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हाईकोर्ट ने बिहार सरकार से पूछा- किस जिले में कितनी हुई कोरोना से मौत, दीजिए ब्यौरा

पटना हाईकोर्ट में मंगलवार को कोरोना से संबंधित दायर जनहित याचिकाओं पर सुनवाई हुई. चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने बिहार सरकार से कोरोना से मरने वालों का जिलेवार ब्यौरा मांगा है. इस मामले में अगली सुनवाई 1 जून को होगी.

Patna High Court
पटना हाईकोर्ट
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Published : May 25, 2021, 3:51 PM IST

पटना: बिहार में कोरोना मरीजों की मृत्यु और उनके उम्र का जिलेवार ब्यौरा एक सप्ताह में देने का निर्देश पटना हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को दिया है. चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने जनहित याचिकाओं पर सुनवाई की.

यह भी पढ़ें- पटना हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, 1999 सेनारी नरसंहार के सभी 13 दोषी बरी

मंगलवार को कोर्ट को मुख्य सचिव की ओर से बताया गया कि कोरोना मरीज की मृत्यु के संबंध में सारा ब्यौरा स्वास्थ्य विभाग के कोविड 19 पोर्टल द्वारा रखा जाता है. उन्होंने बताया कि अपर मुख्य सचिव, स्वास्थ्य विभाग को निर्देश दिया गया कि सभी स्रोत से कोविड 19 मरीजों की मृत्यु और उनके उम्र का ब्यौरा इकट्ठा किया जाए. राज्य के एआईआईएमएस, आई जीआईएमएस अस्पताल के निर्देशक, सभी मेडिकल कालेजों के सुपरिटेंडेंट और सिविल सर्जन इस मामले में सभी कागजातों की जांच कर 10 दिन में रिपोर्ट प्रस्तुत करेंगे.

बक्सर में 1-14 मई तक हुआ 789 शवों का दाह संस्कार
बक्सर के मुक्ति धाम में शवों के दाह संस्कार के आंकड़े पर पटना के डिविजनल कमिश्नर ने हलफनामा दायर किया. उन्होंने बताया कि स्थल हिन्दू समाज के लोगों के शवों के दाह संस्कार के लिए पवित्र माना जाता है. इस कारण बक्सर के साथ ही भोजपुर, रोहतास, कैमूर समेत पास के अन्य जिलों से भी लोग शवों के अंतिम संस्कार के लिए आते हैं. 1 मई से 14 मई, 2021 तक यहां 789 शवों का दाह संस्कार हुआ. इसमें बक्सर के 324 शवों का दाह संस्कार हुआ, जबकि अन्य जिलों के 465 शवों का दाह संस्कार हुआ. इस वर्ष के जनवरी, फरवरी, मार्च और अप्रैल माह में क्रमशः 754, 467, 376 और 765 शवों का दाह संस्कार हुआ.

ईएसआईसी अस्पताल पर कोर्ट में हलफनामा दायर
ईएसआईसी अस्पताल, बिहटा को उपलब्ध कराए गई सुविधाओं के संबंध में कोर्ट में हलफनामा दायर किया गया. इसमें बताया गया कि 76 बेड का अस्पताल हैं, जिसमें 7 आईसीयू बेड हैं. इसे आर्मी के डॉक्टर संभाल रहे हैं. 50 कोविड बेड को ईएसआईसी अस्पताल के डॉक्टर देख रहे हैं.

कोर्ट को बताया गया कि अस्पताल में पर्याप्त संख्या में डॉक्टर्स, नर्सेज, स्टाफ और प्रशिक्षित वार्ड बॉय हैं. दवाओं, ऑक्सीजन और आवश्यक मेडिकल उपकरणों की पूरी व्यवस्था है. इसके साथ ही बिजली, एयर कंडीशनर और आवास की भी व्यवस्था की गई है. अपर मुख्य सचिव, स्वास्थ्य विभाग ने अपने हलफनामा में बताया कि राज्य के विभिन्न जिला, अनुमंडलीय अस्पताल और कम्युनिटी हेल्थ सेंटर में एक्सरे मशीनों व आरटीपीसीआर जांच की भी व्यवस्था की जा रही है. इस मामले में अगली सुनवाई 1जून को होगी.

