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बिहार में भी बढ़ सकती है सिंगल यूज प्लास्टिक पर प्रतिबंध की समय-सीमा, पर्यावरण मंत्री ने दिए संकेत

केंद्र सरकार की तर्ज पर बिहार में भी सिंगल यूज प्लास्टिक बैन की समय अवधि को बढ़ाने की मांग व्यवसाइयों ने की है. बिहार के पर्यावरण विभाग के मंत्री नीरज कुमार सिंह (Minister Neeraj Kumar Singh) इसपर विचार किए जाने की बात कही है. पढ़ें पूरी खबर...

प्लास्टिक की वस्तुएं
प्लास्टिक की वस्तुएं
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Published : Nov 25, 2021, 8:18 PM IST

पटनाः बिहार में 15 दिसंबर से सिंगल यूज प्लास्टिक (Single Use Plastic) के उत्पादन, आयात, बिक्री और उपयोग पर प्रतिबंध (Ban on Single Use Plastic) लग जाएगा. जबकि, केंद्र सरकार के आदेश के मुताबिक 1 जुलाई 2022 से सिंगल यूज प्लास्टिक की वस्तुओं की खरीद-बिक्री और मैन्यूफैक्चरिंग पर रोक लग जाएगा. वहीं, केन्द्र की तर्ज पर बिहार में भी 15 दिसंबर की समय सीमा को अगले साल तक बढ़ाने की मांग की जा रही है.

इसे भी पढ़ें- कृपया ध्यान दीजिए, थर्मोकोल प्लेट और प्लास्टिक ग्लास होने वाले हैं बंद, विकल्पों पर गौर जरूरी

सरकार व्यवसायियों की मांग पर गंभीरता से विचार कर रही है और 15 दिसंबर की समय सीमा को बढ़ाने की तैयारी में है. बिहार इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष रामलाल खेतान ने ईटीवी भारत को बताया कि व्यापारियों का एक बड़ा तबका सिंगल यूज प्लास्टिक और इससे बड़ी चीजों के उत्पादन से जुड़ा हुआ है.

सिंगल यूज प्लास्टिक बैन का समय बढ़ाने की मांग पर पर्यावरण मंत्री ने क्या कहा

अगर, 15 दिसंबर से इस पर रोक लगती है तो छोटे व्यापारियों के साथ-साथ बड़े व्यापारियों का भी बड़ा नुकसान होगा. उन्होंने सरकार से मांग की है कि ना सिर्फ छोटे व्यवसायियों को इससे छूट दी जाए, बल्कि बड़े व्यवसायियों को भी सरकार की तरफ से आर्थिक मदद की जानी चाहिए. सरकार को निर्धारित समय सीमा को 15 दिसंबर से बढ़ाकर केंद्र सरकार की तर्ज पर 1 जुलाई 2022 कर देना चाहिए.

ईटीवी भारत ने इस बारे में सरकार से पक्ष जानने की कोशिश की. बिहार के वन पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के मंत्री नीरज कुमार सिंह ने बताया कि बिहार सरकार व्यवसाइयों की मांग पर विचार कर रही है. उन्होंने कहा कि व्यवसायियों ने उनसे संपर्क किया है और अपनी परेशानियों का जिक्र किया है. पर्यावरण मंत्री ने कहा कि सिंगल यूज प्लास्टिक से पर्यावरण को काफी नुकसान है इसका बैन होना जरूरी है.

लेकिन, व्यवसायियों की पहले से निर्मित प्रोडक्ट लागत को देखते हुए सरकार उनकी मांगों पर विचार कर रही है. उन्होंने उम्मीद जताते हुए कहा कि बिहार में भी सिंगल यूज प्लास्टिक पर बैन की समय-सीमा को आगे बढ़ाया जा सकता है. इस बारे में कैबिनेट में प्रस्ताव लाने की तैयारी चल रही है.

इसे भी पढ़ें- चार साल के बच्चे से जानिए सिंगल यूज प्लास्टिक के दुष्प्रभाव

आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने पॉलिथीन की मोटाई 50 माइक्रोन से बढ़ाकर 120 माइक्रोन तक कर दी है. नए नियमों के तहत अगले साल 31 दिसंबर से 75 माइक्रोन से कम मोटाई के पॉलिथीन बैग और 120 माइक्रोन से कम के बैग पर प्रतिबंध लग जाएगा. बता दें कि सिंगल यूज प्लास्टिक प्रदूषण का सबसे बड़ा स्रोत माना जाता है, क्योंकि यह आसानी से नष्ट नहीं होता है.

