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7.66 करोड़ की ठगी करने वाले गिरोह का अहम सदस्य गिरफ्तार - अंबिकापुर न्यूज

करीब 8 करोड़ की ठगी करने वाले गिरोह के अहम सदस्य को अंबिकापुर पुलिस ने बिहार से गिरफ्तार किया है. पकड़ा गया आरोपी ही पैसों का ऑनलाइन ट्रांसफर करता था.

ambikapur police arrested the accused from bihar for cheating crores
7.66 करोड़ की ठगी करने वाले गिरोह का अहम सदस्य गिरफ्तार
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Published : Oct 4, 2020, 7:48 AM IST

Updated : Jul 25, 2023, 8:01 AM IST

अंबिकापुर: लॉकडाउन के दौरान महज चार महीने में लोगों को चार गुना रकम लौटाने का झांसा देकर 7 करोड़ 66 लाख की ठगी करने के मामले में पुलिस को एक और सफलता मिली है. सॉफ्टवेयर के जरिए लोगों को ठगी का शिकार बनाने वाले एक आरोपी को पुलिस ने बिहार के औरंगाबाद से गिरफ्तार किया है, जबकि इस गिरोह के मास्टर माइंड व अन्य सहयोगियों को पूर्व में ही गिरफ्तार किया जा चुका है.

7.66 करोड़ की ठगी करने वाले गिरोह का अहम सदस्य गिरफ्तार

इस अंतर्राज्यीय ठग गिरोह ने देश के कई राज्यों में लोगों को अपने जाल में फंसाया था. सबसे बड़ी बात यह है कि आरोपियों ने पूरी वारदात को गुजरात के वडोदरा से अंजाम दिया था. अब पुलिस ने इस मामले में सॉफ्टवेयर बनाने व लोगों द्वारा जमा किए गए पैसों को मुख्य आरोपी के खाते में ट्रांसफर कर्म वाले आरोपी को पकड़ लिया है व उसके खातों को सीज कर जांच की जा रही है.

बेरोजगारों से लाखों की ठगी करने वाले आरोपी प्रधान आरक्षक को कवर्धा पुलिस ने किया गिरफ्तार

बिहार का है गिरोह का सरगना

ambikapur police arrested the accused from bihar for cheating crores
बिहार के औरंगाबाद से आरोपी गिरफ्तार
दरअसल लॉकडाउन के दौरान शहर सहित जिलेभर में विश वैलेट एन्ड इंडस्ट्रीज के नाम से एक वेबसाइट बनाकर लोगों को चेन सिस्टम में जोड़ा जा रहा था व उन्हें चार गुना तक मुनाफा होने का झांसा देकर ठगी का शिकार बनाया जा रहा था. इस मामले की शिकायत पर एसपी ने जांच टीम गठित करने के साथ ही आरोपियों की धरपकड़ के निर्देश दिए थे. जिसके बाद पुलिस ने कंपनी के गुजरात वड़ोदरा स्थित पते पर छापेमारी करते हुए इस गिरोह के सरगना बिहार के औरंगाबाद निवासी अशोक आचार्य को गिरफ्तार किया था. पुलिस की जांच में यह बात सामने आई थी कि आरोपी ने अंबिकापुर में शारदा जायसवाल, दिनेश्वर जायसवाल, जयप्रकाश गुप्ता से मुलाकात हुई थी और यही उसने लॉक डाउन के दौरान लोगों से ठगी करने का प्लान तैयार किया था.

सूरजपुर: SECL में नौकरी के नाम पर युवाओं से ठगी, आरोपी गिरफ्तार

चार गुना मुनाफा कमाने का दिया लालच

आरोपियों ने एक वेबसाइट बनाकर कम समय में चार गुना तक मुनाफा कमाने का लालच देते हुए लोगों को अपना रजिस्ट्रेशन कराने के बाद कंपनी के खाते में 1 हजार, 2 हजार, 5 हजार, 10 हजार व 20 हजार जमा कराने लगा. इस दौरान लोगों ने भी झांसे में आकर खाता नंबर, एटीएम कार्ड व यूपीआई के माध्यम से उसके खाते में रुपए डालने शुरू कर दिए.

