सरगुजा : लुंड्रा विधानसभा काफी अनोखा है. परिसीमन के बाद कई तहसीलों के गांव इस विधानसभा क्षेत्र में आ गए. तहसीलों की बात करें तो लुंड्रा, धौरपुर, लखनपुर, दरिमा, अम्बिकापुर ग्रामीण, अम्बिकापुर शहर के मतदान केंद्र लुंड्रा विधानसभा का हिस्सा हैं. इसलिए किसी भी राजनीतिक दल को लुंड्रा विधानसभा के लिए जी तोड़ मेहनत करनी पड़ती है. राजनीतिक दल अपने ब्लॉक यूनिट्स की मदद से ही लुंड्रा विधानसभा में चुनाव का संचालन करते हैं. लुंड्रा विधानसभा के लिये 6 संगठन ब्लॉक को यहां काम करना पड़ता है. 5 तहसील और 1 नगर निगम होने के कारण शासकीय टीम भी इसी तरह चुनाव संपन्न कराती है.
लुंड्रा विधानसभा में कितने पोलिंग बूथ ? : लुंड्रा विधानसभा क्षेत्र में लुंड्रा ब्लॉक के 61 मतदान केंद्र और धौरपुर के 67 मतदान केंद्र आते हैं. लखनपुर के 53, अम्बिकापुर ग्रामीण के 35, दरिमा के 36 और नगर निगम अम्बिकापुर के 2 पोलिंग स्टेशन इस विधानसभा में आते हैं. चुनाव में बूथ मैनेजमेंट का जिम्मा ब्लॉक इकाइयों के पास होता है. प्रत्याशी तो अपनी विधानसभा की सीमा के अनुसार प्रचार और जनसम्पर्क कर लेते हैं. लेकिन बूथ मैनेजमेंट के लिए इस विधानसभा में 6 ब्लॉक इकाइयों को भिड़ना पड़ता है. जबकि सामान्य तौर पर किसी भी विधानसभा में अधिकतम 4 ब्लॉक इकाईयां ही होती है.
लुंड्रा विधानसभा में कहां कितने मतदाता ? : मतदाताओं पर नजर डालें तो अंबिकापुर ब्लॉक के 29 हजार 230 मतदाता लुंड्रा विधानसभा के लिये मतदान करते हैं. नगर निगम के दो पोलिंग स्टेशन के करीब 1803 मतदाता लुंड्रा विधानसभा में मतदान करते हैं. दरिमा के 28 हजार 753, लखनपुर के 42 हजार 834, धौरपुर के 45 हजार 597 और लुंड्रा के 40 हजार 300 मतदाता लुंड्रा विधानसभा में मतदान करते हैं. इस प्रकार लुंड्रा विधानसभा में कुल 1 लाख 88 हजार 717 मतदाता हैं. इसमें 94 हजार 163 पुरुष और 94 हजार 522 महिला मतदाता शामिल हैं.
लुंड्रा में परिसीमन के बाद ये स्थिति बनी है. इस विचित्र स्थिति के कारण लुंड्रा में अब वही प्रत्याशी चुनाव जीत सकता है. जिसका प्रभाव या संपर्क 5 तहसीलों सहित शहर में भी हो. लुंड्रा में शामिल इन क्षेत्रों में जातिगत विविधता भी है. पूरी विधानसभा जनजाति बाहुल्य है. लेकिन सीमावर्ती तहसीलों में सभी जाति वर्ग के लोगों की संख्या समानांतर है. इसलिए लुंड्रा में चुनाव जीतने के लिये यह जरूरी है कि प्रत्याशी की पकड़ पूरे जिले में अच्छी हो. -राकेश गुप्ता,कांग्रेस जिलाध्यक्ष
बीजेपी ने प्रबोध मिंज को बनाया है प्रत्याशी : फिलहाल लुंड्रा से कांग्रेस के डॉक्टर प्रीतम राम विधायक हैं. प्रीतम राम इससे पहले सामरी से विधायक रहे हैं. लुंड्रा इनका पैतृक निवास है. इनके छोटे भाई रामदेव राम भी लुंड्रा से विधायक रह चुके हैं. इस बार बीजेपी ने यहां से उरांव समाज के प्रबोध मिंज को प्रत्याशी बनाया है. प्रबोध मिंज अम्बिकापुर नगर निगम में 10 वर्ष तक मेयर रहे हैं. लुंड्रा के सीमावर्ती इलाकों में प्रबोध मिंज प्रचलित चेहरा हैं शायद इसी रणनीति के तहत बीजेपी ने उनको उम्मीदवार बनाया है.