पटना: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के रूप में उभरने की चर्चा को लेकर आरजेडी नेता और बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव (Deputy CM Tejashwi Yadav) ने जवाब दिया है. तेजस्वी ने एक इंटरव्यू में कहा कि यदि विपक्ष द्वारा विचार किया जाता है, तो नीतीश कुमार प्रधानमंत्री के मजबूत उम्मीदवार (Nitish can be PM candidate for opposition) हो सकते हैं. उन्होंने कहा कि देश में नीतीश कुमार की छवि बहुत अच्छी है, इसलिए उनके प्रबल दावेदार होने की पूर्ण संभावना है.
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महागठबंधन सरकार विपक्षी एकता के लिए शुभ संकेत: तेजस्वी यादव से पूछा गया कि विपक्षी पार्टी बीजेपी जंगलराज फिर से वापस आने का आरोप लगा रही है. इसपर तेजस्वी ने जवाब देते हुए कहा कि यह एक थका हुआ प्रवचन है, जिसे कि आप रोते हुए भेड़िये की आवाज कह सकते हैं. उन्होंने कहा कि जेडीयू, आरजेडी, कांग्रेस और अन्य दलों के एकजुट होने के साथ महागठबंधन सरकार का सत्ता में आना विपक्षी एकता के लिए शुभ संकेत है. यह संकेत देता है कि अधिकांश विपक्षी दल देश के सामने बीजेपी के आधिपत्य की बड़ी चुनौती को पहचानते हैं. जहां पैसे, मीडिया और (प्रशासनिक) मशीनरी शक्ति के बल पर, वे भारतीय समाज से सभी विविधता को खत्म करने के लिए आतुर हैं. साथ ही कहा कि यह राज्यों के स्तर पर क्षेत्रीय प्रतिनिधित्व और सामाजिक न्याय और विकास के मुद्दों का भी सवाल है.
हमें मिलकर गणतंत्र को बचाना होगा: तेजस्वी यादव ने कहा कि बीजेपी की कोशिश लगातार क्षेत्रीय असमानताओं को नजरअंदाज करने की रही है. बिहार को विशेष ध्यान देने की जरूरत है, इससे कोई इनकार नहीं कर सकता लेकिन क्या हमें केंद्र से ज्यादा कुछ मिला है? आरजेडी नेता ने जोर देकर कहा कि क्षेत्रीय दलों और अन्य प्रगतिशील राजनीतिक समूहों को अपने संकीर्ण लाभ और हानि से परे देखना होगा और गणतंत्र को बचाना होगा. तेजस्वी ने कहा कि अगर हम विनाश को अभी नहीं रोकते हैं तो इसका पुनर्निर्माण करना बहुत मुश्किल होगा.
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