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पटना साहिब: सिख समाज नाराज, प्रतिनिधियों पर लगाया अनदेखी का आरोप

ज्यादातर स्थानीय सिखों ने बताया कि पटना साहिब में सिख समाज ने कितने सांसद और विधायक को जिताया. लेकिन, किसी ने सिखों के लिए कोई खास काम नहीं किया.

सिख उम्मीदवार
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Published : May 16, 2019, 10:44 PM IST

पटना: पटना साहिब लोकसभा और पटना साहिब विधान सभा पहले पटना पूर्वी लोकसभा और पटना पूर्वी विधान सभा के नाम से जाना जाता था. लेकिन, सिखों के दसवें और अंतिम गुरु श्री गुरुगोविंद सिंह जी महाराज के जन्मस्थली के कारण इस क्षेत्र का नाम पटना साहिब लोकसभा और पटना साहिब विधानसभा रखा गया. कहा जाता है कि इलाके के सिखों ने चुनाव आयोग के सामने नाम बदलने की मांग रखी थी. तब इस क्षेत्र की महत्ता को समझते हुए आयोग ने इनकी बात स्वीकार की.

पटना साहिब लोकसभा या विधान सभा गुरुगोविंद सिंह के नाम पर तो जरूर जाना जाने लगा. लेकिन, इस लोकसभा या विधानसभा का दुर्भाग्य है कि आजतक इस सीट पर एकबार भी सिख समाज से किसी को टिकट नहीं मिला. इसका कारण यह कि यहां सिखों की आबादी महज 12 हजार है. अल्पसंख्यक होने के कारण आजतक इन्हें किसी भी चुनाव में किसी पार्टी ने टिकट नहीं दिया.

सिख उम्मीदवारों से बात करने पहुंचे ईटीवी संवाददाता

क्या कहते हैं पटना साहिब के सिख?
इसबार पटना साहिब लोकसभा चुनाव को लेकर सिखों की राय जानने के लिए ईटीवी संवाददाता तख्त श्री हरमंदिर जी पटना साहिब गुरुद्वारा पहुंचे. वहां उन्होंने लोगों से उनकी राय पूछी. ज्यादातर स्थानीय सिखों ने बताया कि पटना साहिब में सिख समाज ने कितने सांसद और विधायक को जिताया. लेकिन, किसी ने सिखों के लिए कोई खास काम नहीं किया.

शत्रुघ्न सिन्हा से दिखे नाराज
सिखों का आरोप है कि सभी जनप्रतिनिधियों ने सिखों की उपेक्षा की है. इस सीट से सिने स्टार शत्रुघ्न सिन्हा उर्फ बिहारी बाबू दो बार भाजपा के सांसद रहे. लेकिन, विकास के नाम पर कुछ खास नहीं हुआ. वहीं कुछ सिख इस साल हुए प्रकाश पर्व के मौके पर सरकार की ओर से किए गए इंतजामों से काफी संतुष्ट दिखे.

पटना: पटना साहिब लोकसभा और पटना साहिब विधान सभा पहले पटना पूर्वी लोकसभा और पटना पूर्वी विधान सभा के नाम से जाना जाता था. लेकिन, सिखों के दसवें और अंतिम गुरु श्री गुरुगोविंद सिंह जी महाराज के जन्मस्थली के कारण इस क्षेत्र का नाम पटना साहिब लोकसभा और पटना साहिब विधानसभा रखा गया. कहा जाता है कि इलाके के सिखों ने चुनाव आयोग के सामने नाम बदलने की मांग रखी थी. तब इस क्षेत्र की महत्ता को समझते हुए आयोग ने इनकी बात स्वीकार की.

पटना साहिब लोकसभा या विधान सभा गुरुगोविंद सिंह के नाम पर तो जरूर जाना जाने लगा. लेकिन, इस लोकसभा या विधानसभा का दुर्भाग्य है कि आजतक इस सीट पर एकबार भी सिख समाज से किसी को टिकट नहीं मिला. इसका कारण यह कि यहां सिखों की आबादी महज 12 हजार है. अल्पसंख्यक होने के कारण आजतक इन्हें किसी भी चुनाव में किसी पार्टी ने टिकट नहीं दिया.

सिख उम्मीदवारों से बात करने पहुंचे ईटीवी संवाददाता

क्या कहते हैं पटना साहिब के सिख?
इसबार पटना साहिब लोकसभा चुनाव को लेकर सिखों की राय जानने के लिए ईटीवी संवाददाता तख्त श्री हरमंदिर जी पटना साहिब गुरुद्वारा पहुंचे. वहां उन्होंने लोगों से उनकी राय पूछी. ज्यादातर स्थानीय सिखों ने बताया कि पटना साहिब में सिख समाज ने कितने सांसद और विधायक को जिताया. लेकिन, किसी ने सिखों के लिए कोई खास काम नहीं किया.

