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जहरीली शराब से मौत पर विधानसभा में बवाल, विपक्ष ने मांगा सीएम नीतीश का इस्तीफा

बिहार में शराबबंदी के बावजूद जहरीली शराब (death due to poisonous liquor) से हो रही मौतों ने सरकार की मुश्किलें बढ़ा दी हैं. बिहार विधानसभा की कार्यवाही (Bihar Legislature Budget Session) के दौरान विपक्ष ने इस मुद्दे पर जमकर हंगामा किया और वेल में आ गए. भारी हंगामे के बीच सदन की कार्यवाही को 2 बजे तक के लिए स्थगित करना पड़ा. पढ़ें पूरी खबर..

uproar in bihar assembly over death due to poisonous liquor
uproar in bihar assembly over death due to poisonous liquor
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Published : Mar 23, 2022, 1:01 PM IST

Updated : Mar 23, 2022, 1:23 PM IST

पटना: शराबबंदी (Liquor Ban In Bihar) वाले राज्य बिहार में विधानसभा (Uproar In Bihar Assembly ) की कार्यवाही में जहरीली शराब से मौत का मामला उठाया गया. जहरीली शराब से मौत मामले को लेकर आरजेडी सदस्य वेल में पहुंच गए.आरजेडी सदस्यों ने आरोप लगाया कि जहरीली शराब से मौत मामले में मृतकों में से किसी का भी पोस्टमार्टम नहीं कराया गया. इस दौरान विपक्ष ने हंगामा और नारेबाजी करते हुए सीएम नीतीश कुमार (Opposition demand CM Nitish resignation) से इस्तीफे की मांग की.

पढ़ें- होली में धड़ल्ले से बिकी बिहार में शराब.. 72 घंटे में अब तक 41 लोगों की संदिग्ध मौत

जहरीली शराब से मौत मामले पर हंगामा: जहरीली शराब के मुद्दे पर विपक्ष ने सरकार को जमकर घेरा. विधानसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सदस्यों को अपनी सीट पर बैठने की सलाह दी. इस मामले में संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी ने जवाब दिया. विजय चौधरी ने कहा कि गृह विभाग के बजट पर चर्चा होगी और उसमें सदस्य अपनी बात रख सकते हैं. यह सुनते ही विपक्षी सदस्य वेल में पहुंचकर लगातार नारेबाजी करने लगे और सीएम नीतीश से इस्तीफे की मांग करने लगे. आरजेडी के सदस्यों ने कहा कि 'नीतीश कुमार गद्दी छोड़ो.

"सदस्यों ने जिस बात की चर्चा की है सरकार ने उसपर संज्ञान लिया है. अभी गृह विभाग से संबंधित विषय पर पूरे तीन घंटे का विमर्श निर्धारित है. उसमें विस्तार से चर्चा कर सकते हैं. सरकार ने संज्ञान लिया है, गृह विभाग की मांग पर सरकार की टिप्पणी इस बात पर शामिल रहेगी."- विजय कुमार चौधरी,संसदीय कार्य मंत्री, बिहार

कार्यवाही स्थगित: विपक्षी सदस्यों ने जहरीली शराब से मौत मामले में मृतकों के परिजनों को मुआवजा देने की भी मांग की है. हंगामे के बीच विधानसभा की कार्यवाही 2:00 बजे तक के लिए स्थगित (Bihar Legislative Assembly Adjourned) कर दी गई. बता दें कि बिहार में कथित जहरीली शराब से मरने वालों की संख्या 41 हो गई है. भागलपुर, बांका, मोतिहारी और सिवान में जहरीली शराब ने तांडव मचाया हुआ है. शराबबंदी के बावजूद बिहार में शराब धड़ल्ले से बिक रही है.

'अ'पूर्ण शराबबंदी के 6 साल: बिहार में 2016 से ही पूर्ण शराबबंदी है. राज्य में पूर्ण शराबबंदी को लागू हुए 6 साल बीत चुके हैं. इन 6 सालों के दौरान शायद ही कोई ऐसा दिन बीता हो जिस दिन बिहार के शराबबंदी कानून तोड़ने की खबर ना आई हो. पुलिस की सख्ती के बावजूद शराबबंदी वाले बिहार में शराब धड़ल्ले से बिक रही है. होली पर जहरीली शराब पीने से अलग-अलग जिलों में अब कर 41 मौत हो चुकी हैं, साथ ही 24 से ज्यादा लोगों का इलाज जारी है. इनमें कई लोगों की आंखों की रोशनी भी चली गई है.

भागलपुर में 22 लोगों की संदिग्ध मौत: भागलपुर जिले में 22 लोगों की संदिग्ध मौत हुई है. जिले में विश्विद्यालय थाना क्षेत्र और नवगछिया के भवानीपुर ओपी थाना क्षेत्र में शराब से ज्यादातर मौतें हुईं हैं. दर्जनभर से ज्यादा लोग यहां बीमार हैं. जहरीली शराब से मौत और दर्जनों लोग के बीमार होने की सूचना से पूरे इलाके में अभी भी खलबली मची हुई है. प्रशासन ये जानने में जुटा है कि इतनी संख्या में हुई मौत की असल वजह जहरीली शराब है या कुछ और?

