सहरसा : बिहार में शराबबंदी कानून (prohibition law in bihar) लागू है. शराब बंदी काननू को शख्ती से लागू करवाने को लेकर उत्पाद विभाग बड़ी कार्रवाई भी कर रही है. सहरसा जिले में उत्पाद विभाग की बड़ी कार्रवाई की है। बीते 8 महीने में यानी कि अप्रैल 2021 से लेकर नवंबर 2022 तक कुल 1655 लोग को लाल पानी के चक्कर में लाल घर जाना पड़ा है. फिर भी शराब कारोबारी और पियक्कड़ लोग अपने कारनामों से बाज नहीं आ रहे हैं. इस कार्रवाई को लेकर शराब कारोबारी,और पियक्कड़ों में हड़कम्प मचा हुआ है.
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23 लोग दोबारा पीने में जेल गए : उत्पाद इंस्पेक्टर संतोष श्रीवास्तव ने गुरुवार को बताया की 1655 शराब कारोबारी और पियक्कड़ों की गिरफ्तारी अप्रैल 2022 से लेकर नवंबर 2022 तक किया गया है. जिसमें 592 लोगों को जुर्माना देकर न्यायालय के द्वारा छोड़ा गया है. 23 लोग दोबारा पीने में जेल गया है. 19 होम डिलेवरी वाले लोग हैं. 14 वीआईपी लोग हैं. बांकी सब लोग शराब बेचने वाले और पीने वाले लोग है.
लगातार अभियान चलेगा: शराब कारोबारी और शराब पीने वाले लोगों के खिलाफ लगातार उत्पाद विभाग की पुलिस के द्वारा कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने कहा कि सहरसा,सुपौल,और मधेपुरा के उत्पाद पुलिस कर्मी को भी शामिल किया गया है. तीनों जिले के उत्पाद पुलिस कर्मी के द्वारा लगातार शराब कारोबारी और शराबियों के विरुद्ध छापामारी कर गिरफ्तार भी किया जा रहा है.
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"14 वीआईपी लोग हैं. बांकी सब लोग शराब बेचने वाले और पीने वाले लोग है. शराब कारोबारी और शराब पीने वाले लोगों के खिलाफ लगातार उत्पाद विभाग की पुलिस के द्वारा कार्रवाई की जाएगी." -संतोष श्रीवास्तव,उत्पाद इंस्पेक्टर