सहरसा: गांधी मैदान से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सहरसा को मेडिकल कॉलेज का तोहफा दिया है. इसकी घोषणा होने के बाद एम्स निर्माण संघर्ष समिति ने पूर्व सांसद आनंद मोहन के नेतृत्व में जश्न मनाया. कल तक एम्स निर्माण की लड़ाई लड़ने वाले तमाम लोग इस बात से खुश दिख रहे हैं कि कम से कम मेडिकल कॉलेज तो खुलेगा. इससे उन्हें बेहतर स्वास्थ्य सेवा मिल सकेगी.
लंबी लड़ाई के बाद मिला मेडिकल कॉलेज: दरअसल, एम्स निर्माण संघर्ष समिति के बैनर तले सहरसा में एम्स निर्माण के लिए लंबी लड़ाई लड़ी गई है. इसी कड़ी में एम्स निर्माण को लेकर पूर्व सांसद आनंद मोहन के नेतृत्व में सर्वदलीय सहरसा बंद करवाया गया. जिसमें तमाम दलों के नेताओं के साथ-साथ विभिन्न संगठनों ने भी हिस्सा लिया था. जिसका परिणाम रहा कि सहरसा पूर्णतः बंद रह और इस बंदी की गूंज पटना से लेकर दिल्ली तक पहुंची.
नीतीश कुमार ने की घोषणा: लोगों की बुलंद आवाज का असर ही कहा जाए कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 15 अगस्त को पटना के गांधी मैदान से सहरसा में मेडिकल कॉलेज की स्थापना का ऐलान कर दिया. इससे उत्साहित होकर सहरसा में पूर्व सांसद आनंद मोहन के नेतृत्व में विभिन्न दलों और विभिन्न संगठनों ने आभार मार्च निकालकर जश्न मनाया. न सिर्फ एक-दूसरे को मिठाई खिलायी, बल्कि गुलाल लगाया और पटाखा भी फोड़ा.
आनंद मोहन ने सीएम का आभार जताया: इस मौके पर पूर्व सांसद आनंद मोहन ने कहा कि सहरसा वासियों ने दशकों से बहुत कुछ खो दिया है. यहां से यूनिवर्सिटी चला गया. लोकसभा क्षेत्र का नाम हटा दिया गया. ऐसे में सहरसा वासियों ने अपनी मांगों को लेकर गत 31 जुलाई को चट्टानी एकता का परिचय देते हुए अभूतपूर्व बंद करवाया था, जिसकी गूंज पटना से दिल्ली तक पहुंची. परिणाम ये हुआ कि खुद मुख्यमंत्री ने संज्ञान लेते हुए सहरसा को मेडिकल कॉलेज का तोहफा दिया. साथ ही आगे बहुत कुछ देने का वादा भी किया है.
"मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का हम आभार प्रकट करते हैं कि उन्होंने मेडिकल कॉलेज के तौर पर सहरसा को बेहतरीन तोहफा दिया है. आगे भी उनसे बहुत उम्मीद है. सीएम ने आजादी दिवस के मौके पर गांधी मैदान से इसकी घोषणा की है. इससे स्वास्थ्य सुविधा तो बेहतर होगी ही, बच्चे मेडिकल की पढ़ाई भी कर सकेंगे"- आनंद मोहन, पूर्व सांसद
सहरसा में मेडिकल कॉलेज खुलेगा: गांधी मैदान से राज्य के लोगों को संबोधित करते हुए सीएम ने सहरसा में मेडिकल कॉलेज खोलने की घोषणा की. उन्होंने कहा कि सरकार का सभी प्रमंडलीय मुख्यालय में मेडिकल कॉलेज खोलने का लक्ष्य है. सहरसा में मेडिकल कॉलेज खुलने के बाद ये लक्ष्य पूरा हो जाएगा. वर्तमान में 11 मेडिकल कॉलेज हैं. 13 नए मेडिकल कॉलेज का निर्माण हो रहा है.