रायपुरः आम नागरिकों के लिए नवंबर महंगा साबित हुआ है. खाने-पीने की चीजों के साथ-साथ जरूरी घरेलू सामानों की कीमतों में बेतहाशा बढ़ोत्तरी दर्ज किया गया है. लोग महंगाई की बोझ से कराह रहे हैं और इसकी वजह से उनकी थालियों में दाल-सब्जियों के दायरे भी सिमट गए हैं. इस समय पेट्रोल-डीजल (petrol-diesel) के दाम जहां उछाल पर हैं वहीं हरी सब्जियां (green vegetables) , गैस सिलेंडर (gas cylinder), तेल (Oil), आटा आदि की कीमतें आसमान छूने लगे हैं. नवंबर महीने में लगभग हर उन वस्तुओं की कीमतों में इजाफा (price hike) हुआ है जो अमूमन आम आदमी के उपभोग के हैं. तो आइए हम आपको बताते हैं कि किन-किन चीजों के महंगे दाम से उपभोक्ता (consumer) परेशान हो गए हैं..
मोबाइल टैरिफ
देखा जाय तो नवंबर महीने में अलग-अलग कंपनियों के मोबाइल टैरिफ कीमतों में वृद्धि हुआ है. मोबाइल टैरिफ के लिए अब उपभोक्ताओं को 20 से 25 फीसदी ज्यादा पैसे खर्च करने पड़ रहे हैं.
हरी सब्जियां
माना जाता है कि सर्दियों के मौसम में अक्सर हरी सब्जियों की कीमतों में गिरावट आती है. लेकिन इस बार इसी सर्दी के मौसम में सब्जियों की कीमतें आसमान पर पहुंचने को आतुर हैं. कई बडे़ शहरों में टमाटर की कीमतें 100-150 रुपये प्रति किलोग्राम तक पहुंच गई हैं. पटना, चेन्नई, हैदराबाद में कीमतों में अप्रत्याशित इजाफा हुआ है.
गैस सिलेंडर
इसके अलावा गैस सिलेंडर की कीमतों में भी इजाफा देखने को मिल रहा है. कामर्शियल गैस सिलेंडर की कीमतों में 268 रुपये प्रति सिलेंडर तक मूल्य वृद्धि हुआ है. दिल्ली में कॉमर्शियल सिलेंडर की कीमतें 2000.50 रुपये प्रति सिलेंडर तक हो गई है.
तेल और आटा
खाने का सरसों तेल का कनस्तर पहले 1200 रुपये में आता था. अब इसकी औसतन कीमत 2800-3000 रुपये तक पहुंच गया है. आटे का भाव 1000 रुपये से 2200-2500 रुपये तक पहुंच गया है.
चावल
बासमती चावल की कीमतों में भी 10 रुपये प्रति किलो तक बढ़ोत्तरी दर्ज किया गया है. सामान्य बासमती चावल की कीमतें 85 रुपये प्रति किलो 95 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गई है.
हरा मटर
हरा मटर की कीमत 100 रुपए प्रति किलोग्राम तक पहुंच गई है. कारोबारियों का कहना है कि महंगे डीजल की वजह से ट्रांसपोर्टेशन कॉस्ट में बढ़ोतरी हुई है. दक्षिण राज्यों में बारिश की वजह से फसल खराब हुई. जिसकी वजह से इसकी कीमतों में इजाफा हुआ है.