पटनाः नीतीश कुमार का राजगीर से लगाव किसी से छिपा नहीं है. पहले भी कई बड़ी योजनाएं राजगीर को मुख्यमंत्री दे चुके हैं. अब पिछले साल से गंगा जल को राजगीर पहुंचाने की योजना पर भी काम किया जा रहा है. गंगा उद्धव योजना में राजगीर के साथ नवादा, बोधगया और गया को भी लाभ मिलेगा. 190 किलोमीटर से अधिक लंबी पाइप लाइन बिछाई जा रही है. मोकामा के हाथीदह से इन शहरों को पाइप के माध्यम से गंगाजल पहुंचाया जाएगा और इस पर लगभग 2,800 करोड़ की बड़ी राशि खर्च हो रही है. हाल ही में कैबिनेट से 546 करोड़ से अधिक राशि की स्वीकृति दी गई है. गंगा उद्धव योजना की मुख्यमंत्री खुद मॉनिटरिंग कर रहे हैं. स्थल पर जाकर भी निरीक्षण कर रहे हैं.
जुलाई से अक्टूबर 4 महीने गंगाजल का होगा संग्रह
गंगा उद्धव योजना इस साल सितंबर तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इस योजना की लगातार समीक्षा भी कर रहे हैं. पिछले दिनों हवाई सर्वेक्षण कर राजगीर से गया तक के पाइप लाइन रूट और जल स्थल का जायजा भी लिया था. मोकामा में जहां से गंगाजल पहुंचाया जाएगा, वहां के निर्माण कार्य को भी देखा था. राजगीर में जाकर मुख्यमंत्री एक बार फिर से इस योजना की प्रगति की रिपोर्ट ली है. उससे पहले मुख्यमंत्री ने जल संसाधन विभाग के मंत्री और अधिकारियों के साथ उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक में भी पूरी रिपोर्ट ली थी. 800 करोड़ की महत्वाकांक्षी योजना कि मुख्यमंत्री खुद मॉनिटरिंग कर रहे हैं. मुख्यमंत्री योजना की हर जगह चर्चा भी कर रहे हैं. जल जीवन हरियाली की योजना में भी इस योजना के बारे में मुख्यमंत्री ने चर्चा करते हुए कहा कि यह बड़ी योजना है और इसका लाभ लोगों को मिलेगा.
"इस योजना पर लगभग 2,800 करोड़ की राशि खर्च होगी और कैबिनेट में अभी हाल में 546 करोड़ की राशि की स्वीकृति दे दी गई है. पहले से ही सरकार ने कह रखा है कि इस योजना पर राशि की कमी नहीं होने दी जाएगी." - नीतीश कुमार, सीएम
"ऐसे तो यह योजना को जल संसाधन विभाग पूरी करवा रहा है, लेकिन मुख्यमंत्री इस पर खुद नजर रखे हुए हैं और अभी हाल में इसे लेकर समीक्षा बैठक भी की थी. शुक्रवार उन्होंने राजगीर जाकर योजना स्थल का एक बार फिर से जायजा भी लिया." - संजय कुमार, प्रधान कैबिनेट सचिव
योजना की प्रमुख्य बातें
- गंगा उद्धव योजना राजगीर के साथ नवादा और गया को भी मिलेगा पेयजल.
- पटना के मोकामा हाथीदह से गंगाजल पाइप लाइन के सहारे तीन शहरों को पहुंचाया जाएगा.
- 191 किलोमीटर लंबी पाइप लाइन होगी.
- राजगीर गया और नवादा में वाटर ट्रीटमेंट प्लांट लगाया जा रहा है.
- जुलाई से अक्टूबर तक चार महीने गंगाजल को पाइप के सहारे ले जाया जाएगा.
- मोकामा के हाथीदह से सरमेरा-बरबीघा होते हुए गिरियक तक पाइप से गंगाजल लाया जाएगा
- 51 किलोमीटर की दूरी में एक ही चैनल होगा. उसके बाद गिरियक से तीन रास्ते होंगे. एक तरफ राजगीर तो दूसरी तरफ नवादा के लिए पाइपलाइन जाएगी. गिरियक से ही बाणगंगा होते हुए गया के मानपुर तक पाइप पहुंचेगी.
- इस योजना पर लगभग 2,800 करोड़ की राशि खर्च की जा रही है और 19 सितंबर तक पूरा किया जाएगा लक्ष्य.
- गया शहर को इस योजना से 186 मिलीयन लीटर पानी की उपलब्धता होगी, जबकि नालंदा के गिरियक के लिए प्रतिदिन 24 मिलीमीटर पानी की आपूर्ति होगी. पानी को शोधित करने के लिए जगह-जगह उपकरण लगाने की व्यवस्था भी की गई है.
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गंगा जल को पेयजल के रूप में उपलब्ध कराने की बड़ी योजना
बिहार में गंगा जल को पेयजल के रूप में इतने बड़े पैमाने पर प्रयोग पहली बार किया जा रहा है. राजधानी पटना के लोगों को भी एक बार पेयजल के रूप में गंगाजल पिलाने की योजना शुरू करने की घोषणा तत्कालीन उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने की थी, लेकिन वह जमीन पर नहीं उतर सकी. नीतीश कुमार की यह योजना राजगीर के लोगों के साथ नवादा और गया के लोगों को भी लाभ पहुंचाएगी.