पटना: निगरानी ब्यूरो ने राज्य के सभी जिलों को यह निर्देश दिया है कि वैसे सभी नियोजित शिक्षकों को गिरफ्तार किया (Fake teachers will be arrested) जाए, जिनके खिलाफ एफआईआर दर्ज है. निगरानी ब्यूरो ने यह आदेश फर्जी डिग्री पर शिक्षक की नौकरी प्राप्त करने वाले आवेदकों को लेकर दिया है. निगरानी ब्यूरो ने पुलिस मुख्यालय को भी पत्र लिखा है, जिसमें सभी जिलों के नामजद फर्जी शिक्षकों को गिरफ्तार करने से संबंधित आदेश को जारी करने का अनुरोध किया गया है. ज्ञात हो कि राज्य के सभी जिलों में निगरानी ने जांच के दौरान फर्जी सर्टिफिकेट पर बहाल फर्जी शिक्षकों पर मुकदमा दर्ज कराया है. यह प्रक्रिया अभी जारी है.
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फर्जी शिक्षकों पर कुल 1196 प्राथमिकीः बता दें कि फर्जी शिक्षकों से संबंधित मामले में शिक्षा विभाग द्वारा पहले आदेश में यह स्पष्ट किया गया है कि जो भी शिक्षक निगरानी की जांच में गलत या उनकी बहाली फर्जी प्रमाण पत्र पर पाई जाएगी, उन सभी को सेवा से बर्खास्त कर दिया जाएगा. विभाग के स्तर पर ऐसे कुछ शिक्षकों पर कार्रवाई भी की गई है, जबकि कुछ मामले कोर्ट में भी चल रहे हैं. राज्य में कुल 1196 एफआईआर फर्जी शिक्षकों की नियुक्ति को लेकर दर्ज कराई गई है. टेलीफोन पर हुई वार्ता में निगरानी विभाग के डीजी आलोक राज ने कहा कि विभागीय स्तर पर पहल की गई है. इसका उद्देश्य जल्द इस मामले का समाधान करना है.
गया में सबसे ज्यादा प्राथमिकीः निगरानी ब्यूरो की ताजा रिपोर्ट के अनुसार फर्जी शिक्षकों की नियुक्ति के मामले में गया जिला सबसे ऊपर है. यहां फर्जी शिक्षकों की नियुक्ति को लेकर 71 एफआईआर दर्ज की गई है. जिनमें 218 आरोपी हैं. इसके बाद सारण जिला है, जहां 42 एफआईआर और 170 आरोपी हैं. इसी प्रकार मुंगेर जिले में 44 एफआईआर में 142 आरोपी बनाये गये हैं. जहानाबाद में 46 एफआईआर में 124 आरोपी, बेगूसराय में 46 एफआईआर में 136 आरोपी, भागलपुर में 17 एफआईआर में 113 आरोपी, सुपौल में 12 एफआईआर में 104 आरोपी, बांका में 39 एफआईआर में 101 आरोपी हैं.
सहरसा में सबसे कम प्राथमिकीः अरवल में 43 एफआईआर में 87 आरोपी, नालंदा में 79 एफआईआर में 81 आरोपी, समस्तीपुर में 33 एफआईआर में 89 आरोपी, जमुई में 54 एफआईआर में 81 आरोपी, पटना में 36 एफआईआर में 67 आरोपी, पूर्णिया में 69 एफआईआर में 70 आरोपी, रोहतास में 36 एफआईआर में 74 आरोपी, खगड़िया में 31 एफआईआर में 72 आरोपी और गोपालगंज में 59 एफआईआर 76 आरोपी बनाए गए हैं. सबसे कम गड़बड़ी वाले जिला सहरसा है. यहां एक एफआईआर और एक ही आरोपी हैं. जबकि इसके अलावा अररिया में चार एफआईआर में चार आरोपी तथा सिवान तथा मधेपुरा में 5- 5 एफआईआर में 8-8आरोपी हैं.