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कोरबा में बेमौसम बारिश, खरीदी केंद्रों पर धान के स्टॉक पर सुरक्षा पर संकट

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Published : Dec 29, 2021, 1:53 PM IST

मौसम ने यू टर्न लिया है. इससे कई फसलों के अलावा कोरबा धान खरीदी केंद्र (Korba Paddy Purchase Center) पर खुले में रखे गए धान की सुरक्षा पर ही संकट खड़ा हो गया है. बारिश की हल्की बूंदाबांदी से धान खरीदी केंद्रों पर धान भीग भी गए हैं. कोरबा में धान का रखरखाव (Paddy Maintenance in Korba) को लेकर किए गए इंतजाम नाकाफी है.

unseasonal rain in korba
कोरबा में बेमौसम बारिश

कोरबाः जिले में मंगलवार को दिनभर बादल छाए रहे. देर शाम को भारी बारिश हुई. बुधवार की सुबह भी बूंदाबांदी जारी है. इससे तापमान में तेजी से गिरावट दर्ज किया गया है. लोग ठंड और ठिठुरन से परेशान हैं. बेमौसम इस बरसात की वजह से सब्जी की फसलों को भी क्षति पहुंचने के आसार हैं. आने वाले 4 से 5 दिनों तक मौसम में बारिश और ठंड का अनुमान है.


कोरबा में बेमौसम बारिश (unseasonal rain in Korba) से खरीदी केंद्रों पर रखे गए धान की सुरक्षा पर संकट खड़ा हो गया है. बड़ी मात्रा में धान का स्टॉक भीग भी गया है. मौसम विभाग की घोषणाओं के अनुसार आने वाले दिनों में बारिश जारी रहेगी. इससे लोगों की माथे पर चिंता की लकीरें उभर आई हैं.
बेमौसम बारिश से सिलादेही धान खरीदी केंद्र पर भीग गया धान, रख-रखाव को लेकर खड़ा हुआ बड़ा सवाल

खुले आसमान के नीचे रखा गया है धान
कोरबा में 55 धान खरीदी केंद्र हैं. जहां अब तक 40 हजार क्विंटल से अधिक धान की खरीदी हो चुकी है. 20 से 22 हजार क्विंटल का ही उठाव हो सका है. राइस मिलर्स के द्वारा समय पर धान उठाव नहीं किए जाने की सूचना ईटीवी भारत ने प्रकाशित किया था. धान खरीदी केंद्रों से 72 घंटे के भीतर उठाव करने का नियम है लेकिन मिलर्स 10 से 12 दिन बाद भी खरीदी केंद्रों से धान की उठाव नहीं कर पा रहे हैं.

समितियों में ज्यादातर धान खुले आसमान के नीचे रखा गया है. इसका नतीजा यह हुआ कि मंगलवार की देर शाम हुई बारिश से धान को काफी नुकसान पहुंचा. बुधवार को भी यह बारिश जारी है. आने वाले दिनों में बारिश के पूर्वानुमान ने समितियों की चिंता और भी बढ़ा दी है. बारिश के कारण दलहन, तिलहन एवं सब्जी की फसलों को एफिड के प्रकोप की आशंका है. इसके लिए सतत निगरानी और प्रारंभिक प्रकोप देखने पर नीम आधारित कीटनाशकों का छिड़काव करने की सलाह किसानों को दी गई है. कोरबा में ओलावृष्टि की भी संभावना जताई गई है. इस दौरान मवेशियों को बाहर नहीं छोड़ने की सलाह दी गई है.

कोरबाः जिले में मंगलवार को दिनभर बादल छाए रहे. देर शाम को भारी बारिश हुई. बुधवार की सुबह भी बूंदाबांदी जारी है. इससे तापमान में तेजी से गिरावट दर्ज किया गया है. लोग ठंड और ठिठुरन से परेशान हैं. बेमौसम इस बरसात की वजह से सब्जी की फसलों को भी क्षति पहुंचने के आसार हैं. आने वाले 4 से 5 दिनों तक मौसम में बारिश और ठंड का अनुमान है.


कोरबा में बेमौसम बारिश (unseasonal rain in Korba) से खरीदी केंद्रों पर रखे गए धान की सुरक्षा पर संकट खड़ा हो गया है. बड़ी मात्रा में धान का स्टॉक भीग भी गया है. मौसम विभाग की घोषणाओं के अनुसार आने वाले दिनों में बारिश जारी रहेगी. इससे लोगों की माथे पर चिंता की लकीरें उभर आई हैं.
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खुले आसमान के नीचे रखा गया है धान
कोरबा में 55 धान खरीदी केंद्र हैं. जहां अब तक 40 हजार क्विंटल से अधिक धान की खरीदी हो चुकी है. 20 से 22 हजार क्विंटल का ही उठाव हो सका है. राइस मिलर्स के द्वारा समय पर धान उठाव नहीं किए जाने की सूचना ईटीवी भारत ने प्रकाशित किया था. धान खरीदी केंद्रों से 72 घंटे के भीतर उठाव करने का नियम है लेकिन मिलर्स 10 से 12 दिन बाद भी खरीदी केंद्रों से धान की उठाव नहीं कर पा रहे हैं.

समितियों में ज्यादातर धान खुले आसमान के नीचे रखा गया है. इसका नतीजा यह हुआ कि मंगलवार की देर शाम हुई बारिश से धान को काफी नुकसान पहुंचा. बुधवार को भी यह बारिश जारी है. आने वाले दिनों में बारिश के पूर्वानुमान ने समितियों की चिंता और भी बढ़ा दी है. बारिश के कारण दलहन, तिलहन एवं सब्जी की फसलों को एफिड के प्रकोप की आशंका है. इसके लिए सतत निगरानी और प्रारंभिक प्रकोप देखने पर नीम आधारित कीटनाशकों का छिड़काव करने की सलाह किसानों को दी गई है. कोरबा में ओलावृष्टि की भी संभावना जताई गई है. इस दौरान मवेशियों को बाहर नहीं छोड़ने की सलाह दी गई है.

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