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स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 में 27वें स्थान पर फिसला अंबिकापुर - cleanliness survey

Swachh Survekshan 2023 देश भर में हुए स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 का परिणाम आज घोषित कर दिया गया है. लेकिन इस साल का सर्वेक्षण रिपोर्ट अंबिकापुर वासियों के लिए निराशा भरा रहा है. एक समय पर अम्बिकापुर का रैंक देश में पहले स्थान पर हुआ करता था. लेकिन इस बार अम्बिकापुर का रैंक घटकर 27वां हो गया है.

Swachh Survekshan 2023
स्वच्छता सर्वेक्षण 2023
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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Jan 11, 2024, 6:44 PM IST

सरगुजा: स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 का परिणाम आज घोषित कर दिया गया है. अव्वल शहरों को दिल्ली में राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू और आवासन एवं पर्यावरण मंत्री ने कई खिताबों से सम्मानित किया है. लेकिन इस सर्वेक्षण के परिणाम में वो शहर काफी पीछे छूट गया है, जिसका स्वच्छता मॉडल पूरे देश में लागू किया गया था. अम्बिकापुर को इस साल के स्वच्छता सर्वेक्षण में 27वां रैंक मिला है.

अम्बिकापुर को इस बार कोई अवार्ड नहीं: अम्बिकापुर का रैंक कभी देश में नम्बर वन हुआ करता था. पिछले साल 2022 के सर्वेक्षण में अम्बिकापुर देश में चौथे स्थान पर था, लेकिन इस बार अम्बिकापुर का रैंक घटकर 27वां हो गया है. वाटर++ तो अम्बिकापुर ने बरकरार रखा लेकिन स्टार रेटिंग 5 से 3 पर आ गई और आज जब सर्वेक्षण के परिणाम घोषित हुए, तब अम्बिकापुर की स्वच्छता में नेशनल रैंकिंग 27वें पायदान पर लुढ़क गई है. हर बार सर्वेक्षण के परिणाम के दिन खिताबों की लाइन लगाने वाले अम्बिकापुर को इस बार कोई अवार्ड नहीं मिल सका है.

अंबिकापुर के स्टार रेटिंग में गिरावट: भारत सरकार द्वारा स्वच्छता सर्वेक्षण के परिणाम को दो श्रेणी में जारी किया गया है. पहली श्रेणी में 1 लाख से कम आबादी वाले शहर और दूसरी श्रेणी में 1 लाख से अधिक आबादी वाले शहर शामिल हैं. स्वच्छता सर्वेक्षण की रैंकिंग में नीचे जाने का मुख्य कारण निगम का 5 स्टार रेटिंग से हटकर 3 स्टार पर पहुंचना है. स्टार रेटिंग में गिरावट से नगर निगम अंबिकापुर को 1050 अंकों का नुकसान उठाना पड़ा है.

"एक तो जब सर्वेक्षण किया गया, उसी समय शहर में सड़को की मरम्मत और ब्यूटीफिकेशन का काम चल रहा था. निर्माण होने के कारण टीम को गंदगी दिखी. सर्वेक्षण में पिछड़ने का दूसरा सबसे बड़ा कारण यह रहा कि नगर निगम अंबिकापुर के अधकारियों और कर्मचारियों को दूसरे कामों में व्यस्त रखा गया, जिसकी वजह से वो सर्वेक्षण की तैयारी नहीं कर सके. उसी बीच चुनाव आ गया. पूरी टीम चुनाव ड्यूटी कर रही थी, जिस वजह से ऐसे परिणाम आये हैं. लेकिन हम हार नहीं मानेंगे. इस बार खूब मेहनत करेंगे और अगली बार बेहतर रिजल्ट देंगे." - डॉ अजय तिर्की, मेयर, अंबिकापुर

इस वजह से रैांकिंग में आई गिरावट: इस बार देश में कराया गया स्वच्छता सर्वेक्षण 9500 अंकों का था. इनमें स्वच्छता सर्वेक्षण के लिए 4830 अंक, 2500 अंक सर्टिफिकेशन, 2170 अंक सिटीजन फीडबैक के लिए निर्धारित थे. इनमें से नगर निगम को सर्वेक्षण में 4148 नबंर, सर्टिफिकेशन में 1450 और सिटीजन फीडबैक में 1869 नंबर मिले हैं. सर्वेक्षण के दौरान सबसे ज्यादा नुकसान अंबिकापुर को सर्टिफिकेशन में ही उठाना पड़ा है. 1050 अंक कटने के बाद निगम को 2 स्टार रैंकिंग गंवानी पड़ी. अब नेशनल रैंकिंग में भी नगर निगम अंबिकापुर निचले पायदान पर आ गया है.

