बालोद : साल 2021 के विदा होने में अब महज कुछ दिन ही शेष हैं. नये साल 2022 से लोगों को काफी उम्मीदें हैं. लोग अभी से नये साल के स्वागत के लिए अपने-अपने तरीके से तैयारी में जुट गए हैं. बात विकास की करें को बालोद को नए साल में काफी कुछ मिलने वाला है. वहीं राजनीति के आदर्श दंपती पूर्व विधायक भैया राम सिन्हा और विधायक संगीता सिन्हा ने अपनी एक अलग जगह बनाई है. विपक्ष के रूप में भाजपा थोड़ी कमजोर नजर आई तो मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Chief Minister Bhupesh Baghel) ने स्थानीय कांग्रेस नेताओं का कद काफी बढ़ाया है. तो आइये विस्तार से जानते हैं बालोद का हाल...
दो पूर्व विधायक भाजपा में शामिल
राजनीति की बात करें तो दो पूर्व विधायकों ने भारतीय जनता पार्टी का दामन थामा है. यहां बात हो रही है गुंडरदेही विधानसभा के पूर्व विधायक राजेंद्र कुमार राय और पूर्व विधायक बालमुकुंद देवांगन की. राजेंद्र राय दिवंगत पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी के काफी करीबी माने जाते थे. जोगी कांग्रेस की सदस्यता भी उन्होंने ली थी. अब यह भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो चुके हैं. इनके साथ करीब डेढ़ सौ कार्यकर्ताओं ने भी भाजपा की सदस्यता ग्रहण की है. कांग्रेस का कहना है कि किसी के आने-जाने से कांग्रेस को कोई फर्क नहीं पड़ता. लेकिन इनके भाजपा में प्रवेश के बाद से ही गाहे-बगाहे भाजपा के कई दिग्गजों के चेहरे पर मायूसी दिख ही जाती है.
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बालोद के कांग्रेस जनप्रतिनिधियों का बढ़ा कद
बालोद जिले के कांग्रेस के जनप्रतिनिधियों का कद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बढ़ा दिया है. यहां से एक विधायक अनिला भेड़िया हैं तो दूसरी और संसदीय सचिव कुंवर सिंह निषाद (Parliamentary Secretary Kunwar Singh Nishad) काबिज हैं. वहीं विधायक संगीता सिन्हा (MLA Sangeeta Sinha) का भी जलवा बरकरार है. मंच पर उनका भाषण अब लोगों को आकर्षित करने लगा है. वहीं बालोद नगरपालिका के अध्यक्ष विकास चोपड़ा (Balod Municipality President Vikas Chopra) को भी चुनावों में अहम जिम्मेदारियां दी गई हैं. कुछ दिनों पूर्व असम चुनाव में भी इनकी सक्रियता देखने को मिली थी. साथ ही यूपी चुनाव की भी जिम्मेदारी इन्हें दी गई है. वर्तमान में यह सभी यूपी के दौरे पर हैं.
बालोद पुलिस ने साइबर सेल के मामले में गाड़े झंडे
बालोद पुलिस ने साइबर अपराध के मामलों में एक अलग ही मुकाम हासिल किया है. बालोद के पुलिस अधीक्षक ने बताया कि वर्ष 2021 में जुलाई के बाद से साइबर ठगी जैसे एक भी अपराध के मामले दर्ज नहीं हुए हैं. यूं कह सकते हैं कि शिकायत भी नहीं आए हैं. क्योंकि बालोद पुलिस लगातार साइबर अपराध से बचाव के लिए जागरूकता फैला रही है. स्कूल-कॉलेजों में भी कैंप लगाए जा रहे हैं. इसके साथ ही चिटफंड कंपनी के डाइरेक्टरों को भी गिरफ्तार किया गया है.
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यह बने राजनीति के आदर्श दंपती और बढ़ाया अपना कद
वर्ष 2021 में पूर्व विधायक भैया राम सिन्हा (Former MLA Bhaiya Ram Sinha) एक आदर्श नेता के रूप में उभर कर सामने आए. इन्हें अब सर्वमान्य नेता माना जाने लगा है. यह वर्तमान विधायक संगीता सिन्हा के पति हैं. इन्होंने संगीता सिन्हा को स्वतंत्र रूप से विधायक के पद पर छोड़ा है. इन्हें एक साथ किसी मंच पर नहीं देखा जाता. इन्होंने अपनी एक अलग छवि बनाई है. ये दोनों राजनीति के आदर्श दंपती माने जाने लगे हैं. इन्हें बालोद में अब अपराजेय राजनीतिक दंपती के रूप में देखा जाने लगा है.
