पटना: कोरोना संक्रमण काल में आई नई आफत ब्लैक फंगस को आखिरकार बिहार सरकार ने महामारी घोषित कर दिया. ब्लैक फंगस को महामारी घोषित किए जाने के बाद अब इसका इलाज भी पेंडेमिक के तहत होगा. वहीं, ब्लैक फंगस से कई लोगों की हुई मौत को लेकर विपक्ष ने राज्य सरकार पर हमला बोला है.
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विपक्षी दलों का कहना है कि इस बीमारी को सरकार ने महामारी घोषित करने में देर कर दी. कोरोना संक्रमण काल में अस्पतालों में जिस तरह की कुव्यवस्था दिखी वैसी स्थिति इस महामारी में देखने को न मिले. सरकार इस पर काम करे, ना कि वाहवाही लूटने में लगी रहे.
सरकारी अस्पतालों में दिखी कुव्यवस्था
राजद प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा "कोरोना संक्रमण के दौरान राज्य सरकार के जितने भी सरकारी अस्पताल थे उसमें कुव्यवस्था देखी गई. कई अस्पतालों में दवा नहीं है. ऑक्सीजन की कमी देखी गई. डॉक्टर और बेड की कमी देखी गई. ऐसा न हो कि ब्लैक फंगस को भी सरकार ने महामारी घोषित तो कर दिया लेकिन इसके इलाज के लिए संसाधन उपलब्ध न हों."
पूरी तत्परता से काम करे सरकार
मृत्युंजय तिवारी ने कहा "सरकार को बताना चाहिए कि उनके पास क्या व्यवस्था है. कोरोना संक्रमण के बाद अब ब्लैक फंगस भी अपना पांव पसार रहा है. ब्लैक फंगस से लोगों की मौत भी शुरू हो गई है. मौत का आंकड़ा और न बढ़े इसके लिए सरकार को पूरी तत्परता के साथ काम करना होगा."
"यदि राज्य सरकार आम लोगों को बचाना चाहती है तो सबसे पहले इस बीमारी की दवा मार्केट में उपलब्ध कराए ताकि लोगों का इलाज हो सके. इसके साथ ही जितने भी सरकारी अस्पताल हैं उनमें मरीज के अनुसार सुविधा भी बढ़ानी चाहिए."- मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता, राजद
करनी होगी भरपूर तैयारी
कांग्रेस प्रवक्ता राजेश राठौर ने कहा "ब्लैक फंगस को महामारी घोषित करने से काम नहीं चलेगा. सरकार को इस बीमारी से लड़ने के लिए भरपूर तैयारी करनी पड़ेगी. पहले से तैयारी नहीं रही तो कोरोना की लड़ाई की तरह इस लड़ाई में भी हम हार सकते हैं."
"सरकार और सरकार के लोगों को चाहिए कि विपक्षी दलों के नेताओं को अपशब्द कहने में जितना समय लगाते हैं उतना समय मरीजों की सेवा में लगाएं. इससे लोगों को बचाया जा सकता है. इस लड़ाई को लड़ने में विपक्षी दल हमेशा सरकार का साथ देगी. सरकार को विपक्षी दलों की राय भी जानी चाहिए."- राजेश राठौर, प्रवक्ता, कांग्रेस
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