पटनाः बिहार की राजधानी पटना में बिहार कैबिनेट की बैठक (Bihar Cabinet Meeting) खत्म हो चुकी है. बैठक में सबसे बड़ा फैसला बिहार में पूर्ण शराबबंदी (Complete prohibition in Bihar) को सफल बनाने के लिए लिया गया. सतत जीविकोपार्जन योजना के तहत वैसे परिवारों को एक लाख रूपये की मदद दिए जाने की स्वीकृति दी गई है. जो देशी शराब या ताड़ी के उत्पादन और बिक्री में लगे हैं.
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राज्य सरकार शराब, ताड़ी के उत्पादन और बिक्री में प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से जुड़े अत्यंत निर्धन और अनुसूचित जाति, जनजाति परिवारों को एक लाख रूपये देगी. सरकार का कहना है कि इस पैसे से शराब-ताड़ी के पेशे में लगे लोग अपने लिए नया रोजगार खड़ा कर पायेंगे. ग्रामीण विकास विभाग स्वयं सहायता समूह के जरिये ये मदद देगा.
शराब का धंधा छोड़ने वाले को 1 लाख रुपए की आर्थिक मदद: सीएम नीतीश कुमार ने बिहार कैबिनेट की बैठक में फैसला लिया है कि जो लोग शराब का धंधा कर रहे हैं वो उसे छोड़कर सरकार द्वारा दी जा रही सहायता का लाभ लें. जो लोग शराब का धंधा छोड़ेंगे उनको राज्य सरकार 1 लाख रुपए की आर्थिक मदद करेगी.
क्या बोले थे नीतीश कुमार : बता दें कि इसी महीने 26 तारीख को सीएम नीतीश ने कहा था कि नशा स्वास्थ्य और स्वस्थ्य समाज के लिए ठीक नहीं है इसलिए शराब छोड़ें. जो लोग शराब का धंधा छोड़ेंगे उनको राज्य सरकार 1 लाख रुपए की आर्थिक मदद करेगी. सीएम नीतीश कुमार ने कहा कि ज्यादा से ज्यादा लोग शराब से मुक्त हों इसके लिए उनकी सरकार अभियान चला रही है. सरकार पूरी तरह से मिशन मोड में जुटी हुई है. फिर भी कुछ लोग गड़बड़ करने वाले लोग गड़बड़ कर रहे हैं. उनकी सरकार का प्रयास है कि बिहार में पूर्ण शराबबंदी से खुशहाली आए. इसीलिए जो लोग शराब का धंधा कर रहे हैं वो उसे छोड़कर सरकार द्वारा दी जा रही सहायता का लाभ लें.