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CM नीतीश कुमार ने पूर्व उप प्रधानमंत्री जगजीवन राम की जयंती पर दी श्रद्धांजलि

देश के पूर्व उप प्रधानमंत्री जगजीवन राम की आज जयंती है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने सरकारी अवास पर ही आज उन्हें पुष्प अर्पित कर नमन किया.

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जगजीवन राम को श्रद्धांजलि देते नीतीश कुमार
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Published : Apr 5, 2021, 1:52 PM IST

पटना: देश के पूर्व उप प्रधानमंत्री जगजीवन राम की जयंती पर आज बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने उन्हें याद किया. सीएम नीतीश कुमार ने आज इस मौके पर लोक संवाद में जगजीवन राम के तैल चित्र पर पुष्प चढ़ाकर उन्हें याद किया. इस मौके पर बिहार राज्य बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के सदस्य उदय कांत मिश्र भी मौजूद रहे. उन्होंने भी जगजीवन राम को श्रद्धांजलि अर्पित की.

इसे भी पढ़ें: जगजीवन राम पर लिखी पुस्तक पाठ्यक्रम में शामिल, दक्षिण के विश्वविद्यालय में होगी पढ़ाई

कोरोना के कारण नहीं हो रहे आयोजन
आपको बता दें कि कोरोना के कारण मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सीएम आवास में ही महापुरुषों की जयंती और पुण्यतिथि पर उन्हें याद कर रहे हैं और श्रद्धांजलि दे रहे हैं. क्योंकि कोरोना के कारण इस समय महापुरूषों की जयंती पर कोई बड़ा कर्याक्रम आयोजित कर पाना संभव नहीं है. वहीं सरकार की ओर से कोरोना के बढ़ते मामले को देखते हुए सभी तरह के सार्वजनिक कार्यक्रमों पर रोक भी लगा दी गई है.

कौन थे जगजीवन राम?
बाबू जगजीवन राम बिहार के सासाराम क्षेत्र से आठ बार चुनकर देश की संसद में पहुंचे थे. उन्हें उस समय के दलितों और पिछड़ों का सबसे बड़ा नेता माना जाता था. वे अपने जीवनकाल में केंद्र की विभिन्न कांग्रेस सरकारों में मंत्री के पद पर रहे.

1970 से 1971 तक भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से भी जुड़े रहे. उनकी गिनती उन कांग्रेस नेताओं में होती है जिन्हें पहली बार जवाहरलाल नेहरू ने 1946 में अपनी अंतरिम सरकार में मंत्री बनाया था. देश में लगाए गए आपातकाल के बाद उन्होंने कांग्रेस छोड़ दिया. इसके बाद वे तक के जनसंघ में शामिल हो गए.

इसके बाद वे जनता पार्टी की मोरारजी सरकार में मंत्री बने. कांग्रेस से निकलने के बाद वे दोबारा कभी कांग्रेस में नहीं लौटे, बल्कि प्रबल विरोधी बने रहे. बता दें कि उनकी बेटी मीरा कुमार लोकसभा की स्पीकर रह चुकीं हैं.

पटना: देश के पूर्व उप प्रधानमंत्री जगजीवन राम की जयंती पर आज बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने उन्हें याद किया. सीएम नीतीश कुमार ने आज इस मौके पर लोक संवाद में जगजीवन राम के तैल चित्र पर पुष्प चढ़ाकर उन्हें याद किया. इस मौके पर बिहार राज्य बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के सदस्य उदय कांत मिश्र भी मौजूद रहे. उन्होंने भी जगजीवन राम को श्रद्धांजलि अर्पित की.

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कोरोना के कारण नहीं हो रहे आयोजन
आपको बता दें कि कोरोना के कारण मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सीएम आवास में ही महापुरुषों की जयंती और पुण्यतिथि पर उन्हें याद कर रहे हैं और श्रद्धांजलि दे रहे हैं. क्योंकि कोरोना के कारण इस समय महापुरूषों की जयंती पर कोई बड़ा कर्याक्रम आयोजित कर पाना संभव नहीं है. वहीं सरकार की ओर से कोरोना के बढ़ते मामले को देखते हुए सभी तरह के सार्वजनिक कार्यक्रमों पर रोक भी लगा दी गई है.

कौन थे जगजीवन राम?
बाबू जगजीवन राम बिहार के सासाराम क्षेत्र से आठ बार चुनकर देश की संसद में पहुंचे थे. उन्हें उस समय के दलितों और पिछड़ों का सबसे बड़ा नेता माना जाता था. वे अपने जीवनकाल में केंद्र की विभिन्न कांग्रेस सरकारों में मंत्री के पद पर रहे.

1970 से 1971 तक भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से भी जुड़े रहे. उनकी गिनती उन कांग्रेस नेताओं में होती है जिन्हें पहली बार जवाहरलाल नेहरू ने 1946 में अपनी अंतरिम सरकार में मंत्री बनाया था. देश में लगाए गए आपातकाल के बाद उन्होंने कांग्रेस छोड़ दिया. इसके बाद वे तक के जनसंघ में शामिल हो गए.

इसके बाद वे जनता पार्टी की मोरारजी सरकार में मंत्री बने. कांग्रेस से निकलने के बाद वे दोबारा कभी कांग्रेस में नहीं लौटे, बल्कि प्रबल विरोधी बने रहे. बता दें कि उनकी बेटी मीरा कुमार लोकसभा की स्पीकर रह चुकीं हैं.

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