सरगुजा: जिले में 14 मार्च को लॉकडाउन लगाया गया था. लॉकडाउन की शुरुआत में प्रशासन इतना सख्त था कि नियम तोड़ने पर कोई भी कार्रवाई से नहीं बच सका. लॉकडाउन की अवधि बढ़ती गई. धीरे-धीरे कई सेवाओं में छूट भी मिलने लगी. सरगुजा में लॉकडाउन की अवधि बढ़ाकर 31 मई कर दी गई है. इस दौरान कई तरह की छूट भी दी गई है. लोग अब घर से बाहर निकलने लगे हैं. ETV भारत ने अंबिकापुर के कई इलाकों में पहुंचकर लॉकडाउन के हालातों का जायजा लिया और कुछ लोगों से बातचीत भी की.
स्ट्रीट वेंडर्स को घूमकर फल, सब्जी, राशन बेचने की छूट दोपहर 2 बजे तक दी गई, लेकिन इसके बाद फिर लॉकडाउन का आदेश संशोधित हुआ और शहर से बाहर गली- मोहल्ले की किराना दुकानों को शाम 5 तक खोलने की अनुमति दी गई. ETV भारत की टीम जब लॉकडाउन का जायजा लेने गई तो देखा कि स्ट्रीट वेंडर्स का आदेश कागजों तक ही सीमित रह गया है. वेंडर्स सड़क के किनारे फल बेचते नजर आए. शहर के हर चौक-चौराहों का यही हाल था.
घड़ी चौक की स्थिति
चौक पर सुरक्षाकर्मी ना के बराबर थे. लोगों का आना-जाना आम दिनों की तरह ही लगा हुआ था. रोड के किनारे फल और सब्जियों के ठेले लगे हुए थे. लोग वहां खड़े होकर फल खरीद रहे थे. सड़क पर बच्चे भी घूमते नजर आए. लॉकडाउन का किसी तरह का कोई असर नजर नहीं आया.
आकाशवाणी चौक में नजर आई भीड़
घड़ी चौक की तरह आकाशवाणी चौक का भी यहीं हाल था. सड़क के किनारे ठेले खड़े हुए थे. हालांकि कैमरा देखते ही ये ठेले चलने लगे. कलेक्टर के आदेश की अवेहलना करते हुए शहर के वेंडर लगातार सब्जियां या फल बेच रहे हैं. चौक पर ट्रैफिक पुलिस का एक जवान खड़ा हुआ था. उनसे जब पूछा गया कि इस तरह ठेला लगाकर व्यवसाय किया जा रहा है तो उन्होंने कहा कि 2 बजे तक उन्हें अनुमति थी.