अशोक आचार्य लोगों को पैसे इसी शर्त पर लौटा रहा था कि हर जुड़ने वाले व्यक्ति को कम से कम दस लोगों को जोड़ना होगा. कंपनी का डायरेक्टर बताना वाला अशोक आचार्य खुद को मुख्य रेफरल बता रहा था व उसके बाद जुड़ने वाला हर व्यक्ति को लोगों को जोड़ने के एवज में पैसे देता था. इस दौरान उसने लोगों को अप्रैल, मई व जून माह में कुछ पैसे दिए भी ताकि लोग उसके झांसे में बने रहे लेकिन अधिक रकम होने के बाद उसने सर्वर काम नहीं करने का बहाना बनाकर पैसे भेजने बंद कर दिए. जिसके बाद सरगुजा में लोगों को ठगी के शिकार होने का अंदाजा हुआ और इसकी शिकायत पुलिस से की गई. इस गिरोह ने सरगुजा, सूरजपुर, बलरामपुर, कोरिया के साथ ही मध्यप्रदेश, उत्तर प्रदेश, गुजरात व झारखंड के सैकड़ों हजारों लोगों को ठगी का शिकार बनाया था.

सेना के जवान से 12 लाख की ठगी, प. बंगाल से 2 आरोपी गिरफ्तार

अभिषेक करता था पैसों को ट्रांसफर
पुलिस के अनुसार बिहार के औरंगाबाद से गिरफ्तार किया गया आरोपी अभिषेक कुमार ही सॉफ्टवेयर के माध्यम से लोगों द्वारा जमा किए गए पैसों को मुख्य आरोपी अशोक आचार्य के खाते में ट्रांसफर करता था. पैसे ट्रांसफर करने के बदले में उसे 5 प्रतिशत का कमीशन मिलता था. फिलहाल पुलिस ने इस आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी ने लोगों से ठगे गए 7 करोड़ 66 लाख रुपए की राशि को ट्रांसफर करने की बात स्वीकार की है लेकिन फिलहाल इनके बैंक खाते में महज 2 लाख ही है. पुलिस आरोपी को गिरफ्तार करने के बाद मामले की जांच कर रही है. आरोपियों के बैंक खाते को सील कर दिया गया है.

और भी होगी गिरफ्तारी
लोगों को ठगी का शिकार बनाने वाले गिरोह के इस सदस्य अभिषेक कुमार को गिरफ्तार करने टीम बिहार गई थी. इस गिरोह के मुख्य सरगना अशोक आचार्य उर्फ रामबचन प्रियदर्शी, शारदा जायसवाल, दिनेश्वर जायसवाल, संतोष विश्वकर्मा को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है, जबकि अब भी इस गिरोह से जुड़े वडोदरा निवासी रोहित भाई, हर्षित भाई व भावना सहाय फरार चल रहे है. गिरोह के मुख्य सदस्य को पकड़ने पर एसपी ने टीम के लिए इनाम की घोषणा की है.

अंबिकापुर: लॉकडाउन के दौरान महज चार महीने में लोगों को चार गुना रकम लौटाने का झांसा देकर 7 करोड़ 66 लाख की ठगी करने के मामले में पुलिस को एक और सफलता मिली है. सॉफ्टवेयर के जरिए लोगों को ठगी का शिकार बनाने वाले एक आरोपी को पुलिस ने बिहार के औरंगाबाद से गिरफ्तार किया है, जबकि इस गिरोह के मास्टर माइंड व अन्य सहयोगियों को पूर्व में ही गिरफ्तार किया जा चुका है.

7.66 करोड़ की ठगी करने वाले गिरोह का अहम सदस्य गिरफ्तार

इस अंतर्राज्यीय ठग गिरोह ने देश के कई राज्यों में लोगों को अपने जाल में फंसाया था. सबसे बड़ी बात यह है कि आरोपियों ने पूरी वारदात को गुजरात के वडोदरा से अंजाम दिया था. अब पुलिस ने इस मामले में सॉफ्टवेयर बनाने व लोगों द्वारा जमा किए गए पैसों को मुख्य आरोपी के खाते में ट्रांसफर कर्म वाले आरोपी को पकड़ लिया है व उसके खातों को सीज कर जांच की जा रही है.