बांका में 13 लोगों की संदिग्ध मौत: बांका में भी 13 लोगों की संदिग्ध मौत हुई है. परिवार वालों की मानें तो इनकी मौत जहरीली शराब पीने से हुई है. वहीं पुलिस और प्रशासन की टीम ने डीएम और एसपी के नेतृत्व में जांच की है. प्रशासन की टीम ने पाया कि मौतों की वजह बीमारी है. प्रशासन ने दावा किया है कि ये सभी मौतें बीमारी की वजह से हुईं हैं. खुद प्रशासन की टीम ने मरने वालों के घर पहुंचकर जानकारी इकट्ठा की है. सवाल इस बात का है कि यही प्रशासन जब किसी की मौत होती है तो पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आने का इंतजार करती है, लेकिन इस मामले में अपनी इंटरनल रिपोर्ट पर भरोसा करके ये कह दिया कि मौत बीमारी से हुई है. फिर सवाल उठता है कि क्या प्रशासन के जांच का आधार 'पोस्टमार्टम रिपोर्ट' है या 'इंटरनल सर्वे'?

मधेपुरा में 3 लोगों की संदिग्ध मौत: मधेपुरा जिले के मुरलीगंज थाना क्षेत्र में एक ही गांव के कई लोग बीमार पड़ गए. जिसमें अब तक तीन लोगों की मौत हो गई. वहीं कई लोग अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच लड़ रहे हैं. मौत जहरीली शराब पीने से ही हुई है इसकी पुष्टि प्रशासन ने अभी तक नहीं की है.

सिवान में 3 लोगों की संदिग्ध मौत: वहीं, सिवान में भी तीन लोगों की जहरीली शराब पीने से मौत बताई जा रही है. मुफस्सिल थाना क्षेत्र के सरावे गांव और छोटपुर गांव के ग्रामीणों ने खरीदकर जहरीली शराब का सेवन किया था. परिवार वालों का आरोप है कि इन सभी की मौत की वजह जहरीली शराब ही है. सिवान में एक मृतक की पत्नी सिंगरीया देवी मीडिया को बोतल दिखाकर बता रही है कि मेरे पति की मौत इस बोतल की शराब पीने से हुई है. वृद्ध महिला ने कहा कि उल्टी हुई, फिर पेट दर्द हुआ, फिर मौत हो गई. पर बार-बार कुरेदने के बाद भी शराब का नाम लेने से डर रही है. इस केस में भी प्रशासन कुछ भी बोलने से बचता दिख रहा है. अभी भी दो लोगों का इलाज जारी है.

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पटना: शराबबंदी (Liquor Ban In Bihar) वाले राज्य बिहार में विधानसभा (Uproar In Bihar Assembly ) की कार्यवाही में जहरीली शराब से मौत का मामला उठाया गया. जहरीली शराब से मौत मामले को लेकर आरजेडी सदस्य वेल में पहुंच गए.आरजेडी सदस्यों ने आरोप लगाया कि जहरीली शराब से मौत मामले में मृतकों में से किसी का भी पोस्टमार्टम नहीं कराया गया. इस दौरान विपक्ष ने हंगामा और नारेबाजी करते हुए सीएम नीतीश कुमार (Opposition demand CM Nitish resignation) से इस्तीफे की मांग की.

पढ़ें- होली में धड़ल्ले से बिकी बिहार में शराब.. 72 घंटे में अब तक 41 लोगों की संदिग्ध मौत

जहरीली शराब से मौत मामले पर हंगामा: जहरीली शराब के मुद्दे पर विपक्ष ने सरकार को जमकर घेरा. विधानसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सदस्यों को अपनी सीट पर बैठने की सलाह दी. इस मामले में संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी ने जवाब दिया. विजय चौधरी ने कहा कि गृह विभाग के बजट पर चर्चा होगी और उसमें सदस्य अपनी बात रख सकते हैं. यह सुनते ही विपक्षी सदस्य वेल में पहुंचकर लगातार नारेबाजी करने लगे और सीएम नीतीश से इस्तीफे की मांग करने लगे. आरजेडी के सदस्यों ने कहा कि 'नीतीश कुमार गद्दी छोड़ो.

