बालोद : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल बालोद जिले के नगर पंचायत अर्जुंदा पहुंचे, जहां उन्होंने जिले के विकास कार्यों के लिए करोड़ों रुपए की सौगात दी. साथ ही बच्चों को मिठाई खिलाई और बैग पहनाया इस दौरान उन्होंने घोषणा करते हुए कहा कि अब 19 साल बाद प्रदेश में हलबी, गोंडी भाषा की भी छत्तीसगढ़ी में पढ़ाई होगी.
मुख्यमंत्री ने कहा कि अब लग रहा है कि छत्तीसगढ़ में छत्तीसगढ़ियों की सरकार है. उन्होंने यह भी कहा कि छुट्टी की घोषणा होने के बाद अब बच्चे तीज, करमा मना सकेंगे. इससे छत्तीसगढ़ के रीति-रिवाज वापस आएंगे. भाषण के बीच उन्होंने छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया... का नारा लगाया और कहा कि कृषि से छत्तीसगढ़ का उद्धार होगा और सबसे अधिक कीमत में धान खरीदने वाली यह सरकार होगी.
अर्जुंदा को तहसील का दर्जा देने की घोषणा
मुख्यमंत्री ने जिला प्रशासन से कहा कि खाद-बीज की पूर्ति का ध्यान दें और नकली खाद पर कार्रवाई करें. मुख्यमंत्री ने बालोद व दल्लीराजहरा को एक-एक करोड़ और अर्जुंदा नगर पंचायत सहित अन्य नगर पंचायतों को 50 - 50 लाख रुपए देने की घोषणा की है. वहीं अर्जुंदा को तहसील का दर्जा देने की भी घोषणा की गई है. सीएम ने पिछले सरकार पर तंज कसते हुए कहा की एक साल बोनस देने वाला काम हम नहीं करेंगे.
नए भवन के निर्माण की स्वीकृति
शिक्षा मंत्री प्रेमसायसिंह टेकाम ने कहा कि हम शिक्षा को आसान बनाने की कोशिश कर रहे हैं. क्यूआर कोड, आसान शिक्षा, स्मार्ट क्लास के माध्यम से बच्चों को पढ़ाई की ओर रुचि लाने प्रयासरत हैं. प्रेमसाय ने कुछ जगहों पर नए भवन के निर्माण की स्वीकृति दी है.
पढ़ाई का मतलब सिर्फ नौकरी नहीं
गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू ने पंच-सरपंच से आग्रह करते हुए कहा कि इस बात का ध्यान रखें कि कोई भी शिक्षा से वंचित न हो. वर्तमान शिक्षा प्रणाली पर उन्होंने कहा कि पढ़ाई का मतलब सिर्फ नौकरी ही नहीं, एक आदमी का निर्माण करना भी शिक्षा का माध्यम है.