शत्रुघ्न सिन्हा से दिखे नाराज
सिखों का आरोप है कि सभी जनप्रतिनिधियों ने सिखों की उपेक्षा की है. इस सीट से सिने स्टार शत्रुघ्न सिन्हा उर्फ बिहारी बाबू दो बार भाजपा के सांसद रहे. लेकिन, विकास के नाम पर कुछ खास नहीं हुआ. वहीं कुछ सिख इस साल हुए प्रकाश पर्व के मौके पर सरकार की ओर से किए गए इंतजामों से काफी संतुष्ट दिखे.

Intro:स्टोरी:-पटना साहिब लोकसभा चुनाव में सिक्खों की राय।
रिपोर्ट:-पटनासिटी से अरुण कुमार।
दिनांक:-16-05-019.
एंकर:-पटना साहिब लोकसभा और पटना साहिब विधान सभा के पहले यह लोकसभा और विधानसभा पटना पूर्वी लोकसभा और पटना पूर्वी विधान सभा के नाम से जाना जाता था।लेकिन सिक्खों के दसवें एवम अंतिम गुरु दशमेश पिता श्री गुरुगोविंद सिंह जी महाराज के जन्मस्थली को लेकर तथा सिक्खों एवम यहाँ के स्थानीय लोगो द्वारा पटना पूर्वी लोकसभा या विधान सभा का नाम बदलकर पटना साहिब लोकसभा और विधान सभा नाम रखने की माँग चुनाव आयोग से रखी थी।उस समय गुरु महराज की महत्ता को देख चुनाव आयोग ने पटना पूर्वी के जगह नाम बदलकर पटना साहिब लोकसभा और विधान सभा का नामकरण हुआ,उस समय से लेकर आजतक पटना साहिब लोकसभा या विधानसभा के नाम से जाना जाता है।पटना साहिब लोकसभा या विधान सभा गुरुगोविंद सिंह के नाम पर तो जरूर पर गया लेकिन इस लोकसभा या विधानसभा का दुर्भाग्य रहा कि आजतक एकबार भी सिक्ख समाज से किसी को टिकट नही मिला,इसका कारण यही है कि यहाँ सिक्खों की मात्र 12 हजार आवादी है जिसे हमलोग अल्पसंख्यक के रूप में जानते है।अल्पसंख्यक होने के कारण आजतक इन्हें किसी भी चुनाव में इस स्थान से किसी पार्टी ने टिकट नही दिया।इसबार पटना साहिब लोकसभा चुनाव में सिक्खों की राय जानने ईटीवी भारत की टीम तख्त श्री हरमंदिर जी पटना साहिब गुरुद्वारा पहुँची लोगो से राय जाना सभी स्थानीय सिक्खों ने बताया कि पटना साहिब में सिक्ख समाज ने कितने सांसद और विधायक को जिताया लेकिन किसी ने सिक्खों को कोई खास जगह नही मिली सभी जनप्रतिनिधियों ने सिक्खों को उपेक्षा की दो वार भाजपा के सांसद सीने स्टार शत्रुधन सिन्हा उर्फ बिहारी बाबू रहे लेकिन विकाश के नाम पर कुछ भी नही सिर्फ आये मत्था टेके और निकललिये।लेकिन बिहार में नीतीश कुमार और केंद्र में नरेंद्र मोदी की अगुआई में गुरु महाराज का 350वाँ प्रकाश पर्व का जलबा जो इन्होंने बिखेरा है वो देश ही नही बल्कि विदेशों में भी धूम मच गई है।सिक्ख समाज मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मुरीद हो गये है इसलिय इसबार शत्रुधन सिन्हा को वोट का वहिष्कार कर पटना साहिब लोकसभा से कानूनमंत्री भाजपा प्रत्यासी रविशंकर प्रसाद को ही वोट करेंगे ईटीवी भारत ने पटना साहिब लोकसभा में रह रहे सिक्खों की राय जानने की कोशिश की है।
बाईट(त्रिलोक सिंह,सुरेंद्र सिंह,रंजीत सिंह,नौनिहाल सिंह,कन्हैया सिंह-स्थानीय सिक्ख)



Body:पटना साहिब लोकसभा चुनाव में सिक्खों की राय।


Conclusion:पटना साहिब लोकसभा कबुनाव में सिक्खों की राय।
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