"सदस्यों ने जिस बात की चर्चा की है सरकार ने उसपर संज्ञान लिया है. अभी गृह विभाग से संबंधित विषय पर पूरे तीन घंटे का विमर्श निर्धारित है. उसमें विस्तार से चर्चा कर सकते हैं. सरकार ने संज्ञान लिया है, गृह विभाग की मांग पर सरकार की टिप्पणी इस बात पर शामिल रहेगी."- विजय कुमार चौधरी,संसदीय कार्य मंत्री, बिहार

कार्यवाही स्थगित: विपक्षी सदस्यों ने जहरीली शराब से मौत मामले में मृतकों के परिजनों को मुआवजा देने की भी मांग की है. हंगामे के बीच विधानसभा की कार्यवाही 2:00 बजे तक के लिए स्थगित (Bihar Legislative Assembly Adjourned) कर दी गई. बता दें कि बिहार में कथित जहरीली शराब से मरने वालों की संख्या 41 हो गई है. भागलपुर, बांका, मोतिहारी और सिवान में जहरीली शराब ने तांडव मचाया हुआ है. शराबबंदी के बावजूद बिहार में शराब धड़ल्ले से बिक रही है.

'अ'पूर्ण शराबबंदी के 6 साल: बिहार में 2016 से ही पूर्ण शराबबंदी है. राज्य में पूर्ण शराबबंदी को लागू हुए 6 साल बीत चुके हैं. इन 6 सालों के दौरान शायद ही कोई ऐसा दिन बीता हो जिस दिन बिहार के शराबबंदी कानून तोड़ने की खबर ना आई हो. पुलिस की सख्ती के बावजूद शराबबंदी वाले बिहार में शराब धड़ल्ले से बिक रही है. होली पर जहरीली शराब पीने से अलग-अलग जिलों में अब कर 41 मौत हो चुकी हैं, साथ ही 24 से ज्यादा लोगों का इलाज जारी है. इनमें कई लोगों की आंखों की रोशनी भी चली गई है.

भागलपुर में 22 लोगों की संदिग्ध मौत: भागलपुर जिले में 22 लोगों की संदिग्ध मौत हुई है. जिले में विश्विद्यालय थाना क्षेत्र और नवगछिया के भवानीपुर ओपी थाना क्षेत्र में शराब से ज्यादातर मौतें हुईं हैं. दर्जनभर से ज्यादा लोग यहां बीमार हैं. जहरीली शराब से मौत और दर्जनों लोग के बीमार होने की सूचना से पूरे इलाके में अभी भी खलबली मची हुई है. प्रशासन ये जानने में जुटा है कि इतनी संख्या में हुई मौत की असल वजह जहरीली शराब है या कुछ और?

बांका में 13 लोगों की संदिग्ध मौत: बांका में भी 13 लोगों की संदिग्ध मौत हुई है. परिवार वालों की मानें तो इनकी मौत जहरीली शराब पीने से हुई है. वहीं पुलिस और प्रशासन की टीम ने डीएम और एसपी के नेतृत्व में जांच की है. प्रशासन की टीम ने पाया कि मौतों की वजह बीमारी है. प्रशासन ने दावा किया है कि ये सभी मौतें बीमारी की वजह से हुईं हैं. खुद प्रशासन की टीम ने मरने वालों के घर पहुंचकर जानकारी इकट्ठा की है. सवाल इस बात का है कि यही प्रशासन जब किसी की मौत होती है तो पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आने का इंतजार करती है, लेकिन इस मामले में अपनी इंटरनल रिपोर्ट पर भरोसा करके ये कह दिया कि मौत बीमारी से हुई है. फिर सवाल उठता है कि क्या प्रशासन के जांच का आधार 'पोस्टमार्टम रिपोर्ट' है या 'इंटरनल सर्वे'?

मधेपुरा में 3 लोगों की संदिग्ध मौत: मधेपुरा जिले के मुरलीगंज थाना क्षेत्र में एक ही गांव के कई लोग बीमार पड़ गए. जिसमें अब तक तीन लोगों की मौत हो गई. वहीं कई लोग अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच लड़ रहे हैं. मौत जहरीली शराब पीने से ही हुई है इसकी पुष्टि प्रशासन ने अभी तक नहीं की है.

सिवान में 3 लोगों की संदिग्ध मौत: वहीं, सिवान में भी तीन लोगों की जहरीली शराब पीने से मौत बताई जा रही है. मुफस्सिल थाना क्षेत्र के सरावे गांव और छोटपुर गांव के ग्रामीणों ने खरीदकर जहरीली शराब का सेवन किया था. परिवार वालों का आरोप है कि इन सभी की मौत की वजह जहरीली शराब ही है. सिवान में एक मृतक की पत्नी सिंगरीया देवी मीडिया को बोतल दिखाकर बता रही है कि मेरे पति की मौत इस बोतल की शराब पीने से हुई है. वृद्ध महिला ने कहा कि उल्टी हुई, फिर पेट दर्द हुआ, फिर मौत हो गई. पर बार-बार कुरेदने के बाद भी शराब का नाम लेने से डर रही है. इस केस में भी प्रशासन कुछ भी बोलने से बचता दिख रहा है. अभी भी दो लोगों का इलाज जारी है.

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Last Updated : Mar 23, 2022, 1:23 PM IST
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