पटना: बिहार समेत पूरे देश में कोरोना काल में साइबर क्राइम को लेकर अलर्ट जारी किया गया है. केंद्रीय खुफिया एजेंसियों की तरफ से जारी इस अलर्ट में खास तौर से करोना महामारी के दौरान साइबर क्राइम को लेकर चिंता जताई गई है.
सरकारी लेन-देन में सतर्कता
इसी क्रम में बिहार में बैंकिंग प्रणाली में लेन-देन समेत तमाम बातों को लेकर विशेष सतर्कता बरतने का निर्देश दिया गया है. जिसमें मुख्यत: पुलिस, बैंक और सरकारी कार्यालयों को सीधे ट्रेजरी से होने वाली सरकारी लेन-देन में भी सतर्कता बरतने को कहा गया है. वहीं आम नागरिकों को ईमेल और व्हाट्सएप पर आने वाले संदेशों को लेकर काफी अलर्ट रहने को कहा गया है.
साइबर क्राइम का ग्राफ बढ़ा
कोरोना महामारी के दौरान साइबर अटैक का खतरा भी काफी बढ़ा है. राज्य भर से सैकड़ों साइबर धांधली के मामले प्रतिदिन सामने आ रहे हैं. बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांडे की ने कहा कि पुलिस मुख्यालय साइबर क्राइम को लेकर अलर्ट पर है. बिहार सहित पूरे देश भर में साइबर क्राइम का ग्राफ बढ़ गया है.
प्रशिक्षित टीम की तैनाती
डीजीपी ने कहा कि मामले में हम लोग विशेष नजर बनाए हुए हैं. उन्होंने बताया कि बिहार के सभी जिलों में साइबर सेल की गठन की गई है. जिसमें एक्सपर्ट के साथ ही 10 की संख्या में पुलिस की प्रशिक्षित टीम की तैनाती भी की गई है. पुलिस पूरी तल्लीनता से अपना काम कर रही है.
लॉकडाउन जैसी स्थिति में साइबर फ्रॉड एक्टिव
साइबर एक्सपर्ट राजन सिंह के मुताबिक कोरोना काल में साइबर अपराधी लोगों से गूगल पे, फोन पे, यूपीआई आईडी, पीएम केयर्स फंड, कोरोना रिलीफ फंड और अन्य तरीकों से ठगी कर रहे हैं. लॉकडाउन जैसी स्थिति में साइबर फ्रॉड काफी संख्या एक्टिव हो गए हैं. राजन सिंह ने लोगों को अलर्ट करते हुए कहा कि कहीं भी फंड ट्रांसफर करने से पहले पैसे प्राप्त करने वाले की पहचान कर लें. साथ ही अधिकारी और विश्वसनीय साइट के माध्यम से ही लेन-देन करें. किसी भी ई-कॉमर्स साइट पर अपने कार्ड की डिटेल कभी सेव नहीं करें. उन्होंने कहा कि कोरोना के नाम पर आए किसी भी अनचाहे और अनजाने ईमेल पर अपना सेंसेटिव इनफॉर्मेशन शेयर नहीं करना चाहिए.