यह भी पढ़ें- बीएमपी जवानों से जुड़े विवाद मामले में पटना हाईकोर्ट ने बिहार पुलिस मुख्यालय के पक्ष में सुनाया फैसला

पटना: बिहार में कोरोना मरीजों की मृत्यु और उनके उम्र का जिलेवार ब्यौरा एक सप्ताह में देने का निर्देश पटना हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को दिया है. चीफ जस्टिस संजय करोल की खंडपीठ ने जनहित याचिकाओं पर सुनवाई की.

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मंगलवार को कोर्ट को मुख्य सचिव की ओर से बताया गया कि कोरोना मरीज की मृत्यु के संबंध में सारा ब्यौरा स्वास्थ्य विभाग के कोविड 19 पोर्टल द्वारा रखा जाता है. उन्होंने बताया कि अपर मुख्य सचिव, स्वास्थ्य विभाग को निर्देश दिया गया कि सभी स्रोत से कोविड 19 मरीजों की मृत्यु और उनके उम्र का ब्यौरा इकट्ठा किया जाए. राज्य के एआईआईएमएस, आई जीआईएमएस अस्पताल के निर्देशक, सभी मेडिकल कालेजों के सुपरिटेंडेंट और सिविल सर्जन इस मामले में सभी कागजातों की जांच कर 10 दिन में रिपोर्ट प्रस्तुत करेंगे.

बक्सर में 1-14 मई तक हुआ 789 शवों का दाह संस्कार
बक्सर के मुक्ति धाम में शवों के दाह संस्कार के आंकड़े पर पटना के डिविजनल कमिश्नर ने हलफनामा दायर किया. उन्होंने बताया कि स्थल हिन्दू समाज के लोगों के शवों के दाह संस्कार के लिए पवित्र माना जाता है. इस कारण बक्सर के साथ ही भोजपुर, रोहतास, कैमूर समेत पास के अन्य जिलों से भी लोग शवों के अंतिम संस्कार के लिए आते हैं. 1 मई से 14 मई, 2021 तक यहां 789 शवों का दाह संस्कार हुआ. इसमें बक्सर के 324 शवों का दाह संस्कार हुआ, जबकि अन्य जिलों के 465 शवों का दाह संस्कार हुआ. इस वर्ष के जनवरी, फरवरी, मार्च और अप्रैल माह में क्रमशः 754, 467, 376 और 765 शवों का दाह संस्कार हुआ.

ईएसआईसी अस्पताल पर कोर्ट में हलफनामा दायर
ईएसआईसी अस्पताल, बिहटा को उपलब्ध कराए गई सुविधाओं के संबंध में कोर्ट में हलफनामा दायर किया गया. इसमें बताया गया कि 76 बेड का अस्पताल हैं, जिसमें 7 आईसीयू बेड हैं. इसे आर्मी के डॉक्टर संभाल रहे हैं. 50 कोविड बेड को ईएसआईसी अस्पताल के डॉक्टर देख रहे हैं.

कोर्ट को बताया गया कि अस्पताल में पर्याप्त संख्या में डॉक्टर्स, नर्सेज, स्टाफ और प्रशिक्षित वार्ड बॉय हैं. दवाओं, ऑक्सीजन और आवश्यक मेडिकल उपकरणों की पूरी व्यवस्था है. इसके साथ ही बिजली, एयर कंडीशनर और आवास की भी व्यवस्था की गई है. अपर मुख्य सचिव, स्वास्थ्य विभाग ने अपने हलफनामा में बताया कि राज्य के विभिन्न जिला, अनुमंडलीय अस्पताल और कम्युनिटी हेल्थ सेंटर में एक्सरे मशीनों व आरटीपीसीआर जांच की भी व्यवस्था की जा रही है. इस मामले में अगली सुनवाई 1जून को होगी.

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