कोरबा : विधानसभा अध्यक्ष डॉ चरणदास महंत ने बताया कि ''चैतुरगढ़ को पर्यटन (glory of Chaiturgarh Mata of Korba) के क्षेत्र में और विकसित करने की आवश्यकता है.ताकि पूरे प्रदेश के लोग इस पर्यटन क्षेत्र का आनंद उठा सकें. उन्होंने कहा कि वे प्रतिवर्ष नवरात्रि में चैतुरगढ़ स्थित महिषासुर मर्दिनी देवी मां के दर्शन करने आते हैं. दो वर्ष कोरोना काल होने की वजह से यहां नही पाया था. यहां कुछ प्रतिबंधित स्थानों को छोड़कर पर्यटन के क्षेत्र से यह पूरी तरह अनुकूल है. इसे और विकसित करने की जरूरत है.
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घने वनों से घिरा है चैतुरगढ़ : चैतुरगढ़ घने जंगल से आच्छादित होने के साथ साथ यहां के जंगलों में अनेक प्रकार के जंगली जानवर विचरण करते है.चैतुरगढ़ मन्दिर में वन विभाग द्वारा निर्मित रेस्ट हाउस काफी सर्वसुविधा युक्त है. यहां आने वाले पर्यटक रात्रि विश्राम कर सकते हैं. यहां पर्यटकों को प्रकृति की सुंदरता देखने को मिलती है। उन्होंने कहा अगामी दिनों में मुख्यमंत्री के कोरबा जिले के प्रवास के दौरान उन्हें चैतुरगढ आने के लिए पूरा प्रयास किया जाएगा.''Korba Navratri 2022