बीजापुर: जिले के भोपालपटनम ब्लॉक में एक स्कूल ऐसा भी है जहां के बच्चे छत से टपकते पानी से भींगती किताब को बचाने के लिए छाता लेकर पढ़ने को मजबूर हैं. माध्यमिक शाला केसाइगुड़ा का भवन जर्जर हो चुका है.
जर्जर भवन बन सकता है दुर्घटना का कारण
वर्तमान में माध्यमिक शाला केसाइगुड़ा का भवन जर्जर स्थिति में है. भवन की छत कमजोर व जर्जर हो चुकी है. छत से लगातार पानी रिसते पानी टपकता है जो कमरे में भर जाता है. भवन की जर्जर स्थिति के संबंध में कई बार अधिकारियों को अवगत कराया जा चुका है. छत से पानी रिसने के कारण अध्यापन कार्य व बच्चों को पढ़ने में बाधा उत्पन्न हो रही है.
स्कूल में स्टाफ की कमी
स्टाफ की कमी से अध्यापन कार्य में दिक्कतें आ रही हैं. इस शाला में पहले 4 शिक्षक पदस्थ थे, जिनमें से एक शिक्षक व एक शिक्षिका का अन्य शालाओं में स्थानांतरण हो चुके हैं. अब वर्तमान में केवल दो ही शिक्षक पदस्थ हैं.
जितनी पढ़ाई होनी है उतनी नहीं हो रही
यहां 18 की जगह केवल 12 विषयों की पढ़ाई हो रही है. इसका मतलब हर दिन छह विषयों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है. यही स्थिति माध्यमिक शाला दुधेड़ा की भी है.
दोनों स्कूलों को मर्ज करने से हल हो सकती है परेशानी
यदि माध्यमिक शाला केसाइगुड़ा को माध्यमिक शाला दुधेड़ा में मर्ज कर दिया जाए तो पढ़ाई का समाधान हो सकता है. माध्यमिक शाला केसाइगुड़ा को माध्यमिक शाला दुधेड़ा में मर्ज किये जाने के नतीजा ये होगा कि चार शिक्षक उपलब्ध रहेंगे जिससे पढ़ाई व्यवस्थित हो सकती है.