बिलासपुर : रेलवे के मनमाने रवैए और यात्री सुविधाओं की अनदेखी को लेकर जनता का आक्रोश बढ़ता जा रहा है. इसी कड़ी में सिरगिट्टी क्षेत्र के लोगों ने गुरुवार को डीआरएम कार्यालय (DRM office Bilaspur ) का घेराव (Congress protests DRM office in bilaspur ) किया. इस दैरान आक्रोशित जनता ने रेल प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की. सिरगिट्टी क्षेत्र की जनता लंबे समय से तारबाहर अंडरब्रिज के एक्सटेंशन की मांग कर रही (public demands on underbridge in Sirgitti ) है. रेलवे के उदासीनता के कारण ब्रिज का एक्सटेंशन अटका है. जिससे क्षेत्रवासियों को अंडरब्रिज होने के बाद भी रेल फाटक पार करके आवागमन करना पड़ता है. बाईपास लाइन होने के कारण घंटों फाटक बंद रहता है. जिससे स्कूल, स्वास्थ्य सहित अन्य इमरजेंसी के लिए लोगों को परेशान होना पड़ता है. कई बार जल्दबाजी में लोगों को हादसे का भी शिकार होना पड़ता है. क्षेत्रवासियों ने मांगों को लेकर रेलवे को कई बार मांग पत्र सौंपा है. बाबजूद रेलवे उदासीन बना हुआ है.जिसके कारण अब क्षेत्र के लोग रेलवे के रवैए को लेकर लामबंद हो गए हैं. रेलवे ने कुछ साल पहले तारबहार से सिरगिट्टी तक रेलवे क्रॉसिंग पर अंडर ब्रिज तो बनाया. लेकिन परेशानी अब भी बरकरार है.
कितने लोग हो रहे हैं प्रभावित : क्षेत्र के करीब 50 हजार लोग इससे सीधे प्रभावित हो रहे हैं. इधर सर्वदलीय मंच ने भी लोगों के इस आंदोलन को अपना समर्थन दिया है. सर्वदलीय मंच ने क्षेत्रवासियों के मांग के साथ रद्द ट्रेनों के बहाली और स्टॉपेज की मांग की है. साथ ही रेलवे को 15 दिन का अल्टीमेटम देते हुए उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है. ग्रामीणों ने बताया कि रोजाना ही उन्हें अपने आवश्यक कार्यो के लिए यहां से शहर जाना होता है. ऐसे में घंटों फाटक बंद रहता है. जिससे उनके आवश्यक कार्य मे देरी की वजह से बिगड़ जाते हैं. पूरे क्षेत्र में एक दर्जन गांवों में निवास करने वाले 50 हजार लोग रेलवे के लापरवाही की वजह से हलकान रहते (Sirgitti over under bridge issue in Bilaspur) हैं.
रेलवे की लापरवाही का भुगत रहे खामियाजा : इस घेराव में कांग्रेस ने भी अपना समर्थन दिया, इसके अलावा नगर निगम के पार्षद और महापौर ने बताया कि ''कुछ पटरियों के नीचे अंडरब्रिज नहीं बनाया गया. जिससे तारबाहर साइड से आने पर अंडरब्रिज से निकलने पर फिर रेल पटरी आ जाती है. यहां घंटों फाटक बंद रहता हैं.यहां रेलवे ने रेल करकसिंग के खत्म होने से पहले ही अंडरब्रिज से पहले ही निकल दिया जाता है.'' आंदोलन में पहुंचे महापौर रामचरण ने बताया कि ''25 परसेंट का काम छोड़ दिया गया यानी रेलवे ने अंडर ब्रिज से बाहर निकलने पर तीन पटरी पहले ही ब्रिज से बाहर निकाल दिया जाता है. उनकी रेल अफसरों से बातचीत हुई जिसमें उन्हें आश्वासन दिया गया है कि 15 दिन के अंदर काम शुरू कर दिया जाएगा.'' महापौर रामशरण यादव और कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता अभय नारायण राय ने रेल अधिकारियों को चेतावनी दी है यदि जल्द जनसमस्या का निवारण नही हुआ तो रेलवे के खिलाफ उग्र आंदोलन करेंगे.
15 दिन में काम शुरु करने का आश्वासन : प्रदर्शन कर रहे ग्रामीणों को समझाइश देने पहुंचे रेलवे के सीनियर डीईएन कोऑर्डिनेटर चक्रधारी यादव ने आश्वासन दिया है कि '' 15 के अंदर समस्या के निपटारे के लिए कवायद शुरू कर दी जाएगी. जमीन की समस्या को सुलझा लिया गया है .इसके अलावा जिला प्रशासन की जमीन की आवश्यकता नही पड़ेगी. इसलिए जल्द ही रेलवे अपने अधिकार क्षेत्र के सभी कार्य करवा लेगी.''