पटना: आरआरबी एनटीपीसी के अभ्यर्थी परीक्षाफल और परीक्षा के पैटर्न से नाराज हैं. बिहार में छात्रों ने जबरदस्त बवाल काटा है. नाराज छात्र लगातार आंदोलन कर रहे हैं और जगह-जगह पर तोड़फोड़ की घटनाएं भी हो रही हैं. आंदोलनकारी और शिक्षकों के खिलाफ पत्रकार नगर थाने में प्राथमिकी भी दर्ज कराई गई है. आरआरबी एनटीपीसी मामले पर बिहार में सियासत तेज (Politics in Bihar on RRB NTPC Protest) हो गई है. छात्र संगठनों ने 28 जनवरी यानी कल बिहार बंद करने का आह्ववान किया है. छात्रों का यह आंदोलन अब और भी बड़ा होने जा रहा है. लेकिन, इस आंदोलन पर अब राजनीतिक रोटियां भी सेंकी जाने लगी है.
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पूरे मामले पर आरजेडी के प्रदेश प्रवक्ता शक्ति यादव ने कहा कि 'हमारी सहानुभूति छात्रों के साथ है. जिस तरीके से आरआरबी ने छात्रों को छलने का काम किया है, वह बेहद दुखद है. छात्रों और शिक्षकों के खिलाफ FIR दर्ज करने के बजाए आरआरबी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की जानी चाहिए थी. नीतीश सरकार छात्रों पर जुल्म कर रही है.'
वहीं, जेडीयू के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने पूरे घटनाक्रम को दुखद बताया है. जेडीयू नेता ने कहा कि 'लंबे समय से छात्र नौकरी के इंतजार में थे और लोकतांत्रिक तरीके से वह अपनी मांगों को सामने रख रहे थे और उनकी मांगे सुनी भी जा रही थी. छात्रों को अहिंसात्मक तरीके से अपनी बात रखनी चाहिए और रेलवे बोर्ड भी उनकी बात को गंभीरता से लेगा ऐसे संकेत भी मिले हैं.'
बीजेपी प्रवक्ता अरविंद सिंह ने कहा है कि हम पूरी तरह से छात्रों के साथ हैं. छात्रों को लेकर केंद्र की सरकार भी गंभीर है. छात्र के साथ जो भी समस्या है, वो मेल के जरिए अपनी शिकायत भेज सकते हैं. बीजेपी नेता ने कहा कि जिनके खिलाफ FIR हुई है, पुलिस उस मामले में स्वतंत्र है, निष्पक्षता से पुलिस कार्रवाई करेगी.
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दरअसल, रेलवे भर्ती बोर्ड की गैर तकनीकी लोकप्रिय श्रेणियों की परीक्षा-2021 परिणाम 14-15 जनवरी को जारी किये गए थे. इन परीक्षाओं में 1 करोड़ 40 लाख उम्मीदवार शामिल हुए थे और नतीजे आने के बाद से ही छात्रों के बीच असंतोष का मुद्दा छाया हुआ है. इसके विरोध में छात्र प्रदर्शन कर रहे हैं. ये विरोध बिहार और देश के कई अन्य हिस्सों में छात्रों द्वारा किया जा रहा है. मंगलवार को प्रदर्शनकारी छात्रों ने कई स्थानों पर रेल पटरियों पर धरना दिया, कई घण्टे तक रेलों को बाधित किया. हालांकि इस बीच रेल मंत्रालय ने मंगलवार को एक बयान जारी कर प्रदर्शनकारी उम्मीदवारों को रेलवे की नौकरी पाने से जीवन भर के लिए बैन करने की चेतावनी भी दी.
छात्रों के हंगामे से हालात बेकाबू हुए तो पुलिस एक्शन में आई और हंगामा करने वालों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई गई. आंदोलन के लिए छात्रों को उकसाने और उन्हें हिंसा के प्रेरित करने के मामले में गिरफ्तार प्रदर्शनकारियों के बयान पर पटना वाले खान सर, एस के झा सर, नवीन सर, अमरनाथ सर, गगन प्रताप सर, गोपाल वर्मा सर तथा बाजार समिति के विभिन्न कोचिंग संस्थानों के संचालकों के खिलाफ पटना के पत्रकारनागर थाना में मामला दर्ज किया गया.
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