बिलासपुर: नवगठित जिला गौरेला पेंड्रा मरवाही में कोरोना काल में हुई चतुर्थ श्रेणी भर्ती में फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ है. स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि जो भी व्यक्ति दोषी पाया जाएगा, उस पर कार्रवाई की जाएगी. वहीं जिले में नौकरी लगवाने वाले गिरोह का भी खुलासा हुआ है.
मामला नवगठित जिला गौरेला पेंड्रा मरवाही का है. जहां पर पिछले दिनों स्वास्थ्य विभाग में कोरोना काल के दौरान काम करने वाले सफाईकर्मी, वार्ड बॉय, वार्ड आया के पद पर भर्तियां हुई थीं. जिसके लिए स्वास्थ्य विभाग ने विधिवत भर्ती निकाली थी. जिसमें 3 माह तक या जब तक कोरोना का खतरा रहेगा, तब तक अस्थायी नौकरी देने की बात कही गई थी. स्वास्थ्य विभाग में काफी संख्या में लोगों ने आवेदन भरा और परसेंट के अनुसार आधा दर्जन से अधिक लोगों की भर्ती भी कर ली गई. फिलहाल चयनित युवक-युवतियां नौकरी भी कर रहे हैं.
नौकरी के नाम पर धोखाधड़ी
कोविड काल के लिए जो भी भर्तियां चतुर्थ श्रेणी में हुई हैं, उसके पीछे जांजगीर-चांपा के एक गिरोह का हाथ है. उसने फर्जी अंकसूची उपलब्ध कराकर इसके आधार पर नौकरी ज्वाइन कराई. नौकरी के एवज में मोटी रकम भी वसूली गई है. गिरोह ने जो अंकसूची उपलब्ध कराई है, वो आदर्श सरस्वती विद्या मंदिर तखतपुर की है. पेंड्रा इलाके में काफी लोगों के पास इस विद्यालय के मार्क्सशीट हैं. अंकसूची प्राप्त करने वाले लोगों से जब पूछा गया, तो उन्होंने हैरान कर देने वाली बात बताई. जिनके पास ये फर्जी अंकसूची है, वो कभी तखतपुर नहीं गए. उन्हें मार्क्सशीट पेंड्रा ब्लॉक में पदस्थ एक रोजगार सहायक ने उपलब्ध कराई थी.
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नौकरी लगवाने वाला गिरोह
फिलहाल जो नौकरी लगवाने वाले गिरोह के सदस्य हैं, उनमें जांजगीर चांपा के रहने वाले ननका गावेल, अमृत खूंटे, पेंड्रा के कोडगार इलाके में रहने वाले एक रोजगार सहायक की भी भूमिका संदिग्ध है. मामले का खुलासा होने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने कोविड काल में हुई चतुर्थ श्रेणी भर्ती के अभ्यर्थियों से उनकी अंकसूची जिला शिक्षा अधिकारी से सत्यापित करवाने के निर्देश दिए हैं. तय समय सीमा में वो लोग अपनी मार्क्सशीट सत्यापित कराकर नहीं लाए, तो उनकी सेवा समाप्त मानी जाएगी. वहीं उन्होंने यह भी कहा कि अगर इस मामले में स्वास्थ्य विभाग के लोगों की मिलीभगत सामने आएगी, तो उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. मामले में जिला शिक्षा अधिकारी की मानें तो कुछ अंकसूची सत्यापन के लिए उनके पास आई हैं. जांच पूरी होने के बाद दोषियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी कराई जाएगी.