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कवर्धा:मनरेगा के तहत सवा लाख मजदूरों को मिला रोजगार

लॉकडाउन के दौरान मजदूरों को आर्थिक तंगी का सामना न करना पड़े, इसे ध्यान में रखते हुए सरकार ने मनरेगा के तहत ज्यादा मजदूरों का काम देने का निर्देश जारी किया था. इस क्रम में कवर्धा जिले में कुल एक लाख 25 हजार 330 मजदूरों को काम मिला है.

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Published : May 13, 2020, 3:03 PM IST

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काम करते ग्रामीण

कवर्धा: लॉकडाउन के दौरान सरकार ज्यादा से ज्यादा ग्रामीणों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए जिले के सभी शासकीय कार्य शुरू कर रही है. जिले में मनरेगा के तहत सवा लाख से ज्यादा ग्रामीणों को रोजगार दिया गया है. लॉकडाउन के दौरान लोग आर्थिक तंगी से न जूझें, इसे ध्यान में रखते हुए मनरेगा के तहत किए जाने वाले कार्यों को बंद नहीं किया गया था. इस दौरान सभी से सुरक्षा के साथ काम करने और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने की सलाह भी दी जा रही है.

मनरेगा से मिला काम

छत्तीसगढ़ के लिए बड़ी राहत, 1 कोरोना संक्रमित मरीज स्वस्थ

लॉकडाउन की वजह से दिहाड़ी मजदूरों का काम पूरी तरह से बंद हो गया है. मजदूरों के सामने भूखे मरने की स्थिति खड़ी हो गई थी. ऐसे में सरकार ने मनरेगा के तहत होने वाले काम बढ़ा दिए हैं. ज्यादा से ज्यादा मजदूरों को काम मिल सके, इसे ध्यान में रखते हुए ग्राम पंचायतों में निर्माण कार्यों की संख्या बढ़ा दी है. इसके लिए जिला कलेक्टर ने सड़क, पुल, पुलिया, भवन और तालाब निर्माण जैसे काम शुरू करने के निर्देश दिए थे. इसके तहत काम शुरू हो गया है और जिले में कुल एक लाख 25 हजार 330 मजदूरों को काम मिला है.

laborers are Working
काम करते मजदूर

पंचायतों में कार्यरत मजदूरों की संख्या

  • बोडला ब्लॉक के 118 ग्राम पंचायत में 2 हजार 856 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 31 हजार 535
  • कवर्धा ब्लॉक के 101 ग्राम पंचायत में एक हजार 328 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 33 हजार 930
  • पंडरिया ब्लॉक के 133 ग्राम पंचायत में 18 हजार 947 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 30 हजार 772
  • लोहारा ब्लॉक के 81 ग्राम पंचायत में एक हजार 274 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 29 हजार 93
    workers working on Bridge
    पुल का काम करते मजदूर

इस तरह से अलग-अलग ब्लॉक में कुल एक लाख 25 हजार 330 मजदूर मनरेगा के तहत काम कर रहे हैं. इस तरह काम मिलने से मजदूरों की आर्थिक रूप से बहुत राहत मिली है. लॉकडाउन के दौरान मजदूरों को पर्याप्त रोजगार और रुपए मिल सके इसके लिए जिला प्रशासन मनरेगा के जरिए उन्हें काम मुहैया करा रहा है.

कवर्धा: लॉकडाउन के दौरान सरकार ज्यादा से ज्यादा ग्रामीणों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए जिले के सभी शासकीय कार्य शुरू कर रही है. जिले में मनरेगा के तहत सवा लाख से ज्यादा ग्रामीणों को रोजगार दिया गया है. लॉकडाउन के दौरान लोग आर्थिक तंगी से न जूझें, इसे ध्यान में रखते हुए मनरेगा के तहत किए जाने वाले कार्यों को बंद नहीं किया गया था. इस दौरान सभी से सुरक्षा के साथ काम करने और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने की सलाह भी दी जा रही है.

मनरेगा से मिला काम

छत्तीसगढ़ के लिए बड़ी राहत, 1 कोरोना संक्रमित मरीज स्वस्थ

लॉकडाउन की वजह से दिहाड़ी मजदूरों का काम पूरी तरह से बंद हो गया है. मजदूरों के सामने भूखे मरने की स्थिति खड़ी हो गई थी. ऐसे में सरकार ने मनरेगा के तहत होने वाले काम बढ़ा दिए हैं. ज्यादा से ज्यादा मजदूरों को काम मिल सके, इसे ध्यान में रखते हुए ग्राम पंचायतों में निर्माण कार्यों की संख्या बढ़ा दी है. इसके लिए जिला कलेक्टर ने सड़क, पुल, पुलिया, भवन और तालाब निर्माण जैसे काम शुरू करने के निर्देश दिए थे. इसके तहत काम शुरू हो गया है और जिले में कुल एक लाख 25 हजार 330 मजदूरों को काम मिला है.

laborers are Working
काम करते मजदूर

पंचायतों में कार्यरत मजदूरों की संख्या

  • बोडला ब्लॉक के 118 ग्राम पंचायत में 2 हजार 856 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 31 हजार 535
  • कवर्धा ब्लॉक के 101 ग्राम पंचायत में एक हजार 328 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 33 हजार 930
  • पंडरिया ब्लॉक के 133 ग्राम पंचायत में 18 हजार 947 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 30 हजार 772
  • लोहारा ब्लॉक के 81 ग्राम पंचायत में एक हजार 274 जगहों पर कुल कार्यरत मजदूर 29 हजार 93
    workers working on Bridge
    पुल का काम करते मजदूर

इस तरह से अलग-अलग ब्लॉक में कुल एक लाख 25 हजार 330 मजदूर मनरेगा के तहत काम कर रहे हैं. इस तरह काम मिलने से मजदूरों की आर्थिक रूप से बहुत राहत मिली है. लॉकडाउन के दौरान मजदूरों को पर्याप्त रोजगार और रुपए मिल सके इसके लिए जिला प्रशासन मनरेगा के जरिए उन्हें काम मुहैया करा रहा है.

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