सीतापुर: हाईप्रोफाइल सीट सीतापुर पर बीजेपी ने सेंध लगाते हुए जीत हासिल की है. अमरजीत भगत को कड़े मुकाबले में बीजेपी के रामकुमार टोप्पो ने हराया. राम कुमार टोप्पो चुनावी मैदान में पहली बार उतरे थे. सेना से रिटायर होने के बाद भारतीय जनता पार्टी ने उनको मौका दिया और पहली बार में रामकुमार टोप्पो ने कांग्रेस के सबसे बड़े सिपहसालार को चुनावी मैदान में हराया.
राजनीतिक पंडित भी हैरान: सरगुजा संभाग के सीतापुर सीट पर जिस तरह के परिणाम निकलकर आएं हैं उससे राजनीति के पंडित भी हैरान हैं. राम कुमार टोप्पो को कुल 82 हजार 438 वोट मिले. कांग्रेस के अमरजीत भगत को 63 हजार 484 वोटों से संतोष करना पड़ा. बीजेपी के स्थानीय नेता और कार्यकर्ता शुरुआत में रामकुमार टोप्पो को टिकट दिए जाने का अंदरखाने में विरोध कर रहे थे. रामकुमार टोप्पो के प्रचार के लिए जब खुद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह प्रचार के लिए पहुंचे और कहा कि मेरा वीर जवान आपके बीच में आया है उसे विजय बनाकर भेजिए मैं दोबारा आकर आपका आभार जताउंगा. जनता ने राजनाथ की अपील को सुना और रामकुमार टोप्पो को जिता दिया. रामकुमार टोप्पो ने अमरजीत भगत को 17 हजार से ज्यादा वोटों से हराया.
"भाजपा ने एकदम नया चेहरा दिया था बिल्कुल नॉन पॉलिटिकल, रामकुमार टोप्पो युवा था और उसे युवाओं का साथ भी मिला. पार्टी संगठन ने उसका साध दिया और पार्टी कैडर को रामकुमार टोप्पो के साथ खड़ा कर दिया. रामकुमार टोप्पो का युवा जोश और पार्टी की मेहनत दोनों रंग लाई और कांग्रेस का अभेद किला माने जाने वाले सीतापुर में सेंध लग गई.": अविनाश त्रिपाठी, वरिष्ठ पत्रकार
टूटा कांग्रेस का आजादी के बाद से चला आ रहा मिथक: 2018 विधानसभा चुनाव में अमरजीत भगत ने 36 हजार से ज्यादा वोट हासिल कर जीत दर्ज की थी. लंबे वक्त से सीतापुर सीट पर कांग्रेस का कब्जा था. बीजेपी ने इसी एंटी इनकम्बेंसी की भुनाया और जीत दर्ज नया इतिहास रच दिया. आजादी के बाद से ही सीतापुर सीट पर कभी भी बीजेपी का कोई उम्मीदवार नहीं जीता था. ये पहला मौका है जब इस सीट से कोई गैर कांग्रेसी या कहें बीजेपी की जीत हुई है.