पटना: विधानसभा चुनाव के दौरान जीतन राम मांझी और नीतीश कुमार के बीच नजदीकियां बढ़ी थीं. जीतन राम मांझी को विधानसभा चुनाव के दौरान 7 सीटें दी गई थी. उस दौरान मांझी को एक एमएलसी सीट देने का वायदा किया गया था. लेकिन जब राज्यपाल कोटे से 12 सीटों के लिए मनोनयन हुआ, तो उसमें हम पार्टी के साथ-साथ वीआईपी पार्टी के खाते में भी कोई सीट नहीं गई, जिसे लेकर दोनों दल नाराज हैं.
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एमएलसी सीट नहीं मिलने से मांझी नाराज
दरअसल, सीएम नीतीश कुमार ने जीतन राम मांझी को एक विधान परिषद की सीट के लिए आश्वासन दिया था. लेकिन पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा को साधने के लिए नीतीश कुमार ने मांझी के हिस्से की कटौती कर दी और उपेंद्र कुशवाहा को विधान परिषद भेज दिया.
नीतीश कुमार ने रणनीति में किया बदलाव
विधानसभा चुनाव में मात खाने के बाद नीतीश कुमार ने अपनी रणनीति में बदलाव किया है और वह पिछड़ा वोट को एकजुट करने में जुटे हैं. लव कुश समीकरण की बुनियाद पर खड़ी जदयू को ये लग रहा था कि कुशवाह वोट उनसे छिटक रहा है, लिहाजा उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी का ही विलय करा लिया गया. कुशवाहा की एंट्री का इफेक्ट सबसे ज्यादा हम पार्टी पर पड़ा और उनके हिस्से में एमएलसी की एक सीट नहीं गई. पार्टी नेता मुखर होकर बोलने लगे हैं.
![विजय यादव, प्रदेश प्रवक्ता, हम पार्टी](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/11064879_upendra.jpg)
''विधानसभा चुनाव के दौरान हम लोगों ने विधानसभा सीट को लेकर जिद नहीं की थी और नीतीश कुमार ने एमएलसी सीट का वायदा किया था. लेकिन लगता है कि आज की तारीख में हम पार्टी से ज्यादा तवज्जो नीतीश कुमार उपेंद्र कुशवाहा को दे रहे हैं''- विजय यादव, प्रदेश प्रवक्ता, हम पार्टी
![राहुल तिवारी, राजद विधायक](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/bh-pat-vis-05-ranjeet-kuswahaeffect-spl-9021852_18032021195810_1803f_1616077690_234.jpg)
''जीतन राम मांझी का सम्मान राजद ने किया था, लेकिन एनडीए में उन्हें अपमानित किया जा रहा है, हमें लगता है कि जीतन राम मांझी और मुकेश सहनी को सबसे अधिक सम्मान महागठबंधन में ही मिलेगा''- राहुल तिवारी, राजद विधायक
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'एनडीए पूरी तरह से एकजुट'
जदयू नेता और पार्टी के विधायक डॉ. संजीव का कहना है कि एनडीए एकजुट है और जीतन राम मांझी नाराज नहीं हैं. सरकार मजबूती के साथ चल रही है. भाजपा नेता और पार्टी के विधायक हरि भूषण ठाकुर ने कहा कि हर पार्टी और उसके नेता अपना हक मांगते हैं, जीतन राम मांझी ने भी मांगा है. लेकिन वह नाराज नहीं हैं, एनडीए पूरी तरह एकजुट है.