बेरोजगारों से लाखों की ठगी करने वाले आरोपी प्रधान आरक्षक को कवर्धा पुलिस ने किया गिरफ्तार

बिहार का है गिरोह का सरगना

ambikapur police arrested the accused from bihar for cheating crores
बिहार के औरंगाबाद से आरोपी गिरफ्तार
दरअसल लॉकडाउन के दौरान शहर सहित जिलेभर में विश वैलेट एन्ड इंडस्ट्रीज के नाम से एक वेबसाइट बनाकर लोगों को चेन सिस्टम में जोड़ा जा रहा था व उन्हें चार गुना तक मुनाफा होने का झांसा देकर ठगी का शिकार बनाया जा रहा था. इस मामले की शिकायत पर एसपी ने जांच टीम गठित करने के साथ ही आरोपियों की धरपकड़ के निर्देश दिए थे. जिसके बाद पुलिस ने कंपनी के गुजरात वड़ोदरा स्थित पते पर छापेमारी करते हुए इस गिरोह के सरगना बिहार के औरंगाबाद निवासी अशोक आचार्य को गिरफ्तार किया था. पुलिस की जांच में यह बात सामने आई थी कि आरोपी ने अंबिकापुर में शारदा जायसवाल, दिनेश्वर जायसवाल, जयप्रकाश गुप्ता से मुलाकात हुई थी और यही उसने लॉक डाउन के दौरान लोगों से ठगी करने का प्लान तैयार किया था.

सूरजपुर: SECL में नौकरी के नाम पर युवाओं से ठगी, आरोपी गिरफ्तार

चार गुना मुनाफा कमाने का दिया लालच

आरोपियों ने एक वेबसाइट बनाकर कम समय में चार गुना तक मुनाफा कमाने का लालच देते हुए लोगों को अपना रजिस्ट्रेशन कराने के बाद कंपनी के खाते में 1 हजार, 2 हजार, 5 हजार, 10 हजार व 20 हजार जमा कराने लगा. इस दौरान लोगों ने भी झांसे में आकर खाता नंबर, एटीएम कार्ड व यूपीआई के माध्यम से उसके खाते में रुपए डालने शुरू कर दिए.

अशोक आचार्य लोगों को पैसे इसी शर्त पर लौटा रहा था कि हर जुड़ने वाले व्यक्ति को कम से कम दस लोगों को जोड़ना होगा. कंपनी का डायरेक्टर बताना वाला अशोक आचार्य खुद को मुख्य रेफरल बता रहा था व उसके बाद जुड़ने वाला हर व्यक्ति को लोगों को जोड़ने के एवज में पैसे देता था. इस दौरान उसने लोगों को अप्रैल, मई व जून माह में कुछ पैसे दिए भी ताकि लोग उसके झांसे में बने रहे लेकिन अधिक रकम होने के बाद उसने सर्वर काम नहीं करने का बहाना बनाकर पैसे भेजने बंद कर दिए. जिसके बाद सरगुजा में लोगों को ठगी के शिकार होने का अंदाजा हुआ और इसकी शिकायत पुलिस से की गई. इस गिरोह ने सरगुजा, सूरजपुर, बलरामपुर, कोरिया के साथ ही मध्यप्रदेश, उत्तर प्रदेश, गुजरात व झारखंड के सैकड़ों हजारों लोगों को ठगी का शिकार बनाया था.

सेना के जवान से 12 लाख की ठगी, प. बंगाल से 2 आरोपी गिरफ्तार

अभिषेक करता था पैसों को ट्रांसफर
पुलिस के अनुसार बिहार के औरंगाबाद से गिरफ्तार किया गया आरोपी अभिषेक कुमार ही सॉफ्टवेयर के माध्यम से लोगों द्वारा जमा किए गए पैसों को मुख्य आरोपी अशोक आचार्य के खाते में ट्रांसफर करता था. पैसे ट्रांसफर करने के बदले में उसे 5 प्रतिशत का कमीशन मिलता था. फिलहाल पुलिस ने इस आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी ने लोगों से ठगे गए 7 करोड़ 66 लाख रुपए की राशि को ट्रांसफर करने की बात स्वीकार की है लेकिन फिलहाल इनके बैंक खाते में महज 2 लाख ही है. पुलिस आरोपी को गिरफ्तार करने के बाद मामले की जांच कर रही है. आरोपियों के बैंक खाते को सील कर दिया गया है.

और भी होगी गिरफ्तारी
लोगों को ठगी का शिकार बनाने वाले गिरोह के इस सदस्य अभिषेक कुमार को गिरफ्तार करने टीम बिहार गई थी. इस गिरोह के मुख्य सरगना अशोक आचार्य उर्फ रामबचन प्रियदर्शी, शारदा जायसवाल, दिनेश्वर जायसवाल, संतोष विश्वकर्मा को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है, जबकि अब भी इस गिरोह से जुड़े वडोदरा निवासी रोहित भाई, हर्षित भाई व भावना सहाय फरार चल रहे है. गिरोह के मुख्य सदस्य को पकड़ने पर एसपी ने टीम के लिए इनाम की घोषणा की है.

Last Updated : Jul 25, 2023, 8:01 AM IST
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