सरकार की ओर से जारी की गई अधिसूचना के मुताबिक सिंगल यूज प्लास्टिक वाले प्रोडक्ट में प्लास्टिक स्टिक, गुब्बारे के लिए प्लास्टिक, स्टिक, झंडे और कैंडी की प्लास्टिक स्टिक, चम्मच, प्लेट, कप, गिलास, कटलरी जैसे आइटम और सिगरेट के पैकेट के अलावा मिठाई बॉक्स, निमंत्रण कार्ड, कांटा चम्मच पर लपेटे जाने वाली प्लास्टिक और 100 माइक्रोन से कम के पीवीसी बैनर पर प्रतिबंध लागू होगा.

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पटनाः बिहार में 15 दिसंबर से सिंगल यूज प्लास्टिक (Single Use Plastic) के उत्पादन, आयात, बिक्री और उपयोग पर प्रतिबंध (Ban on Single Use Plastic) लग जाएगा. जबकि, केंद्र सरकार के आदेश के मुताबिक 1 जुलाई 2022 से सिंगल यूज प्लास्टिक की वस्तुओं की खरीद-बिक्री और मैन्यूफैक्चरिंग पर रोक लग जाएगा. वहीं, केन्द्र की तर्ज पर बिहार में भी 15 दिसंबर की समय सीमा को अगले साल तक बढ़ाने की मांग की जा रही है.

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सरकार व्यवसायियों की मांग पर गंभीरता से विचार कर रही है और 15 दिसंबर की समय सीमा को बढ़ाने की तैयारी में है. बिहार इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष रामलाल खेतान ने ईटीवी भारत को बताया कि व्यापारियों का एक बड़ा तबका सिंगल यूज प्लास्टिक और इससे बड़ी चीजों के उत्पादन से जुड़ा हुआ है.

सिंगल यूज प्लास्टिक बैन का समय बढ़ाने की मांग पर पर्यावरण मंत्री ने क्या कहा

अगर, 15 दिसंबर से इस पर रोक लगती है तो छोटे व्यापारियों के साथ-साथ बड़े व्यापारियों का भी बड़ा नुकसान होगा. उन्होंने सरकार से मांग की है कि ना सिर्फ छोटे व्यवसायियों को इससे छूट दी जाए, बल्कि बड़े व्यवसायियों को भी सरकार की तरफ से आर्थिक मदद की जानी चाहिए. सरकार को निर्धारित समय सीमा को 15 दिसंबर से बढ़ाकर केंद्र सरकार की तर्ज पर 1 जुलाई 2022 कर देना चाहिए.

ईटीवी भारत ने इस बारे में सरकार से पक्ष जानने की कोशिश की. बिहार के वन पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के मंत्री नीरज कुमार सिंह ने बताया कि बिहार सरकार व्यवसाइयों की मांग पर विचार कर रही है. उन्होंने कहा कि व्यवसायियों ने उनसे संपर्क किया है और अपनी परेशानियों का जिक्र किया है. पर्यावरण मंत्री ने कहा कि सिंगल यूज प्लास्टिक से पर्यावरण को काफी नुकसान है इसका बैन होना जरूरी है.

लेकिन, व्यवसायियों की पहले से निर्मित प्रोडक्ट लागत को देखते हुए सरकार उनकी मांगों पर विचार कर रही है. उन्होंने उम्मीद जताते हुए कहा कि बिहार में भी सिंगल यूज प्लास्टिक पर बैन की समय-सीमा को आगे बढ़ाया जा सकता है. इस बारे में कैबिनेट में प्रस्ताव लाने की तैयारी चल रही है.

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आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने पॉलिथीन की मोटाई 50 माइक्रोन से बढ़ाकर 120 माइक्रोन तक कर दी है. नए नियमों के तहत अगले साल 31 दिसंबर से 75 माइक्रोन से कम मोटाई के पॉलिथीन बैग और 120 माइक्रोन से कम के बैग पर प्रतिबंध लग जाएगा. बता दें कि सिंगल यूज प्लास्टिक प्रदूषण का सबसे बड़ा स्रोत माना जाता है, क्योंकि यह आसानी से नष्ट नहीं होता है.

सरकार की ओर से जारी की गई अधिसूचना के मुताबिक सिंगल यूज प्लास्टिक वाले प्रोडक्ट में प्लास्टिक स्टिक, गुब्बारे के लिए प्लास्टिक, स्टिक, झंडे और कैंडी की प्लास्टिक स्टिक, चम्मच, प्लेट, कप, गिलास, कटलरी जैसे आइटम और सिगरेट के पैकेट के अलावा मिठाई बॉक्स, निमंत्रण कार्ड, कांटा चम्मच पर लपेटे जाने वाली प्लास्टिक और 100 माइक्रोन से कम के पीवीसी बैनर पर प्रतिबंध लागू होगा.

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