बिलासपुर: बिलासपुर में लगातार डायरिया का प्रकोप बढ़ता जा रहा है. हर साल की तरह इस साल भी डायरिया बीमारी ने शहर में पैर पसारने शुरू कर दिए हैं. बिलासपुर के इमलीपारा में डायरिया से दो लोगों की मौत हुई है. इन मौतों से फिर डायरिया को लेकर शहर में हड़कंप मच गया है. बिलासपुर नगर निगम पर भी गंभीर सवाल खड़े हो रहे हैं.
डायरिया से दो लोगों महिलाओं की मौत: शहर के इमलीपारा में दो महिलाओं की मौत डायरिया से हुई है. जिनमें 46 साल की कमला कुर्रे और 28 साल की उषा शर्मा शामिल हैं. कमला कुर्रे की तबीयत सोमवार की सुबह बिगड़ी. उन्हें उल्टी और दस्त की शिकायत थी. उसके बाद कमला को अस्पताल ले जाने के लिए लोग तैयार हुए. तभी उनकी रास्ते में मौत हो गई. दूसरी महिला उषा शर्मा की मौत भी डायरिया से हुई है. वह दो दिनों से उल्टी और दस्त से पीड़ित थी.
नगर निगम की टीम इलाके में पानी का सैंपल ले रही: नगर निगम की टीम बिलासपुर के इन इलाकों का दौरा कर रही है. वहां पानी के सैंपल लिए जा रहे हैं. जिसे जांच के लिए लैब भेजा गया है. स्वास्थ विभाग की टीम भी अब हरकत में आई है. इलाके का दौरा कर लोगों की जांच की जा रही है.
चार बार फैला डायरिया: बिलासपुर में इस साल चार बार डायरिया फैला है. अब तक शहर में पांच से ज्यादा लोगों की मौत डायरिया से हो चुकी है. वहीं कई लोग अब भी डायरिया से पीड़ित हैं. अभी भी आठ से ज्यादा लोग डायरिया से परेशान बताए जा रहे हैं. बताया जा रहा है कि क्षेत्र में डायरिया का प्रकोप गंदे पानी की वजह से हो रहा है.
इन इलाकों में फैलता है डायरिया
- तालापारा
- मिनी बस्ती जरहाभाटा
- तारबहर
- जबड़ा पारा
- चांटीडीह
नाले के बीच से गई है पाइपलाइन: लोगों का कहना है कि नालियों के अंदर से इलाके में पेयजल की पाइपलाइन गुजरी है. जिसकी वजह से नालियों में जब पानी भर जाता है. तो पेयजल में गंदगी फैल जाती है. जिससे लोग बीमार पड़ते हैं. यही वजह है कि लोग डायरिया के शिकार हो जाते हैं. नगर निगम के अधिकारी और नेता हर साल पाइप बदलने का वादा और दावा करते हैं. लेकिन ये वादे हकीकत में तब्दील नहीं होते.