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पटना हाईकोर्ट से राजद के पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव को नहीं मिली राहत, रेप केस में जमानत अर्जी खारिज - राजबल्लभ यादव की जमानत अर्जी खारिज

राजद के पूर्व विधायक और नाबालिग से रेप मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहे राजबल्लभ यादव को हाईकोर्ट से राहत नहीं (Raj ballabh Yadav bail application rejected) मिली है. पटना हाई कोर्ट ने उनकी जमानत अर्जी खारिज कर दी है. पढ़ें पूरी खबर-

Patna High Court News
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Published : May 19, 2022, 10:43 PM IST

पटना : हाई कोर्ट ने नाबालिग के साथ किये गये रेप मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहे पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव की जमानत अर्जी को खारिज कर दिया है. जस्टिस अश्वनी कुमार सिंह तथा जस्टिस हरीश कुमार की खंडपीठ ने सभी पक्षों को सुनने के बाद ये आदेश को पारित किया. पूर्व विधायक की ओर से सुप्रीम कोर्ट के वकील संजीव सहगल ने बहस करते हुए कोर्ट को बताया था कि रेप की घटना के कई दिन बाद प्राथमिकी दर्ज की गई. उनका कहना था कि एक साजिश के तहत विधायक को इस केस में अभियुक्त बनाया गया.

ये भी पढ़ें- मुजफ्फरपुर CJM कोर्ट में महानायक अमिताभ बच्चन, शाहरुख समेत 4 पर परिवाद दायर, पान मसाला प्रचार मामले में 27 को सुनवाई

वहीं जमानत अर्जी का विरोध करते हुए स्पेशल पीपी श्यामेश्वर दयाल ने कोर्ट को बताया था कि निचली अदालत ने सभी पहलू पर विचार कर अभियुक्त को दोषी करार दिया. उनका कहना था कि मेडिकल में रेप की पुष्टि हुई है. कई गवाह ने घटना के पक्ष में गवाही दी है.

क्या है मामलाः बता दें कि नवादा में साल 2016 में नाबालिग छात्रा से दुष्कर्म की घटना हुई थी, आरोप राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के विधायक राजबल्लभ यादव पर लगा था. विधायक पर आरोप लगने के बाद राजद से निलंबित कर दिया गया था. पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव को कोर्ट ने उम्रकैद की सजा सुनाई और 50 हजार का जुर्माना भी लगाया था. आरजेडी के पूर्व विधायक पर सबूत में छेड़छाड़ करने के साथ कई गंभीर आरोप लगा था. पटना के तत्कालीन डीआईजी शालीन ने इस मामले में काफी सख्ती दिखाई थी और जांच में राजबल्लभ का कोई प्रभाव नहीं दिखा.

पढ़ें- नवादा दुष्कर्म कांड: पूर्व विधायक राजबल्लभ के ड्राइवर की हाईकोर्ट से जमानत, नहीं मिला ठोस सबूत

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पटना : हाई कोर्ट ने नाबालिग के साथ किये गये रेप मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहे पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव की जमानत अर्जी को खारिज कर दिया है. जस्टिस अश्वनी कुमार सिंह तथा जस्टिस हरीश कुमार की खंडपीठ ने सभी पक्षों को सुनने के बाद ये आदेश को पारित किया. पूर्व विधायक की ओर से सुप्रीम कोर्ट के वकील संजीव सहगल ने बहस करते हुए कोर्ट को बताया था कि रेप की घटना के कई दिन बाद प्राथमिकी दर्ज की गई. उनका कहना था कि एक साजिश के तहत विधायक को इस केस में अभियुक्त बनाया गया.

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वहीं जमानत अर्जी का विरोध करते हुए स्पेशल पीपी श्यामेश्वर दयाल ने कोर्ट को बताया था कि निचली अदालत ने सभी पहलू पर विचार कर अभियुक्त को दोषी करार दिया. उनका कहना था कि मेडिकल में रेप की पुष्टि हुई है. कई गवाह ने घटना के पक्ष में गवाही दी है.

क्या है मामलाः बता दें कि नवादा में साल 2016 में नाबालिग छात्रा से दुष्कर्म की घटना हुई थी, आरोप राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के विधायक राजबल्लभ यादव पर लगा था. विधायक पर आरोप लगने के बाद राजद से निलंबित कर दिया गया था. पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव को कोर्ट ने उम्रकैद की सजा सुनाई और 50 हजार का जुर्माना भी लगाया था. आरजेडी के पूर्व विधायक पर सबूत में छेड़छाड़ करने के साथ कई गंभीर आरोप लगा था. पटना के तत्कालीन डीआईजी शालीन ने इस मामले में काफी सख्ती दिखाई थी और जांच में राजबल्लभ का कोई प्रभाव नहीं दिखा.

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