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मसौढ़ी के ज्यादातर इलाकों में वर्षों से सरकारी नलकूप बंद, हर खेत में कैसे पहुंचेगा पानी?

पटना के ग्रामीण इलाकों में सरकारी नलकूप बंद पड़े हैं. इसके लिए सरकार और प्रशासन की ओर से कोई सुध नहीं लिया जा रहा है. वहीं, किसान अपने खेतों की सिंचाई के लिए डीजल खरीदकर पटवन कर रहे हैं. किसानों का कहना है कि सिंचाई करना महंगा पड़ रहा है.

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Published : Feb 24, 2021, 4:11 PM IST

Updated : Feb 24, 2021, 4:53 PM IST

सरकारी नलकूप बंद
सरकारी नलकूप बंद

पटना: मुख्यमंत्री की महत्वकांक्षी योजना हर खेत में पानी पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है, लेकिन मसौढ़ी के कई गांवों में सरकारी नलकूप वर्षो से बंद पड़े हैं. ऐसे में किसान खेतों की सिंचाई के लिए परेशान हैं और महंगे डीजल से पटवन करने को मजबूर हैं. जिसे न तो कोई देखने वाला है नहीं इसकी कोई फिक्र है.

पढ़ें: पटना: मगध महिला कॉलेज के छात्रावास का तेजी से हो रहा निर्माण, मिलेंगी कई सुविधाएं

सिंचाई को लेकर किसान हैं परेशान, सरकारी नलकूप खराब
मसौढ़ी के ग्रामीण क्षेत्रों में तकरीबन सैकड़ों ऐसे नलकूप हैं जो खराब पड़े हैं. इस ओर प्रशासन को ध्यान नहीं है. ऐसे में किसान सिंचाई को लेकर परेशान हैं और महंगे डीजल से पटवन करने को मजबूर हैं. ऐसे में आज ईटीवी भारत की टीम मसौढ़ी मुख्यालय से 28 किलोमीटर की दूरी पर विभिन्न गांवों का दौरा कर सरकारी नलकूप का जायजा लिया. जहां पर तकरीबन सभी नलकूप की स्थिति खराब है.

किसान
किसान

वहीं किसानों ने बताया कि 25 वर्षों से सभी नलकूप खराब पड़े हैं. जिसके सुधि लेने वाला कोई नहीं है. नलकूप अगर बने रहते तो आज किसानों को आसानी से पटवन की सुविधा मिल सकती थी.

मसौढ़ी के ज्यादातर इलाकों में वर्षों से सरकारी नलकूप बंद.

सिंचाई करना हो रहा है महंगा
हालांकि, इस मामले में सहायक अभियंता ने बताया कि कई जगह पर मुखिया द्वारा काम हो रहा है, लेकिन मसौढ़ी अनुमंडल में सभी नलकूप बंद है. किसान परेशान है. पटवन को लेकर में महंगे डीजल खरीद कर पटवन किया जा रहा है. एक तरफ सरकार किसानों के लिए कई योजनाएं चला रही है, लेकिन पटवन के लिए किसान हमेशा जूझते रहे हैं.

पटना: मुख्यमंत्री की महत्वकांक्षी योजना हर खेत में पानी पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है, लेकिन मसौढ़ी के कई गांवों में सरकारी नलकूप वर्षो से बंद पड़े हैं. ऐसे में किसान खेतों की सिंचाई के लिए परेशान हैं और महंगे डीजल से पटवन करने को मजबूर हैं. जिसे न तो कोई देखने वाला है नहीं इसकी कोई फिक्र है.

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सिंचाई को लेकर किसान हैं परेशान, सरकारी नलकूप खराब
मसौढ़ी के ग्रामीण क्षेत्रों में तकरीबन सैकड़ों ऐसे नलकूप हैं जो खराब पड़े हैं. इस ओर प्रशासन को ध्यान नहीं है. ऐसे में किसान सिंचाई को लेकर परेशान हैं और महंगे डीजल से पटवन करने को मजबूर हैं. ऐसे में आज ईटीवी भारत की टीम मसौढ़ी मुख्यालय से 28 किलोमीटर की दूरी पर विभिन्न गांवों का दौरा कर सरकारी नलकूप का जायजा लिया. जहां पर तकरीबन सभी नलकूप की स्थिति खराब है.

किसान
किसान

वहीं किसानों ने बताया कि 25 वर्षों से सभी नलकूप खराब पड़े हैं. जिसके सुधि लेने वाला कोई नहीं है. नलकूप अगर बने रहते तो आज किसानों को आसानी से पटवन की सुविधा मिल सकती थी.

मसौढ़ी के ज्यादातर इलाकों में वर्षों से सरकारी नलकूप बंद.

सिंचाई करना हो रहा है महंगा
हालांकि, इस मामले में सहायक अभियंता ने बताया कि कई जगह पर मुखिया द्वारा काम हो रहा है, लेकिन मसौढ़ी अनुमंडल में सभी नलकूप बंद है. किसान परेशान है. पटवन को लेकर में महंगे डीजल खरीद कर पटवन किया जा रहा है. एक तरफ सरकार किसानों के लिए कई योजनाएं चला रही है, लेकिन पटवन के लिए किसान हमेशा जूझते रहे हैं.

Last Updated : Feb 24, 2021, 4:53 PM IST
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