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धान खरीदी को लेकर खाद्य मंत्री अमरजीत भगत की अधिकारियों के साथ अहम बैठक, तैयारियों पर चर्चा - Paddy purchased in Chhattisgarh

धान खरीदी को लेकर आज खाद्य मंत्री अमरजीत भगत अहम बैठक कर रहे हैं. इस बैठक में धान खरीदी की तैयारियों और समस्याओं पर चर्चा की जा रही है.

Food Minister Amarjeet Bhagat
खाद्य मंत्री अमरजीत भगत
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Published : Nov 23, 2020, 8:55 AM IST

Updated : Nov 23, 2020, 1:48 PM IST

रायपुर: धान खरीदी पर आज खाद्य मंत्री अमरजीत भगत और अधिकारियों के बीच मंत्रालय में अहम बैठक चल रही है. बैठक में विभागीय अधिकारियों के साथ धान खरीदी की व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त करने और धान तस्करी रोकने की तैयारी को लेकर चर्चा हो रही है. छत्तीसगढ़ में बारदानों की कमी धान खरीदी के लिए समस्या बन गई है, जिसे दूर करने के लिए भी बैठक में विचार-विमर्श किया जा रहा है. इधर बेमौसम बारिश भी किसानों की परेशानी का सबब बनी हुई है.

छत्तीसगढ़ में इस साल 1 दिसंबर से धान खरीदी शुरू होनी है, जिसका विपक्ष लगातार विरोध कर रहा है. धान खरीदी में हो रही लेटलतीफी के विरोध में जेसीसीजे ने भी आज से धान सत्याग्रह की शुरुआत की है. जेसीसीजे प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी न्यायधानी बिलासपुर में किसानों के साथ राज्य सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने उतरे हैं.

पढ़ें- बारिश की वजह से धान की खड़ी फसल बर्बाद, किसानों ने सरकार से लगाई मदद की गुहार

धान खरीदी में लेटलतीफी से किसान परेशान

धान खरीदी में हो रही देरी से किसानों के सामने कई तरह की समस्याएं सामने आ रही हैं. किसानों के सामने धान के भंडारण और बारदाने की समस्या आ रही है. किसानों का कहना है कि धान खरीदी में हो रही देरी की वजह से प्रति क्विंटल 100 रुपये का नुकसान होना तय है.

फसल चोरी की चिंता

धान की कटाई शुरू हो गई है. इसके बाद किसान उसकी रखवाली कर रहे हैं. ऐसे में एक महीने तक धान का भंडारण कहां करें, यह समस्या किसानों के सामने उत्पन्न हो गई है. किसान रातभर फसल की रखवाली कर रहे हैं.

नमी से फसलों को नुकसान

नमी होने की वजह से भी किसानों को नुकसान होगा. धान में लगभग 16-17 पर्सेंट नमी है. एक महीने बाद धान सूखने पर यह नमी लगभग 12-13 प्रतिशत रह जाएगी, जिससे उन्हें प्रति क्विंटल 2-3 किलो का नुकसान उठाना पड़ेगा.

पढ़ें- बेमेतरा: धान खरीदी से पहले बेमौसम बारिश ने बढ़ाई किसानों की चिंता, धान की देखरेख में जुटे किसान

किसानों के सामने चुनौतियां

  • धान कटाई करने वाले मजदूरों को भी नहीं कर पा रहे भुगतान.
  • खलिहान में रखे धान पर हाथियों का भी मंडरा रहा है खतरा.
  • रबी की फसल लेने के समय किसान काटते नजर आएंगे मंडियों के चक्कर.

किसानों ने दिए थे ये सुझाव लेकिन नहीं हुआ अमल

  • एक नवंबर से न सही 15 नवंबर से धान खरीदी की जाए.
  • सरकार अभी धान खरीदी कर दिसंबर में करे भुगतान.

हालांकि आज 23 नवंबर हो गया है और सरकार 1 दिसंबर से धान खरीदी के फैसले पर अडिग है. आज तैयारियों की समीक्षा के लिए बैठक हो रही है.

रायपुर: धान खरीदी पर आज खाद्य मंत्री अमरजीत भगत और अधिकारियों के बीच मंत्रालय में अहम बैठक चल रही है. बैठक में विभागीय अधिकारियों के साथ धान खरीदी की व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त करने और धान तस्करी रोकने की तैयारी को लेकर चर्चा हो रही है. छत्तीसगढ़ में बारदानों की कमी धान खरीदी के लिए समस्या बन गई है, जिसे दूर करने के लिए भी बैठक में विचार-विमर्श किया जा रहा है. इधर बेमौसम बारिश भी किसानों की परेशानी का सबब बनी हुई है.

छत्तीसगढ़ में इस साल 1 दिसंबर से धान खरीदी शुरू होनी है, जिसका विपक्ष लगातार विरोध कर रहा है. धान खरीदी में हो रही लेटलतीफी के विरोध में जेसीसीजे ने भी आज से धान सत्याग्रह की शुरुआत की है. जेसीसीजे प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी न्यायधानी बिलासपुर में किसानों के साथ राज्य सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने उतरे हैं.

पढ़ें- बारिश की वजह से धान की खड़ी फसल बर्बाद, किसानों ने सरकार से लगाई मदद की गुहार

धान खरीदी में लेटलतीफी से किसान परेशान

धान खरीदी में हो रही देरी से किसानों के सामने कई तरह की समस्याएं सामने आ रही हैं. किसानों के सामने धान के भंडारण और बारदाने की समस्या आ रही है. किसानों का कहना है कि धान खरीदी में हो रही देरी की वजह से प्रति क्विंटल 100 रुपये का नुकसान होना तय है.

फसल चोरी की चिंता

धान की कटाई शुरू हो गई है. इसके बाद किसान उसकी रखवाली कर रहे हैं. ऐसे में एक महीने तक धान का भंडारण कहां करें, यह समस्या किसानों के सामने उत्पन्न हो गई है. किसान रातभर फसल की रखवाली कर रहे हैं.

नमी से फसलों को नुकसान

नमी होने की वजह से भी किसानों को नुकसान होगा. धान में लगभग 16-17 पर्सेंट नमी है. एक महीने बाद धान सूखने पर यह नमी लगभग 12-13 प्रतिशत रह जाएगी, जिससे उन्हें प्रति क्विंटल 2-3 किलो का नुकसान उठाना पड़ेगा.

पढ़ें- बेमेतरा: धान खरीदी से पहले बेमौसम बारिश ने बढ़ाई किसानों की चिंता, धान की देखरेख में जुटे किसान

किसानों के सामने चुनौतियां

  • धान कटाई करने वाले मजदूरों को भी नहीं कर पा रहे भुगतान.
  • खलिहान में रखे धान पर हाथियों का भी मंडरा रहा है खतरा.
  • रबी की फसल लेने के समय किसान काटते नजर आएंगे मंडियों के चक्कर.

किसानों ने दिए थे ये सुझाव लेकिन नहीं हुआ अमल

  • एक नवंबर से न सही 15 नवंबर से धान खरीदी की जाए.
  • सरकार अभी धान खरीदी कर दिसंबर में करे भुगतान.

हालांकि आज 23 नवंबर हो गया है और सरकार 1 दिसंबर से धान खरीदी के फैसले पर अडिग है. आज तैयारियों की समीक्षा के लिए बैठक हो रही है.

Last Updated : Nov 23, 2020, 1:48 PM IST
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