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पटना: पारस और रूबन हॉस्पिटल में शुरू हुआ कोरोना का इलाज, प्रशासन ने दी मंजूरी

बिहार में कोविड-19 के बढ़ते मामलों के बीच सोमवार से पटना के दो प्राइवेट अस्पतालों में कोरोना का इलाज शुरू कर दिया गया है. इसमें पारस हॉस्पिटल और रुबन हॉस्पिटल के नाम शामिल हैं.

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Published : Jul 20, 2020, 4:04 PM IST

पटना: जिला प्रशासन और सिविल सर्जन कार्यालय ने राजधानी पटना के दो प्राइवेट अस्पतालों को कोरोना के मरीजों के इलाज की अनुमति दे दी है. शहर के बड़े प्राइवेट हॉस्पिटल में शुमार पारस हॉस्पिटल और रुबन हॉस्पिटल में सोमवार यानी आज से कोरोना पॉजिटिव मरीज का इलाज शुरू कर दिया गया है. दोनों अस्पताल में कोरोना से संक्रमित मरीजों के लिए 25-25 बेड रिजर्व किए गए हैं.

अन्य प्राइवेट हॉस्पिटल के भी मिले हैं आवेदन
रूबन और पारस हॉस्पिटल में मरीज के कोरोना की जांच अगर पॉजिटिव आती है तो मरीज को अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में एडमिट किया जाएगा. वहीं, अगर रिपोर्ट नेगेटिव आती है तो पेशेंट को जनरल वार्ड में एडमिट कर इलाज किया जाएगा.

पटना के सिविल सर्जन डॉक्टर राज किशोर चौधरी ने जानकारी देते हुए बताया कि वर्तमान में अभी दो निजी अस्पतालों को ही कोरोना के मरीजों के इलाज की अनुमति दी गई है और अभी कई अन्य प्राइवेट हॉस्पिटल के भी आवेदन उनके पास पहुंचे हुए हैं. उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के मरीज का इलाज करने के लिए जिन प्राइवेट हॉस्पिटल ने आवेदन दिए हैं उनका निरीक्षण किया जाएगा और निरीक्षण के बाद जो भी मानक है उस पर अगर खड़े पाए जाते हैं तो उन्हें भी कोरोना पेशेंट के इलाज की अनुमति दी जाएगी.

जारी किया गया है विशेष गाइडलाइन
बता दें कि कोरोना के मरीजों का इलाज करने वाले निजी अस्पतालों को आईसीएमआर का विशेष गाइडलाइन जारी किया गया है, जिसमें अस्पताल का 20 से 25 फीसदी बेड आइसोलेशन वार्ड के तौर पर रखना अनिवार्य है. अन्य जो भी मानक है वह स्वास्थ्य विभाग की ऑनलाइन पोर्टल पर जानकारी उपलब्ध कराई गई है.

पटना के बड़े सरकारी अस्पतालों में जिस प्रकार से इन दिनों इलाज में लचर व्यवस्था की घटनाएं सामने आई है उसके बाद से एक खास आय वर्ग के लोगों का प्राइवेट हॉस्पिटल पर दबाव बढ़ा है कि वह कोरोना पेशेंट की इलाज की सुविधा अपने यहां उपलब्ध कराएं.

पटना: जिला प्रशासन और सिविल सर्जन कार्यालय ने राजधानी पटना के दो प्राइवेट अस्पतालों को कोरोना के मरीजों के इलाज की अनुमति दे दी है. शहर के बड़े प्राइवेट हॉस्पिटल में शुमार पारस हॉस्पिटल और रुबन हॉस्पिटल में सोमवार यानी आज से कोरोना पॉजिटिव मरीज का इलाज शुरू कर दिया गया है. दोनों अस्पताल में कोरोना से संक्रमित मरीजों के लिए 25-25 बेड रिजर्व किए गए हैं.

अन्य प्राइवेट हॉस्पिटल के भी मिले हैं आवेदन
रूबन और पारस हॉस्पिटल में मरीज के कोरोना की जांच अगर पॉजिटिव आती है तो मरीज को अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में एडमिट किया जाएगा. वहीं, अगर रिपोर्ट नेगेटिव आती है तो पेशेंट को जनरल वार्ड में एडमिट कर इलाज किया जाएगा.

पटना के सिविल सर्जन डॉक्टर राज किशोर चौधरी ने जानकारी देते हुए बताया कि वर्तमान में अभी दो निजी अस्पतालों को ही कोरोना के मरीजों के इलाज की अनुमति दी गई है और अभी कई अन्य प्राइवेट हॉस्पिटल के भी आवेदन उनके पास पहुंचे हुए हैं. उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के मरीज का इलाज करने के लिए जिन प्राइवेट हॉस्पिटल ने आवेदन दिए हैं उनका निरीक्षण किया जाएगा और निरीक्षण के बाद जो भी मानक है उस पर अगर खड़े पाए जाते हैं तो उन्हें भी कोरोना पेशेंट के इलाज की अनुमति दी जाएगी.

जारी किया गया है विशेष गाइडलाइन
बता दें कि कोरोना के मरीजों का इलाज करने वाले निजी अस्पतालों को आईसीएमआर का विशेष गाइडलाइन जारी किया गया है, जिसमें अस्पताल का 20 से 25 फीसदी बेड आइसोलेशन वार्ड के तौर पर रखना अनिवार्य है. अन्य जो भी मानक है वह स्वास्थ्य विभाग की ऑनलाइन पोर्टल पर जानकारी उपलब्ध कराई गई है.

पटना के बड़े सरकारी अस्पतालों में जिस प्रकार से इन दिनों इलाज में लचर व्यवस्था की घटनाएं सामने आई है उसके बाद से एक खास आय वर्ग के लोगों का प्राइवेट हॉस्पिटल पर दबाव बढ़ा है कि वह कोरोना पेशेंट की इलाज की सुविधा अपने यहां उपलब्ध कराएं.

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