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पटना में उदयनिधि स्टालिन के खिलाफ केस दर्ज कराने वाले अधिवक्ता को जान से मारने की धमकी

Patna advocate Threat to kill सनातन धर्म को डेंगू-मलेरिया बताने वाले उदयनिधि स्टालिन के खिलाफ पटना के एमपी एमएलए कोर्ट ने सशरीर पेश होने के लिए समन जारी किया है. उदयनिधि स्टालिन के खिलाफ कोर्ट में मामला दर्ज कराने वाले अधिवक्ता को जान से मारने की धमकी मिली है. पढ़ें, विस्तार से.

अधिवक्ता डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण.
अधिवक्ता डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण.
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Jan 18, 2024, 5:26 PM IST

अधिवक्ता डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण.

पटना: पटना एमपी-एमएलए कोर्ट ने 15 जनवरी को तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन को 13 फरवरी को कोर्ट में सशरीर हाजिर होने को लेकर समन जारी किया था. जिस मामले में उदयनिधि स्टालिन को समन जारी किया गया है, उस मामले को लेकर कोर्ट में केस करने वाले अधिवक्ता को जान से मारने की धमकी मिली है. पटना हाईकोर्ट के अधिवक्ता डॉ कौशलेंद्र नारायण को व्हाट्सएप पर कॉल कर धमकी दी गई है. उन्होंने पटना कोतवाली थाने में शिकायत दर्ज कराई है.

व्हाटसएप पर कॉल कर दी धमकी : हाई कोर्ट के अधिवक्ता डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण को व्हाट्सएप पर सनातन धर्म का ठेकेदार बताते हुए जान से मारने की धमकी दी गई है. उन्होंने बताया कि "व्हाट्सएप नंबर पर एक अनजान नंबर से कॉल आया और अंजाम भुगतने की बात कही गई. साजिश भी हो सकती है, मुझे केस से हटाने के लिए. इससे मैं डरने वाला नहीं हूं." अधिवक्ता ने कहा कि इसकी सूचना पटना के जिलाधिकारी, आईजी, एसएसपी एवं कोतवाली थाने को दे दी गई है. पुलिस मामले की जांच में जुटी है.

आईपीसी की पांच धाराओं में समन जारीः पटना हाईकोर्ट के एडवोकेट डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण ने 4 सितंबर 2023 को पटना के सीजेएम कोर्ट में उदय निधि स्टालिन के खिलाफ केस दर्ज कराया था. उदय निधि स्टालिन तमिलनाडु में मंत्री हैं, इसलिए इस मामले को एमपी एमएलए कोर्ट में ट्रांसफर कर दिया गया. इसके बाद 6 जनवरी को एमपी एमएलए कोर्ट ने आईपीसी की पांच धाराओं में समन जारी करने का निर्देश दिया था. 153 ए, 295 ए, 298, 500 और 500-4 धारा में एमपी एमएलए कोर्ट ने समन जारी किया.

क्या कहा था उदयनिधि स्टालिन नेः तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन ने 2 सितंबर 2023 को एक कार्यक्रम में सनातन धर्म की तुलना डेंगू और मलेरिया से की थी. उन्होंने कहा था कि कुछ चीजों का विरोध नहीं किया जा सकता, बल्कि उसे खत्म करना जरूरी होता है. जिस तरह हम डेंगू-मलेरिया का केवल विरोध नहीं कर सकते, उसे खत्म करना भी जरूरी होता है. उसी तरह सनातन धर्म का केवल विरोध ही नहीं करना चाहिए, बल्कि इसे खत्म भी करना चाहिए. इस पर काफी बवाल मचा था. इसी मामले में उन्हें समन जारी किया गया है.

इसे भी पढ़ेंः सनातन धर्म को डेंगू-मलेरिया बताने वाले उदयनिधि स्टालिन मुश्किल में, पटना एमपी-एमएलए कोर्ट में 13 फरवरी को हाजिर होने का आदेश

इसे भी पढ़ेंः Stalin On Sanatan Dharma: सनातन धर्म को लेकर अपने बयान पर अड़े स्टालिन, कहा- जो बोला ठीक बोला

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अधिवक्ता डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण.

पटना: पटना एमपी-एमएलए कोर्ट ने 15 जनवरी को तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन को 13 फरवरी को कोर्ट में सशरीर हाजिर होने को लेकर समन जारी किया था. जिस मामले में उदयनिधि स्टालिन को समन जारी किया गया है, उस मामले को लेकर कोर्ट में केस करने वाले अधिवक्ता को जान से मारने की धमकी मिली है. पटना हाईकोर्ट के अधिवक्ता डॉ कौशलेंद्र नारायण को व्हाट्सएप पर कॉल कर धमकी दी गई है. उन्होंने पटना कोतवाली थाने में शिकायत दर्ज कराई है.

व्हाटसएप पर कॉल कर दी धमकी : हाई कोर्ट के अधिवक्ता डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण को व्हाट्सएप पर सनातन धर्म का ठेकेदार बताते हुए जान से मारने की धमकी दी गई है. उन्होंने बताया कि "व्हाट्सएप नंबर पर एक अनजान नंबर से कॉल आया और अंजाम भुगतने की बात कही गई. साजिश भी हो सकती है, मुझे केस से हटाने के लिए. इससे मैं डरने वाला नहीं हूं." अधिवक्ता ने कहा कि इसकी सूचना पटना के जिलाधिकारी, आईजी, एसएसपी एवं कोतवाली थाने को दे दी गई है. पुलिस मामले की जांच में जुटी है.

आईपीसी की पांच धाराओं में समन जारीः पटना हाईकोर्ट के एडवोकेट डॉक्टर कौशलेंद्र नारायण ने 4 सितंबर 2023 को पटना के सीजेएम कोर्ट में उदय निधि स्टालिन के खिलाफ केस दर्ज कराया था. उदय निधि स्टालिन तमिलनाडु में मंत्री हैं, इसलिए इस मामले को एमपी एमएलए कोर्ट में ट्रांसफर कर दिया गया. इसके बाद 6 जनवरी को एमपी एमएलए कोर्ट ने आईपीसी की पांच धाराओं में समन जारी करने का निर्देश दिया था. 153 ए, 295 ए, 298, 500 और 500-4 धारा में एमपी एमएलए कोर्ट ने समन जारी किया.

क्या कहा था उदयनिधि स्टालिन नेः तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन ने 2 सितंबर 2023 को एक कार्यक्रम में सनातन धर्म की तुलना डेंगू और मलेरिया से की थी. उन्होंने कहा था कि कुछ चीजों का विरोध नहीं किया जा सकता, बल्कि उसे खत्म करना जरूरी होता है. जिस तरह हम डेंगू-मलेरिया का केवल विरोध नहीं कर सकते, उसे खत्म करना भी जरूरी होता है. उसी तरह सनातन धर्म का केवल विरोध ही नहीं करना चाहिए, बल्कि इसे खत्म भी करना चाहिए. इस पर काफी बवाल मचा था. इसी मामले में उन्हें समन जारी किया गया है.

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