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कोरोना ने छीन लीं 452 जिंदगियां
वर्ष 2021 में मानो बालोद जिले में आंसुओं का सैलाब आ गया था. यह वह 3 महीने का समय था, जब हर तरफ त्राहिमाम मचा था. कोविड-19 महामारी के कारण वर्ष 2021 में बालोद में 452 लोगों की मौत (452 people died in Balod in 2021 due to covid 19) हो गई थी. कई परिवार उजड़ गए. यहां रोजाना करीब 15 जिंदगियां दम तोड़ रहीं थीं. इसके बाद सरकारी तंत्र की सक्रियता और डॉक्टरों की कड़ी मेहनत से इस भयावह दिन पर काबू पाया जाने लगा. ईटीवी भारत ऐसे लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित करता है, जो अब हमारे बीच नहीं रहे.
कोहरा और 23 नवंबर की वो घटना...
पूरे छत्तीसगढ़ में तेज बारिश के बाद सुबह-सुबह कोहरे से राहगीरों को मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा था. बालोद जिला मुख्यालय के समीप झलमला में तड़के 5 बजे घने कोहरे के कारण एक मालवाहक ट्रक और पिकअप में जोरदार भिड़ंत हो गई थी. झलमला के घोटिया चौक नेशनल हाइवे 930 पर हुए इस हादसे में 8 लोग घायल हो गए था. वहीं तीन घायलों की स्थिति बेहद गंभीर थी. दुर्घटना के बाद पुलिस को करीब दो घंटे तक रेस्क्यू ऑपरेशन चलाना पड़ा था. इस दौरान सड़क के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गई थीं.
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2021 में जिले में सड़क दुर्घटना में मौत के आंकड़े
माह | दुर्घटना | मौत | घायल |
जनवरी | 47 | 21 | 73 |
फरवरी | 43 | 15 | 42 |
मार्च | 33 | 13 | 27 |
अप्रैल | 22 | 10 | 13 |
मई | 20 | 13 | 15 |
जून | 22 | 12 | 12 |
जुलाई | 17 | 10 | 11 |
अगस्त | 25 | 10 | 30 |
सितंबर | 25 | 9 | 24 |
अक्टूबर | 36 | 16 | 25 |
नवंबर | 30 | 13 | 32 |
दिसम्बर | 13 | 8 | 9 |
कुल | 327 | 150 | 314 |
ये हैं जिले की सबसे बड़ी दुर्घटनाएं
बालोद जिले में सड़क दुर्घटनाएं तो कई सारी हुईं. लेकिन खासतौर पर इस दुर्घटना ने सब को तोड़ दिया. दरअसल 22 मई की शाम करीब 5 बजे एक कार और एक बाइक के बीच जबरदस्त टक्कर हुई. घटना में करीब 9 लोग घायल हो गए. बाइकसवार एक ही परिवार के 4 लोगों ने बारी-बारी से दम तोड़ दिया. इनमें खुमान लाल कोठारी, उनकी पत्नी गीता बाई कोठारी और उनकी दो 6 वर्षीय मासूम जुड़वां बच्चियां पूर्वी और पूर्विका शामिल थीं.
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सड़कों के अंधे मोड़ भी बने दुर्घटनाओं का बड़ा कारण
आंकड़ों के मुताबिक अधिकतर सड़क दुर्घटनाएं शराब के नशे में हुई हैं. जबकि सड़कों के अंधे मोड़ भी दुर्घटना का बड़ा कारण बन रहे हैं. जहां वाहनों की स्पीड कम रखी जानी चाहिए, लेकिन वाहन चालक ऐसी जगहों पर भी लापरवाही बरतते हैं.
2022 में मुख्यालय में होगा नया निर्माण
साल 2022 में बालोद का गंगा सागर तालाब (Balod Ganga Sagar Pond) के किनारे नवीन चौपाटी की स्थापना होने वाली है. इसका कार्य शुरू हो चुका है. साल 2022 में इसे पूर्ण कर लिया जाएगा. नगरपालिका अध्यक्ष विकास चोपड़ा ने बताया कि इसका अनुभव ही अलग होगा. बकौल विकास व्यक्तिगत रूप से मैं इस चौपाटी के निर्माण को लेकर काफी उत्साहित हूं. खेल के क्षेत्र में भी हम काफी कुछ कार्य कर रहे हैं. इंदौर स्टेडियम में टेबल टेनिस और टेबल बैडमिंटन खेल शुरू हो चुके हैं. साल 2022 में इन्हें एक नए रूप के साथ शुरू किया जाएगा.
