पर सरकारी अस्पताल में डॉक्टर का ना होना परेशानी का सबब है. स्थानीय लोगों का कहना है कि सरकारी अस्पताल में कभी दवा नहीं रहती और कभी डॉक्टर नहीं रहते. इलाज के लिए शहर का रूख करना पड़ता है. जिससे वक्त और रुपए दोनों बर्बाद होते हैं. साथ ही इलाज में भी देरी होती है.
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अधिकारियों को दी गई जानकारी
समय रहते सरकारी अस्पताल के हालात नहीं सुधरे तो स्थिति और भी बिगड़ सकती है. इस संबंध में बिल्हा के खंड चिकित्सा अधिकारी से जानकारी के लिए मिलने का प्रयास किया गया. वे अस्पताल में मौजूद नहीं थे. स्थानीय पुलिस को हो रही परेशानी को लेकर अधिकारियों से पत्राचार किया गया है. देखना होगा कि चकरभाटा जैसे महत्वपूर्ण स्थान में स्थाई रूप से किसी डॉक्टर की नियुक्ति कब तक हो पाती है.