बिलासपुर: जिले में ब्लैक फंगस (Black fungus) के मरीजों की संख्या हर दिन बढ़ती जा रही है. शनिवार को सिम्स (cims bilaspur) में 3 और नए मरीज भर्ती हुए. अब तक ब्लैक फंगस के सिम्स (black fungus in cims) में 23 मरीजों को भर्ती किया जा चुका है. ब्लैक फंगस के 3 नये मरीजों में जांजगीर के रहने वाले 35 वर्षीय पुरुष, कोरबा रहने वाले 68 वर्षीय पुरुष और सदर बाजार के रहने वाले 70 वर्षीय वृद्ध में ब्लैक फंगस होने की पुष्टि की गई है. तीनों मरीजों को नाक में फंगस हुआ है. वर्तमान में सिम्स में 10 मरीज भर्ती हैं जिनका इलाज चल रहा है.
एक मरीज हुआ डिस्चार्ज
सिम्स में चल रहे ब्लैक फंगस के मरीजों में एक मरीज को स्वस्थ होने के बाद डिस्चार्ज किया गया है. अबतक ब्लैक फंगस के 23 मरीज मिल चुके हैं, जिसने 5 मरीजों को रायपुर रेफर किया जा चुका है. तीन मरीजों के ऑपरेशन हो चुके हैं जिनकी हालत बेहतर है. रतनपुर में रहने वाली 60 वर्षीय महिला ब्लैक फंगस से पीड़ित थी. इलाज के दौरान रायपुर में दम तोड़ा. महिला को 19 मई को सिम्स में भर्ती किया गया था. ब्रेन में फंगस पहुंचने के कारण महिला की हालत गंभीर थी, जिसके बाद उसे रायपुर रेफर कर दिया गया था. यहां उपचार के दौरान गुरुवार को महिला की मौत हो गई.
कोंडागांव में ब्लैक फंगस से संकुल समन्वयक की मौत
ब्लैक फंगस दवा की कमी
ब्लैक फंगस के इलाज की सबसे कारगर दवा पोसाकोनाजोल, एंप्रोटेरेसिन-बी जिले में उपलब्ध नहीं है. मरीजों की संख्या में कमी के कारण इस दवा की बिक्री बहुत कम है. थोक दवा विक्रेता कंपनी से इसे नहीं मंगाते है, जिसके चलते जिले में इन दवाइयों की कमी बनी है. दवा की कमी होने से मरीजों का इलाज प्रभावित हो रहा है.
दवाइयों के आयात शुल्क पर छूट
ब्लैक फंगस के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवा के आयात पर शुल्क में छूट का फैसला किया गया है. इसके साथ ही कोरोना के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवाओं और चिकित्सा उपकरण पर जीएसटी की दर में बदलाव नहीं किया गया है.
बलरामपुर में ब्लैक फंगस से हुई पहली मौत के बाद इलाके में दहशत
शनिवार को 2 लोगों की मौत
बलरामपुर और कोंडगांव में ब्लैक फंगस के एक-एक मरीजों की शनिवार को मौत हुई है. दोनों का रायपुर एम्स में इलाज चल रहा था. दोनों ही कोरोना से रिकवर हो चुके थे.