पटना: बिहार में डेंगू के डंक का कहर कम होने का नाम नहीं ले रहा। प्रेदशभर में नए मामलों की संख्या में लगातार वृद्धी हो रही है. बीते डेढ़ महीने से पूरा बिहार डेंगू के चपेट में है और राजधानी पटना हॉटस्पॉट बना हुआ है. बीते 24 घंटे में बिहार में डेंगू के 296 नए मामले आए हैं. इसमें सर्वाधिक 154 नए मामले सिर्फ पटना में ही मिले हैं. वहीं, डेंगू से पटना के एक निजी अस्पताल में मोकामा निवासी 6 वर्षीय बच्चे की मौत हुई है, जिसके बाद डेंगू से मरने वालों की संख्या लगभग 12 हो गई है. प्रदेश में पटना के अलावा भागलपुर, सारण, मुजफ्फरपुर, पश्चिमी चंपारण, पूर्वी चंपारण, मुंगेर, वैशाली जैसे प्रदेश के सभी जिले डेंगू से प्रभावित हैं.
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पटना के चारो सरकारी अस्पताल में 90 मरीज भर्ती: पटना में डेंगू के मामले बढ़ने के साथ-साथ गंभीर मरीजों की संख्या भी काफी बढ़ी है. पटना के चारों सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में कुल 90 मरीजों का इलाज चल रहा है. एम्स पटना में 22 मरीज, आईजीआईएमएस में 22 मरीज, पीएमसीएच में 25 मरीज और एनएमसीएच में 21 मरीज एडमिट हैं. वहीं पूरे प्रदेश की अगर बात करें तो प्रदेश के 12 मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में कुल 286 एडमिट मरीजों का इलाज चल रहा है. जिसमें भागलपुर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में सर्वाधिक 106 मरीज एडमिट है. प्रदेश में डेंगू के कुल ज्ञात मामलों की संख्या 9896 हो चुकी है. इसमें पटना में ही डेंगू मरीजों की संख्या 4334 है.
फागिंग के लिए नगर निगम ने तैयार की टीम: पटना में डेंगू की भयावह स्थिति को देखते हुए पटना नगर निगम प्रशासन ने 75 वार्ड में 750 एंटी लार्वा छिड़काव टीम को गुरुवार को रवाना किया है. प्रत्येक वार्ड में 10 टीमें एंटी लार्वा का छिड़काव करेगी. जिन घरों में डेंगू मरीज है वहां विशेष रूप से एंटी लार्वा छिड़काव होगा. इसके अलावा हैंड फागिंग के लिए नगर निगम ने फागिंग टीम को 5 लीटर डीजल के बदले 10 लीटर डीजल प्रतिदिन मुहैया कराने का निर्णय लिया है.