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अम्बिकापुर को इस बार कोई अवार्ड नहीं: अम्बिकापुर का रैंक कभी देश में नम्बर वन हुआ करता था. पिछले साल 2022 के सर्वेक्षण में अम्बिकापुर देश में चौथे स्थान पर था, लेकिन इस बार अम्बिकापुर का रैंक घटकर 27वां हो गया है. वाटर++ तो अम्बिकापुर ने बरकरार रखा लेकिन स्टार रेटिंग 5 से 3 पर आ गई और आज जब सर्वेक्षण के परिणाम घोषित हुए, तब अम्बिकापुर की स्वच्छता में नेशनल रैंकिंग 27वें पायदान पर लुढ़क गई है. हर बार सर्वेक्षण के परिणाम के दिन खिताबों की लाइन लगाने वाले अम्बिकापुर को इस बार कोई अवार्ड नहीं मिल सका है.

अंबिकापुर के स्टार रेटिंग में गिरावट: भारत सरकार द्वारा स्वच्छता सर्वेक्षण के परिणाम को दो श्रेणी में जारी किया गया है. पहली श्रेणी में 1 लाख से कम आबादी वाले शहर और दूसरी श्रेणी में 1 लाख से अधिक आबादी वाले शहर शामिल हैं. स्वच्छता सर्वेक्षण की रैंकिंग में नीचे जाने का मुख्य कारण निगम का 5 स्टार रेटिंग से हटकर 3 स्टार पर पहुंचना है. स्टार रेटिंग में गिरावट से नगर निगम अंबिकापुर को 1050 अंकों का नुकसान उठाना पड़ा है.

"एक तो जब सर्वेक्षण किया गया, उसी समय शहर में सड़को की मरम्मत और ब्यूटीफिकेशन का काम चल रहा था. निर्माण होने के कारण टीम को गंदगी दिखी. सर्वेक्षण में पिछड़ने का दूसरा सबसे बड़ा कारण यह रहा कि नगर निगम अंबिकापुर के अधकारियों और कर्मचारियों को दूसरे कामों में व्यस्त रखा गया, जिसकी वजह से वो सर्वेक्षण की तैयारी नहीं कर सके. उसी बीच चुनाव आ गया. पूरी टीम चुनाव ड्यूटी कर रही थी, जिस वजह से ऐसे परिणाम आये हैं. लेकिन हम हार नहीं मानेंगे. इस बार खूब मेहनत करेंगे और अगली बार बेहतर रिजल्ट देंगे." - डॉ अजय तिर्की, मेयर, अंबिकापुर

इस वजह से रैांकिंग में आई गिरावट: इस बार देश में कराया गया स्वच्छता सर्वेक्षण 9500 अंकों का था. इनमें स्वच्छता सर्वेक्षण के लिए 4830 अंक, 2500 अंक सर्टिफिकेशन, 2170 अंक सिटीजन फीडबैक के लिए निर्धारित थे. इनमें से नगर निगम को सर्वेक्षण में 4148 नबंर, सर्टिफिकेशन में 1450 और सिटीजन फीडबैक में 1869 नंबर मिले हैं. सर्वेक्षण के दौरान सबसे ज्यादा नुकसान अंबिकापुर को सर्टिफिकेशन में ही उठाना पड़ा है. 1050 अंक कटने के बाद निगम को 2 स्टार रैंकिंग गंवानी पड़ी. अब नेशनल रैंकिंग में भी नगर निगम अंबिकापुर निचले पायदान पर आ गया है.

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