2021 में मिला पालिका को 3 स्टार रैंकिंग
वहीं बालोद जिला मुख्यालय के लिए साल 2021 यादगार वर्ष रहा. स्वच्छता के क्षेत्र में बालोद नगर पालिका को थ्री स्टार रैंकिंग मिली. नगरपालिका अध्यक्ष एवं मुख्य नगरपालिका अधिकारी ने इस इनाम का हकदार उन्हें बताया जो फील्ड में उतरकर कार्य करते हैं. नगर पालिका अध्यक्ष विकास चोपड़ा ने बताया कि स्टार रैंकिंग हमें मिली है, लेकिन हम इस रैंकिंग को सुधारने के लिए हर दिन तैयार हैं.
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तांदुला को संवारने को सबको आना होगा साथ
साल-दर-साल गुजरते जा रहे हैं. लेकिन बालोद की पहचान तांदुला जलाशय को संवारने के लिए सभी दलों एक साथ मिलकर आगे आना होगा. कुछ साल पूर्व तांदुला का शताब्दी वर्ष मनाया गया था. इस जलाशय का लाभ बालोद सहित कई जिलों को मिलता है. इसकी सुरक्षा और संरक्षण के लिए सभी को मिलकर आगे आना होगा. तांदुला जलाशय पर करोड़ों खर्च के बाद भी वहां की स्थिति जस-की-तस है. इन जगहों पर पर्यटन क्षेत्र विस्तार किया जा सकता है.
जल, जंगल और जमीन से परिपूर्ण है बालोद, लेकिन कब मिलेगा लाभ
बालोद जिला जल, जंगल और जमीन से परिपूर्ण है. लेकिन यहां प्राकृतिक संसाधनों का दोहन अत्यधिक होता है. यहां वन औषधि से जुड़े कई सारे कार्य किये जा सकते हैं. बालोद को बस्तर का प्रवेश द्वार भी माना जाता है. लेकिन देखरेख के अभाव में यहां की वनस्पतियां धीरे-धीरे नष्ट होती जा रही हैं.
शिक्षा के क्षेत्र में भी बढ़ेगा जिले का कद
साल 2022 में यहां स्वतंत्र रूप से पॉलिटेक्निक कॉलेज की स्थापना होगी. वहीं केंद्रीय विद्यालय की भी स्वीकृति मिल गई है. साल 2022 में इसकी नींव रखी जाएगी. वहीं कृषि विज्ञान केंद्र भवन का भी लाभ 2022 में मिलने लगेगा. साथ ही महिलाओं की शिक्षा के क्षेत्र में बालोद मील का पत्थर साबित होगा. इसके अलावा अर्जुंदा में कृषि महाविद्यालय की नींव भी रखी जाएगी.
गुटबाजी और राजनीति
राजनीति और गुटबाजी एक-दूसरे की पूरक होती है. लेकिन कांग्रेस ने सत्ता में रहते हुए जिले में गुटबाजी को करीब शून्य कर दिया है. भले गुटबाजी मन में हो, लेकिन यहां सभी जनप्रतिनिधि मंच पर एक साथ नजर आते हैं. इनके बीच ट्यूनिंग भी गजब की देखने को मिलती है. साल 2021 में भारतीय जनता पार्टी की गुटबाजी जिले में बढ़ी हुई नजर आई. आगामी विधानसभा चुनाव में भाजपा को इसका खामियाजा भुगतना पड़ सकता है. इसका स्पष्ट कारण है कि बालोद में भाजपा विपक्ष के रूप में कमजोर दिख रही है.
![गुटबाजी और राजनीति](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/14015577_bjp.jpg)
पहली बार साहू समाज ने दिखाया अपना दम
साल 2021 में भाजपा नेता का एक ऑडियो खूब वायरल हुआ था. भाजपा के जिला महामंत्री प्रमोद जैन इस ऑडियो में पार्टी के साहू समाज के नेताओं को गाली देते सुने गए थे. यह ऑडियो खूब वायरल हुआ था. इसके बाद साहू समाज की एकजुटता देखने को मिली. इसका नतीजा यह हुआ कि जिला महामंत्री ने साहू समाज से माफी मांगते हुए अपना जिला महामंत्री का पद छोड़ दिया. इससे समाज का कद बढ़ा. साथ ही समाज में भी बहुत सारे उठा-पटक भी देखने को मिले.